चंडीगढ़: किसान आंदोलन का सबसे ज्यादा असर अगर किसी राज्य में हुआ तो वो हरियाणा है. सोनीपत के सिंघु बॉर्डर पर करीब एक साल तक चले किसान धरने से हरियाणा-दिल्ली राजमार्ग बंद रहा. वहीं किसान आंदोलन के चलते हरियाणा के सीएम मनोहर लाल समेत बीजेपी-जेजेपी नेताओं का भी जमकर विरोध हुआ. इसके अलावा भी कई दूसरे मुद्दों पर अलग-अलग संगठनों की ओर से हरियाणा में धरना-प्रदर्शनों का दौर (protests and agitations in haryana) भी जमकर चला.
26 जनवरी, 2021: केंद्र सरकार से तीन कृषि कानून वापस करवाने के लिए किसानों ने 26 जनवरी को दिल्ली कूच किया. हरियाणा के सिंघु, कुंडली और टिकरी बॉर्डर से भारी संख्या में प्रदर्शनकारी किसानों ने दिल्ली के विभिन्न हिस्सों में एक ट्रैक्टर रैली (Farmers tractor rally to delhi) निकाली थी. इस दौरान दिल्ली के कई इलाकों में हिंसा भड़क गई. दिल्ली के लालकिले के पास पुलिस और किसानों के टकराव का वीडियो खूब वायरल हुआ. इसमें 394 पुलिसकर्मी घायल हुए. इस हिंसा के वीडियो के आधार के आधार पर हरियाणा के कई किसानों के खिलाफ एफआईआर दर्ज किए गए थे.
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27 जनवरी, 2021: हरियाणा में किसान आंदोलन का राजनीतिक असर भी पड़ा. किसान आंदोलन के समर्थन में विपक्ष के साथ-साथ कई विधायकों और पूर्व मंत्रियों ने आवाज उठाई. प्रदेश में इनेलो के इकलौते विधायक अभय चौटाला ने तो कृषि कानूनों के विरोध और किसानों के समर्थन में विधायक पद से इस्तीफा (Mla Abhay Chautala Resignation) दे दिया.
विधानसभा अध्यक्ष ज्ञानचंद गुप्ता ने अभय चौटाला का इस्तीफा स्वीकार भी कर लिया. अभय चौटाला ट्रैक्टर पर इस्तीफा देने विधानसभा पहुंचे थे. जिसके बाद पुलिस ने अभय चौटाला को कुछ देर के लिए रोक लिया था. जब उन्होंने सुरक्षा बलों को इस्तीफे की बात बताई तब उन्हें अंदर जाने दिया गया.
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1 जून, 2021: संयुक्त किसान मोर्चा ने हरियाणा में बीजेपी और जेजेपी नेताओं को काले झंडे दिखाने, घेराव और विरोध करने का आह्वान किया था. जिसके चलते किसानों ने 1 जून को टोहाना से जेजेपी विधायक देंवेंद्र बबली (devendra babli farmers dispute) का विरोध किया. किसानों ने जेजेपी विधायक के काफिले को ना सिर्फ घेर लिया, बल्कि उनकी गाड़ी के शीशी को भी तोड़ दिया. देवेंद्र बबली की गाड़ी का शीशा तोड़ने का वीडियो सामने आया था.
इस दौरान किसानों ने आरोप लगाया है कि जेजेपी विधायक देवेंद्र सिंह बबली ने किसानों को गाली दी और उनके कहने पर पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे किसानों पर लाठीचार्ज किया है. लाठीचार्ज के दौरान कई किसानों को चोटें आई.
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13 जुलाई, 2021: इस साल जुलाई महीने में महिला किसानों की तरफ कथित तौर पर अश्लील इशारे करने के मामले में किसान पूर्व मंत्री मनीष ग्रोवर (Farmers Protest Against manish grover) के आवास का घेरव करने पहुंचे. जहां पुलिस ने उन्हें बैरिकेड लगाकर रोक दिया. इस पर किसान बैरिकेड पर चढ़ गए, उनके साथ महिला किसान भी थीं और वो भी बैरिकेड्स पर चढ़ी नजर आईं.
दरअसल किसानों का आरोप था कि कार्यक्रम के बाद गाड़ी से बाहर निकलते वक्त विनोद भयाना के साथ बैठे व्यक्ति ने प्रदर्शन कर रही महिलाओं की तरफ अश्लील इशारा (Manish Grover obscene gesture to farmers) किया. इसके बाद किसान भड़क गए और टोल प्लाज पर जाम लगा दिया था.
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11 जुलाई, 2021: खोरी आवास संघर्ष समिति ने अरावली गांव के खोरी गांव में एक कॉलोनी विध्वंस (Khori village Demolition) के विरोध में नई दिल्ली के जंतर मंतर पर अनशन की घोषणा की.
अरावली क्षेत्र के खोरी गांव में करीब 100 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण किया. जमीन माफिया ने औने-पौने दाम पर प्रतिबंधित वन जमीन को बेच दिया. खोरी गांव सूरजकुंड क्षेत्र (फरीदाबाद) के अलावा प्रहलादपुर क्षेत्र, राजधानी दिल्ली तक फैला हुआ है. यहां करीब 10 हजार मकान बने हुए थे. इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने वन जमीन पर बने इस निर्माण को तोड़ने और खाली कराने का आदेश दिया था.
21 जुलाई, 2021: संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर किसान संगठनों ने पहलवान से भाजपा नेता बनी बबीता फोगट (Farmers Protest Against Babita phogat) के चरखी दादरी पहुंचने पर भी विरोध प्रदर्शन किया. विरोध के चलते पुलिस ने वहां सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम कर रखे थे, ताकि किसानों का प्रदर्शन बड़ा रुप न ले. इसके अलावा विरोध करने गए किसानों को पुलिस ने रास्ते में ही रोक लिया और उन्हें अंदर जाने नहीं दिया गया. जिसके विरोध में किसानों ने (Farmers protest) जमकर विरोध किया.
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21 जुलाई, 2021: हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला के सिरसा दौरे के विरोध में किसानों के एक ग्रुप ने काले झंडे (Farmers Showed black flag to dushyant chautala) दिखाए. दुष्यंत चौटाला सिरसा में स्थित चौधरी देवी लाल विश्वविद्यालय (सीडीएलयू) में पूर्व उप प्रधानमंत्री देवीलाल की प्रतिमा का अनावरण करने सिरसा आए थे. किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए मौके पर भारी पुलिस बल के साथ दंगा रोधक वाहन भी तैनात किया गया.
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20 जुलाई, 2021: सयुंक्त प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ओपी धनखड़ के जैन मंदिर जाने के विरोध में किसानों ने करनाल-इंद्री स्टेट हाईवे जाम कर दिया. किसानों के विरोध को देखते हुए मौके पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया. बैरिकेडिंग लगाकर किसानों को रोका गया. इस बीच पुलिस और किसानों के बीच कहासुनी भी हुई.
28 अगस्त, 2021: कृषि कानूनों को रद्द करवाने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे किसानों ने 28 अगस्त, 2021 को हरियाणा के करनाल में सीएम सीएम मनोहर लाल (farmers Protest Against cm Manohar lal) का विरोध किया. सीएम खट्टर यहां एक कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे थे. इस दौरान उन्हें किसानों के विरोध का सामने करना पड़ा.
दरअसल, करनाल में भाजपा की प्रदेश कार्यकारिणी की अहम बैठक होनी थी. मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का काफिला जब करनाल के घरौंडा में टोल प्लाजा पर पहुंचा तो किसानों ने विरोध करना शुरू कर दिया. इस दौरान पुलिस ने प्रदर्शनकारी किसानों पर लाठीचार्ज (Lathi charge on farmers in karnal) किया. जिसमें कई किसान घायल हुआ, बाद में इस घटना से काफी विवाद बढ़ा.
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08 सितंबर,2021: करनाल में किसानों पर लाठी चार्ज के विरोध में जिला सचिवालय के बाहर राकेश टिकैत (karnal Rakesh tikait protest) अड़ कर बैठ गए हैं, उन्होंने साफ कर दिया है कि जब तक सरकार किसानों का सिर फोड़ने का आदेश देने वाले एसडीएम आयुष सिन्हा पर कार्रवाई नहीं होती तब तक वो नहीं हटेंगे. उधर सरकार भी अड़ गई है कि वो किसी भी हाल में आयुष सिन्हा पर कार्रवाई नहीं करेगी, लेकिन विरोध के चलते सरकार को एसडीएम आयुष सिन्हा पर का तबादला करना पड़ा.
10 सितंबर, 2021: जिला करनाल में किसानों पर हुए लाठी चार्ज (Lathi charge on farmers in karnal) के मामले में जमकर बवाल हुआ. एसडीएम आयुष सिन्हा का लाठी चलाने का आदेश देने वाला वीडियो वायरल हुआ. किसानों ने करनाल में लाठी चार्ज का आदेश देने वाले तत्कालीन एसडीएम आयुश सिन्हां (Karnal SDM Ayush Sinha) के खिलाफ बड़े स्तर पर विरोध किया. इस मामले में पानीपत में एक शख्स ने एसडीएम का विरोध करने और मांगों को मनवाने के लिए अजीबो-गरीब रास्ता अपनाया है. एसडीएम के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुआ ये शख्स टावर पर चढ़ गया.
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13 अक्टूबर, 2021: किसानों के विरोध के चलते हरियाणा के सीएम मनोहर लाल (CM Manohar Lal) का गोहाना कार्यक्रम रद्द (Gohana Program Cancels) करना पड़ा. उन्हें गोहाना में वाल्मीकि समाज के एक कार्यक्रम में शामिल होना था, लेकिन किसानों ने सीएम के गोहाना दौरे के विरोध का ऐलान किया था. जिसके बाद सीएम मनोहर लाल को गोहाना का कार्यक्रम रद्द करना पड़ा.
किसानों में इस कदर रोष था कि वो सीएम के लिए ताऊ देवीलाल स्टेडियम में बनाए गए हेलीपैड पर विरोध जताने पहुंच गए. कार्यक्रम से पहले बुधवार सुबह एएसपी गोहाना निकिता खट्टर ने किसानों को बातचीत के लिए बुलाया था. किसानों से अपील की गई कि वे धार्मिक कार्यक्रम में सीएम का विरोध न करें. बातचीत में शामिल भाकियू के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यवान नरवाल ने कहा कि किसान हर हाल में सीएम का विरोध करेंगे.
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14 अक्टूबर, 2021: गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय (Guru Jambheshwar University Hisar) के बाहर किसानों ने बीजेपी नेताओं का विरोध किया. बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष ओपी धनखड़, डिप्टी स्पीकर रणबीर गंगवा यूनिवर्सिटी में वाल्मीकि प्रकट दिवस के कार्यक्रम में शिरकत करने आए थे. दोनों नेताओं के आने की सूचना मिलते ही किसान भारी संख्या में जीजेयू, हिसार यूनिवर्सिटी (Farmer Protest Hisar) के बाहर इकट्ठा हो गए. किसानों ने गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय के बाहर जमकर नारेबाजी की.
इसके साथ किसानों ने ओपी धनखड़ और रणबीर गंगवा को काले झंड़े दिखाकर प्रदर्शन किया. किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए यूनिवर्सिटी के बाहर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात रहा. पुलिस ने बैरिकेडिंग कर यूनिवर्सिटी जाने वाले रास्तों को बंद कर दिया था. इसके बाद किसानों को पुलिस के बीच सहमति बनी और किसानों ने यूनिवर्सिटी के गेट के बाहर प्रदर्शन किया.
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बता दें कि 19 नवंबर को राष्ट्र को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने गुरु पर्व और कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर तीन नए कृषि कानूनों को वापस (Three Farm Laws Repealed) लेने का ऐलान किया. पीएम मोदी के इस ऐलान के बाद संयुक्त किसान मोर्चा ने बैठक कर हरियाणा में बीजेपी-जेजेपी नेताओं का विरोध करने के फैसले को स्थगित कर दिया.
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