गुरुग्राम: पिछले सात दिनों से आशा वर्कर्स अपनी मांगों को लेकर सोहना में प्रदर्शन कर रही हैं. गुरुवार को सोहना में आशा वर्कर्स ने बारिश के बीच भी अपने धरने को जारी रखा. आशा वर्कर्स ने नागरिक अस्पताल परिसर में छाता ओढ़कर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. आशा वर्कर्स का कहना है कि जब तक सरकार हमारी मांगों को नहीं मानती है, तब तक धरना प्रदर्शन जारी रहेगा.
सोहना के अस्पताल परिसर में अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठी आशा वर्कर्स को संबोधित करने के लिए पहुंची आशाओं की राज्य प्रधान प्रवेश देवी ने बताया कि साल 2018 में हरियाणा सरकार के साथ लिखित समझौता हुआ था. जिसको सरकार ने अभी तक लागू नहीं किया है.
उन्होंने मांग की है कि आशाओं को पक्का कर्मचारी घोषित करने तक आशाओं को 21 हजार रुपये सैलरी दी जाए. साथ ही कोरोना काल में अपनी जान जोखिम में डालकर कार्य करने वाली आशाओं का बाकी कर्मचारियों की तर्ज पर बीमा कराया जाए. प्रवेश देवी ने मांग की है कि केंद्र सरकार द्वारा प्रत्येक आशा के लिए कोरोना काल में दी गई एक हजार रुपये की राशि में से आधी राशि आशाओं को दी जाए.
उन्होंने कहा कि अपनी मांगों को लेकर आशाओं का धरना फिलहाल 17 अगस्त तक बढ़ा दिया गया है. अगर 17 तक आशाओं की समस्याओं का कोई समाधान नहीं निकाला जाता है तो धरने को अनिश्चितकाल में बदल दिया जाएगा. जिसकी जिम्मेदारी स्वास्थ्य विभाग व हरियाणा सरकार की होगी.
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