चंडीगढ़: हरियाणा सरकार ने इन दिनों सोशल मीडिया पर वायरल प्रदेश के 1585 सरकारी स्कूलों में छात्रों के लिए बुनियादी सुविधाओं की कमी होने से संबंधित एक पोस्ट को निराधार और तथ्यहीन बताते हुए इसकी कड़ी निंदा की है. हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग की ओर से बताया गया है कि सोशल मीडिया पर वायरल पोस्ट पूरी तरह से गलत है. शिक्षा विभाग का कहना है कि इसके माध्यम से राज्य सरकार की छवि खराब करने की कोशिश की जा रही है.
हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग की सफाई: हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग ने स्पष्ट किया है कि हरियाणा में 14,281 सरकारी स्कूल हैं. इनमें से केवल 131 में पेयजल की सुविधा नहीं है और 236 स्कूलों में बिजली कनेक्शन नहीं है. इसके अलावा, वर्तमान में लड़कियों के लिए 535 शौचालयों सहित केवल 1585 शौचालयों का निर्माण करने की जरूरत है. इन कार्यों को पूरा करने के लिए स्कूल प्रबंधन समितियों को 46 करोड़ रुपये की राशि जारी की जा रही है. विभाग का कहना है कि इन कार्यों को तीन महीने में पूरा कर लिया जाएगा.
हरियाणा के सरकारी स्कूलों में 95,363 क्लासरूम: हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग ने स्पष्ट किया है कि इन स्कूलों में 95,363 क्लासरूम हैं और प्रयोगशाला, पुस्तकालय, प्रशासनिक, प्रधानाध्यापक, शिक्षक, कम्प्यूटर कक्ष एवं एक्टिविटी कक्ष सहित अन्य 43,000 कमरे हैं. अतिरिक्त कमरों के निर्माण सहित अन्य प्रमुख कार्यों को तीन वर्षों में पूरा करने की योजना है.
क्या कहते हैं निदेशक, माध्यमिक शिक्षा और स्कूल शिक्षा विभाग के विशेष सचिव?: वहीं, इस मामले में निदेशक, माध्यमिक शिक्षा और स्कूल शिक्षा विभाग के विशेष सचिव डॉ. अंशज सिंह द्वारा हाईकोर्ट में एफिडेविट दाखिल कर राज्य सरकार की ओर से आश्वासन दिया था कि स्कूल प्रबंधन समितियों के माध्यम से इन सभी छोटे-मोटे कार्यों को चालू वित्तीय वर्ष में प्राथमिकता के आधार पर पूरा किया जाएगा. इसके साथ ही कहा गया है कि किसी ने जानबूझकर एफिडेविट में दर्ज जानकारी को तोड़-मरोड़ कर पेश किया है.
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