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हाईकोर्ट में SIT के खिलाफ याचिका दायर, राम रहीम को बचाने का आरोप

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Published : Apr 27, 2019, 9:16 PM IST

हरियाणा में राम रहीम को दोषी करार दिए जाने के बाद दंगा भड़काने के मामले में दायर याचिका पर हाईकोर्ट में एक और याचिका दाखिल की गई है. इस याचिका के मुताबिक एसआईटी राम रहीम को बचाने की कोशिश कर रही है.

पंजाब एंड हरियाणा हाई कोर्ट

चंडीगढ़ः डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम के इशारों पर डेरा समर्थकों द्वारा की गई हिंसा के मामले में पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट में पहले ही एक याचिका दायर है. उसी याचिका में अब नए सिरे से एक अर्जी दायर की गई है. याचिका में मामले की जांच कर रही एसआईटी पर डेरा मुखी को बचाने के आरोप लगाए गए हैं.

दायर अर्जी में याचिकाकर्ता ने कहा है कि पंचकूला में हुए दंगों के बाद पकड़े गए कई लोगों ने पुलिस और अदालत के समक्ष बयान दिए हैं कि इन दंगों की साजिश डेरा मुखी के इशारे पर ही की गई थी. याचिकाकर्ता के मुताबिक इन बयानों के बावजूद भी एसआईटी इन दंगों के साजिशकर्ता के तौर पर डेरा मुखी को नामजद ही नहीं कर रही है. यहां तक कि इस याचिका पर एसआईटी ने पिछले साल हाईकोर्ट में कहा था कि अभी तक इस मामले में डेरा मुखी के खिलाफ सीधे सबूत नहीं मिले हैं. इससे साफ है कि एसआईटी जानबूझकर डेरा मुखी को बचा रही है.

इतना ही नहीं इन दंगों के बाद आईजी केके राव ने इन दंगों के पीछे की साजिश के बारे में तभी मीडिया में जानकारी दी थी. आईजी ने कहा था कि डेरा मुखी को दोषी करार दिए जाने के बाद, राम रहीम ने गाड़ी से लाल बैग मंगवाया था, जो इन दंगों का इशारा था. याचिकाकर्ता ने कहा इतने सबूतों के बावजूद भी एसआईटी इन्हें नजरअंदाज कर रही है. अब इस याचिका पर हाईकोर्ट 13 मई को मुख्य याचिका के साथ ही सुनवाई करेगा.

चंडीगढ़ः डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम के इशारों पर डेरा समर्थकों द्वारा की गई हिंसा के मामले में पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट में पहले ही एक याचिका दायर है. उसी याचिका में अब नए सिरे से एक अर्जी दायर की गई है. याचिका में मामले की जांच कर रही एसआईटी पर डेरा मुखी को बचाने के आरोप लगाए गए हैं.

दायर अर्जी में याचिकाकर्ता ने कहा है कि पंचकूला में हुए दंगों के बाद पकड़े गए कई लोगों ने पुलिस और अदालत के समक्ष बयान दिए हैं कि इन दंगों की साजिश डेरा मुखी के इशारे पर ही की गई थी. याचिकाकर्ता के मुताबिक इन बयानों के बावजूद भी एसआईटी इन दंगों के साजिशकर्ता के तौर पर डेरा मुखी को नामजद ही नहीं कर रही है. यहां तक कि इस याचिका पर एसआईटी ने पिछले साल हाईकोर्ट में कहा था कि अभी तक इस मामले में डेरा मुखी के खिलाफ सीधे सबूत नहीं मिले हैं. इससे साफ है कि एसआईटी जानबूझकर डेरा मुखी को बचा रही है.

इतना ही नहीं इन दंगों के बाद आईजी केके राव ने इन दंगों के पीछे की साजिश के बारे में तभी मीडिया में जानकारी दी थी. आईजी ने कहा था कि डेरा मुखी को दोषी करार दिए जाने के बाद, राम रहीम ने गाड़ी से लाल बैग मंगवाया था, जो इन दंगों का इशारा था. याचिकाकर्ता ने कहा इतने सबूतों के बावजूद भी एसआईटी इन्हें नजरअंदाज कर रही है. अब इस याचिका पर हाईकोर्ट 13 मई को मुख्य याचिका के साथ ही सुनवाई करेगा.

डेरा मुखी गुरमीत सिंह राम-रहीम को दोषी करार दिए जाने के बाद पंचकूला में सेरा समर्थकों द्वारा की गई आगजनी, तोड़फोड़ और हिंसा के डेरा मुखी के इशारे पर ही किये जाने के आरोप लगा हाईकोर्ट में पहले से ही एक याचिका दायर है  उसी याचिका में अब नए सिरे से एक अर्जी दायर कर इस पुरे मामले की जाँच कर रही एस.आई.टी. पर डेरा मुखी को बचाये जाने के आरोप लगाए गए हैं ।
 दायर अर्जी में याचिकाकर्ता ने कहा है कि पंचकूला में हुए दंगों के बाद पकडे गए कई लोगों ने पुलिस और अदालत में के समक्ष बयान दिए हैं कि इन दंगों की साजिश डेरा मुखी के इशारे पर ही की गई थी  इन बयानों के बावजूद भी एस.आई.टी. इन दंगों के साजिशकर्ता के तौर पर डेरा मुखी को नामजद ही नहीं कर रही है  यहाँ तक कि इस याचिका पर एस.आई.टी. ने गत वर्ष हाईकोर्ट में कहा था कि अभी तक इस मामले में डेरा मुखी के खिलाफ सीधे सबूत नहीं मिले हैं  इससे साफ़ है कि एस.आई.टी. जानबूझकर डेरा मुखी को बचा रही है 
इतना ही नहीं इन दंगों के बाद आई.जी. के.के. राव ने इन दंगों के पीछे की साजिश के बारे में तभी मिडिया में जानकारी दी थी  कहा गया था कि डेरा मुखी को दोषी करार दिए जाने के बाद उन्होंने गाड़ी से लाल बेग मंगवाया था जो इन दंगों का का इशारा था  याचिकाकर्ता ने कहा इतने सबूतों के बावजूद भी एस.आई.टी. इन्हे नजरअंदाज कर रही है  लगता है कि सरकार लोक सभा चुनावों में इसका फायदा ले सके  इस याचिका पर हाई कोर्ट 13 मई को मुख्य याचिका के साथ ही सुनवाई करेगा 


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