गुरुग्राम: हरियाणा में एक के बाद एक कंपनी कर्मचारियों का बाहर का रास्ता दिखा रही हैं, लेकिन सरकार कोई कदम उठाने को तैयार नहीं. हरियाणा के युवाओं को 75 नौकरी में आरक्षण की बात तो कर रही है लेकिन कंपनियां लगातार लोगों से उनका रोजगार छीन रही हैं इस ओर सरकार का कोई ध्यान नहीं है. पहले हरियाणा के रेवाड़ी में 450 कर्मचारियों को नैरोलेक कंपनी ने निकाल दिया था. उससे पहले मारूति कंपनी भी बड़ी संख्या में कर्मचारियों को निकाल चुकी है. अब गुरुग्राम में होंडा कंपनी ने बड़ी संख्या में कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया है.
होंडा कंपनी ने निकाले कर्मचारी
होंडा कंपनी ने 1400 कर्मचारियों का एक साथ नौकरी से निकाल दिया. दिवाली से अब तक हौंडा कंपनी करीब 2500 अस्थाई कर्मचारियों से उनका रोजगार छीन चुकी है. इस सब के पीछे कंपनी की ओर से आर्थिक मंदी बताई जा रही है, लेकिन एक साथ इतनी बड़ी संख्या में लोगों का रोजगार चिंता का विषय बन गया है.
धरने पर बैठ कर्मचारी
कर्मचारियों के रोजगार छिन जाने से उनमें काफी रोष है. रात से सैकड़ों कर्मचारी अपनी मांगो को लेकर धरने पर बैठे हैं. कर्मचारियों की मांग है जब तक उनको बहाल नहीं किया जाता वो धरने पर ही बैठे रहेंगे. साथ ही उन्होंने कंपनी को चेतावनी दी है. अगर उनकी मांग पूरी नहीं की गई तो वो बड़ा आंदोलन करेंगे. साथ ही कर्मचारियों का कहना है कि मैनेजमेंट, ठेकेदार और यूनियन जल्द से कोई समाधान निकालें. इस मौके पर भारी मात्रा में पुलिस बल भी पहुंच गया.
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बंद हो रही एक के बाद एक कंपनियां
वहीं देश में आर्थिक मंदी का असर हर क्षेत्र में देखने को मिल रहा है. एक बाद एक हर क्षेत्र में कंपनियां अपने कर्मचारियों को निकाल रही हैं. इससे लोगों का काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. लोगों को छिनते रोजगार को देखते हुए सरकार और विपक्ष दोनों हरकत में आ गए हैं. कांग्रेस पार्टी ने 5 नवंबर से 15 नवंबर तक देश में सरकार की नीतियों और आर्थिक मंदी को देखते हुए आंदोलन की चेतावनी दी लेकिन बाद में कांग्रेस भी पीछे हट गई और सरकार को 6 महीने का वक्त दे दिया.