गुरुग्राम: सोहना तहसील में घामडोज गांव की पंचायती जमीन (Panchayati land of Ghamdoj village Sohna) को बेचने का मामला सामने आया है. जिसमे अब डिप्टी सीएम दुष्ंयत चौटाला ने भी साफ कर दिया है कि इस मामले की जांच होगी. यदि ऐसा हुआ तो कार्रवाई की जाएगी. खबर है कि सोहना तहसील में घामड़ोज गांव की साढ़े चार एकड़ पंचायती जमीन विभागीय अधिकारियों ने मिलीभगत करके बिल्डर को बेच दी.
शिकायत के बाद आनन फानन में विभागीय अधिकारी मामले को रफा-दफा करने में जुट गए. रजिस्ट्री को गलत बताकर इसे रद्द करने की तैयारी की जा रही है. दरअसल दिल्ली-वड़ोदरा एक्सप्रेस-वे पर टोल प्लाजा के पास घामड़ोज गांव की पंचायती जमीन है. इस जमीन को पंचायत ने काफी समय पहले कुछ लोगों को आजीविका अर्जन के लिए दिया था. घामड़ोज गांव की उक्त क्षेत्र डवलेपमेंट प्लान के अनुसार रेजीडेंशियल जोन में स्थित और यहां जमीन की कीमत करोड़ों में है.
जोन क्षेत्र में इन दिनों करीब छह करोड़ रुपये एकड़ का बाजार भाव है. ऐसे में भू माफिया की गिद्ध दृष्टि लावारिस व बेकार पड़ी भूमि पर भी लगी हुई है. दोहली की भूमि जब भू माफिया की जानकारी में आई तो राजस्व विभाग के अधिकारियों-कर्मचारियों के साथ मिलकर इसे खुर्द बुर्द करने की साजिश रची गई. जिसके बाद गुपचुप तरीके से 6 मई 2022 को करीब साढ़े चार एकड़ जमीन की रजिस्ट्री सोहना तहसील में पेश कर दी.
हैरत की बात ये है कि राजस्व रिकॉर्ड की अनदेखी करते हुए भू माफिया व बिल्डर के साथ मिलीभगत करते हुए राजस्व अधिकारियों ने जमीन की रजिस्ट्री भी कर दी. मिली जानकारी के अनुसार ये जमीन 15 करोड़ 78 लाख में बेची गई है और सरकार को एक करोड़ 11 लाख रुपये स्टांप ड्यूटी व रजिस्ट्रेशन फीस के चुकाए गए हैं. जमीन की रजिस्ट्री सिग्नेचर ग्लोबल बिजनेस पार्क लिमिटेड के नाम हुई है. वहीं डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने साफ कर दिया है कि यदि ऐसा हुआ है तो अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
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