चंडीगढ़: पूरी दुनिया में इस वक्त अगर कोई शब्द सबसे ज्यादा चर्चित है तो वो है CORONA VIRUS. इस वायरस ने हर शख्स के दिल में दहशत पैदा कर दी है. बीते साल दिसंबर में सबसे पहले चीन में कोरोना वायरस यानी. कोविड 19 के मामले सामने आए.
ये वायरस तेज़ी से दुनिया भर के देशों में फैला और इतना फैला कि विश्व स्वास्थ्य संगठन को इसे महामारी घोषित करना पड़ा. कोरोना वायरस से इंसानों में कोविड-19 नाम की एक बीमारी पैदा होती है. हालांकि इसके शुरुआती लक्षण बेहद मामूली होते हैं, लेकिन ये इतना घातक है कि अब तक हजारों लोगों की जान ले चुका है.
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इसे पेनडेमिक कहा है...यानि वो महामारी जिसका प्रभाव पूरी दुनिया पर पड़ रहा है. हरियाणा ने कोरोना वायरस को सबसे पहले महामारी घोषित किया था, लेकिन ये महामारी होती क्या है और इसे लागू करने की जरूरत क्यों पड़ती है. इसका जवाब है कि जब कोई बीमारी किसी एक देश या सीमा तक सीमित नहीं रहती और दुनिया के कई देशों में बड़े पैमाने पर फैलने लगती है तो उसको महामारी घोषित किया जाता है.
एक अहम जानकारी ये है कि महामारी घोषित करने के भी दो स्तर होते हैं. एक पैनडेमिक दूसरा एपिडेमिक, मतलब वो बीमारी जो दुनिया भर में फैल जाती है उसे पैनडेमिक कहते हैं और जो बीमारी किसी एक देश, राज्य, क्षेत्र या सीमा तक सीमित होती है उसे एपिडेमिक कहते हैं. अब सवाल ये है कि किसी क्षेत्र में महामारी घोषित होने के बाद वहां के इंतजामों में फर्क क्या पड़ता है? तो इस का उत्तर ये है कि महामारी घोषित होने की स्थिति में विश्व स्वास्थ्य संगठन कुछ नियमों को निर्धारित करता है. जिसका सभी देशों को पालन करने के लिए कहा जाता है.
इस स्थिति में कोई भी देश अपनी सीमाओं को सील कर सकता है ताकि महामारी को और बड़े पैमाने पर फैलने से रोका जा सके. इसके साथ-साथ क्षेत्रिय सरकारें भी कुछ सुरक्षात्मक नियम बनाती हैं. जैसे हरियाणा सरकार ने भी तुरंत प्रभाव से कई बड़े कदम उठाए.
- गृह मंत्रालय ने प्रदेश की सभी रैलियों पर तुरंत प्रभाव से रोक लगा दी.
- प्रदेश में 200 से ज्यादा लोगों के एक साथ इकट्ठा होने पर पाबंदी लगा दी.
- सिनेमा घर, जिम, मॉल्स को तुरंत प्रभाव से बंद करने के निर्देश जारी कर दिये गये.
- सीएम मनोहर लाल खट्टर ने भी प्रदेश की सभी कंपनियों से Work From Home का फॉर्मुला अपनाने की अपील की.
हरियाणा पूरी तरह से अलर्ट- गृह मंत्रालय
हरियाणा स्वास्थ्य विभाग का दावा है कि कोरोना वायरस को लेकर विभाग पूरी तरह से अलर्ट है. सभी सरकारी अस्पतालों में जुखाम और खांसी सहित बुखार के मरीजों को देखने के लिए अलग से ओपीडी की व्यवस्था की गई है. क्योंकि कोरोना वायरस के प्राथमिक लक्षण भी जुखाम और खांसी ही होते हैं, इसीलिए भारी संख्या में लोग अस्पताल में अपनी जांच कराने के लिए आ रहे हैं. ज्यादा से ज्यादा लोगों की जांच हो सके इसके लिए स्वास्थ्य विभाग हरियाणा की तरफ से हर सरकारी अस्पताल में इसकी व्यवस्था की गई है.
राहत की खबर भी है!
अभी तक हरियाणा का कोई स्थानीय निवासी कोरोना वायरस से संक्रमित नहीं पाया गया है फिर भी प्रदेश में सभी जिलो में एहतियातन आईसोलेशन वॉर्ड बनाए गए हैं... संक्रमित मरीजों को अलग-थलग रहने के लिए हर जिले में जनसंख्या के आधार पर 100 से 500 बेड तक की व्यवस्था की गई है.
फरीदाबाद के अतिरिक्त सिविल सर्जन ने अहम जानकारी दी
फरीदाबाद के बादशाह खान अस्पताल के अतिरिक्त सिविल सर्जन ने हमें बताया कि अगर किसी मरीज में कोरोना वायरस के लक्षण पाए जाते हैं तो सबसे पहले जिले के सरकारी अस्पताल में उसके सैंपल लिए जाते हैं. सैंपल लेने के बाद सभी के सैंपल एनसीडीसी लैब दिल्ली भेजे जाते हैं. 1 सैंपल की रिपोर्ट आने में लगभग 10 से 24 घंटे का समय लगता है जिस भी व्यक्ति का सैंपल कोरोना वायरस की जांच के लिए भेजा जाता है. जब तक सैंपल की रिपोर्ट नहीं आती है तब तक वह उस व्यक्ति से संपर्क में रहते हैं और उस व्यक्ति को घर के अंदर मास्क लगाकर और तमाम सावधानियां बरतने के लिए कहा जाता है.
इस रिपोर्ट के अंत में कुछ बिंदुओं के बारे में गौर करना बहुत जरूरी है.
1. दुनिया भर के 140 से भी ज़्यादा देशों में कोरोना वायरस से संक्रमण के मामले सामने आए हैं.
2. विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इसे एक महामारी घोषित किया है.
3. भारत ने कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए अपने यहां यात्रा प्रतिबंध लागू किए हैं.
4. वैज्ञानिकों का कहना है कि कोरोना वायरस से संक्रमण के बाद इसके लक्षण सामने आने में पांच दिनों का समय लगता है.
5. लेकिन कुछ लोगों में इसके लक्षण दिखने में इससे ज़्यादा वक़्त भी लग सकता है.
क्या होते हैं कोरोना वायरस के लक्षण?
1. कोरोना वायरस और फ़्लू के कई लक्षण एक जैसे हैं.
2. बिना मेडिकल टेस्ट के इसके अंतर को समझना मुश्किल है.
3. कोरोना वायरस के लक्षण बुखार और सर्दी ही है. फ्लू में अक्सर दूसरे लक्षण भी दिखाई देते हैं जैसे गले में दर्द.
4. जबकि कोरोना वायरस से संक्रमित व्यक्ति को सांस की तकलीफ़ की शिकायत रहती है.
कैसे करें रोकथाम ?
1. अपने हाथ को साफ रखें, हर आधे घंटे के अंतराल पर हाथ को धोएं. हाथ धोने के लिए साबुन का इस्तेमाल करना भी काफी है.
2. आंख मुंह और नाक को छूने से परहेज करें.
3. खांसते समय मुंह पर टीश्यू पेपर या रुमाल रखें.
4. भीड़-भाड़ वाले क्षेत्र से दूर रहें.
5. अगर आप खुद स्वस्थ्य महसूस नहीं कर रहे, सर्दी या खांसी है, तो घर पर रहें.
6. अगर आपको बुखार है, सर्दी है, खांसी है और सांस लेने में तकलीफ हो रही है तो तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र से संपर्क करें.
7. सबसे अहम बात ये कि सोशल मीडिया पर फैल रही अफवाहों से दूर रहें.