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आम बजट 2020: शिक्षा, स्वास्थ्य और खेती के बजट में बढ़ोतरी चाहते हैं युवा - central budget 2020 haryana youth

आम बजट 2020 को लेकर चंडीगढ़ के युवा बेहद उत्साहित हैं. उन्होंने कई मुद्दों को लेकर ईटीवी भारत हरियाणा से बात की. शिक्षा, स्वास्थ्य, खेती और बेरोजगारी पर युवाओं ने अपनी प्रतिक्रिया दी. युवाओं का मानना है कि ये बजट हर वर्ग के लिए बेहद जरूरी है. सरकार को इन सभी मुद्दों को ध्यान में रखकर बजट पेश करना चाहिए.

chandigarh youth on central budget 2020
chandigarh youth on central budget 2020
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Published : Jan 31, 2020, 9:52 AM IST

चंडीगढ़: 1 फरवरी को देश का आम बजट पेश होने वाला है और इसको लेकर देशवासियों को काफी उम्मीदें हैं. समाज का हर वर्ग अपने- अपने तरीके से इस बजट को लेकर उम्मीदें जता रहा है. हमने बजट को लेकर चंडीगढ़ के युवाओं से बात की और उनसे जाना कि आखिर वो इस बजट में क्या चाहते हैं.

'स्वास्थ्य सेवाओं के लिए बढ़ाया जाए बजट'
युवाओं ने अपनी बातचीत में सबसे पहले स्वास्थ्य सेवाओं का मुद्दा उठाया. इस बारे में बात करते हुए छात्र नवदीप ने कहा कि इस बजट में स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर महत्वपूर्ण घोषणाएं की जानी चाहिए, क्योंकि भारत में स्वास्थ्य सेवाओं पर कुल बजट का सिर्फ 1.5% ही खर्च किया जाता है. जबकि दूसरे देशों में 2.5% से 3.5% तक खर्च किया जाता है, इसलिए भारत सरकार को भी स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने के लिए स्वास्थ्य बजट में वृद्धि करनी चाहिए.

स्वास्थ्य, खेती और शिक्षा के बजट में युवा चाहते हैं वृद्धि, देखें वीडियो

साथ ही उन्होंने कहा की एम्स और पीजीआई जैसे नए अस्पताल बनाना जरूरी है, लेकिन उनके रखरखाव का ध्यान करना भी उतना ही जरूरी है. ताकि मरीजों को उनका पूरा लाभ मिल सके. साथ ही उन्होंने कहा की सरकार ने आयुष्मान भारत जैसी कई अच्छी योजनाएं चलाई हैं. जिसका लोगों को काफी फायदा हो रहा है, लेकिन इन योजनाओं में पारदर्शिता की कमी महसूस की जा रही है. कुछ लोग गलत तरीके से इन योजनाओं का फायदा उठा रहे हैं.

ये भी पढे़ं- आम बजट 2020: आय दोगुनी करने का वादा करने वाली बीजेपी सरकार से अन्नदाता को हैं कई उम्मीदें

इसके इलावा नवदीप ने कहा कि भारत में वृद्ध लोगों की भी बड़ी संख्या है और उन्हें स्वास्थ्य सेवाओं की ज्यादा जरूरत होती है, इसलिए उनके लिए अलग से अस्पताल और योजनाएं चलाई जानी चाहिए. इसके अलावा पंजाब यूनिवर्सिटी में रिसर्च स्कॉलर विकास ने कहा की अन्य मुद्दों के साथ-साथ खेती भी देश का बड़ा मुद्दा है.

किसानों के लिए कैसा हो बजट ?
वहीं छात्र विकास ने कहा कि देश की खेती इस समय सबसे ज्यादा प्राकृतिक आपदाओं से प्रभावित हो रही है. किसानों को हर साल प्राकृतिक आपदाओं की वजह से बड़ा नुकसान उठाना पड़ता है. इस नुकसान से उभरने के लिए किसानों को कर्ज लेना पड़ता है, लेकिन कर्ज लेना इसका समाधान नहीं है.

इसके अलावा विकास ने कहा कि किसानों का कर्ज भी आज एक राजनीतिक मुद्दा बनकर रह गया है. पार्टियां किसानों की असली समस्याओं को दरकिनार कर उनसे कर्ज माफ करने की घोषणा करना शुरु कर देती है, लेकिन धरातल पर किसानों को कोई फायदा नहीं दिया जाता. बल्कि कई गलत लोग इसका फायदा उठा जाते हैं. इसलिए सरकार को किसानों की बेहतरी के लिए कुछ खास योजनाओं के बारे में में सोचना चाहिए.

'शिक्षा के बजट में वृद्धि जरूरी है'
शिक्षा की बात करते हुए छात्र इशांत ने कहा कि सरकार को शिक्षा बजट में भी वृद्धि करनी चाहिए. इस समय शिक्षा क्षेत्र में सुधार बेहद जरुरी है. इशांत ने कहा कि सरकार को तकनीकी शिक्षा पर जोर देना चाहिए, ताकि छात्र नौकरी के साथ-साथ अपना खुद का रोजगार शुरू करने में भी सक्षम हो सके.

'सरकार बेरोजगारी को गंभीरता से ले'
छात्र अखिल ने बेरोजगारी के मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि देश में बेरोजगारी काफी बढ़ गई है. देश में जितनी बेरोजगारी अब देखी जा रही है उतनी पहले कभी नहीं देखी गई. देश के करोड़ों युवाओं के पास इस समय नौकरी नहीं है. ये सरकार की कमी को दर्शाता है. सरकार को बेरोजगारी के मुद्दे को गंभीरता से लेना चाहिए और उसे दूर करने के लिए काम करना चाहिए.

चंडीगढ़: 1 फरवरी को देश का आम बजट पेश होने वाला है और इसको लेकर देशवासियों को काफी उम्मीदें हैं. समाज का हर वर्ग अपने- अपने तरीके से इस बजट को लेकर उम्मीदें जता रहा है. हमने बजट को लेकर चंडीगढ़ के युवाओं से बात की और उनसे जाना कि आखिर वो इस बजट में क्या चाहते हैं.

'स्वास्थ्य सेवाओं के लिए बढ़ाया जाए बजट'
युवाओं ने अपनी बातचीत में सबसे पहले स्वास्थ्य सेवाओं का मुद्दा उठाया. इस बारे में बात करते हुए छात्र नवदीप ने कहा कि इस बजट में स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर महत्वपूर्ण घोषणाएं की जानी चाहिए, क्योंकि भारत में स्वास्थ्य सेवाओं पर कुल बजट का सिर्फ 1.5% ही खर्च किया जाता है. जबकि दूसरे देशों में 2.5% से 3.5% तक खर्च किया जाता है, इसलिए भारत सरकार को भी स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने के लिए स्वास्थ्य बजट में वृद्धि करनी चाहिए.

स्वास्थ्य, खेती और शिक्षा के बजट में युवा चाहते हैं वृद्धि, देखें वीडियो

साथ ही उन्होंने कहा की एम्स और पीजीआई जैसे नए अस्पताल बनाना जरूरी है, लेकिन उनके रखरखाव का ध्यान करना भी उतना ही जरूरी है. ताकि मरीजों को उनका पूरा लाभ मिल सके. साथ ही उन्होंने कहा की सरकार ने आयुष्मान भारत जैसी कई अच्छी योजनाएं चलाई हैं. जिसका लोगों को काफी फायदा हो रहा है, लेकिन इन योजनाओं में पारदर्शिता की कमी महसूस की जा रही है. कुछ लोग गलत तरीके से इन योजनाओं का फायदा उठा रहे हैं.

ये भी पढे़ं- आम बजट 2020: आय दोगुनी करने का वादा करने वाली बीजेपी सरकार से अन्नदाता को हैं कई उम्मीदें

इसके इलावा नवदीप ने कहा कि भारत में वृद्ध लोगों की भी बड़ी संख्या है और उन्हें स्वास्थ्य सेवाओं की ज्यादा जरूरत होती है, इसलिए उनके लिए अलग से अस्पताल और योजनाएं चलाई जानी चाहिए. इसके अलावा पंजाब यूनिवर्सिटी में रिसर्च स्कॉलर विकास ने कहा की अन्य मुद्दों के साथ-साथ खेती भी देश का बड़ा मुद्दा है.

किसानों के लिए कैसा हो बजट ?
वहीं छात्र विकास ने कहा कि देश की खेती इस समय सबसे ज्यादा प्राकृतिक आपदाओं से प्रभावित हो रही है. किसानों को हर साल प्राकृतिक आपदाओं की वजह से बड़ा नुकसान उठाना पड़ता है. इस नुकसान से उभरने के लिए किसानों को कर्ज लेना पड़ता है, लेकिन कर्ज लेना इसका समाधान नहीं है.

इसके अलावा विकास ने कहा कि किसानों का कर्ज भी आज एक राजनीतिक मुद्दा बनकर रह गया है. पार्टियां किसानों की असली समस्याओं को दरकिनार कर उनसे कर्ज माफ करने की घोषणा करना शुरु कर देती है, लेकिन धरातल पर किसानों को कोई फायदा नहीं दिया जाता. बल्कि कई गलत लोग इसका फायदा उठा जाते हैं. इसलिए सरकार को किसानों की बेहतरी के लिए कुछ खास योजनाओं के बारे में में सोचना चाहिए.

'शिक्षा के बजट में वृद्धि जरूरी है'
शिक्षा की बात करते हुए छात्र इशांत ने कहा कि सरकार को शिक्षा बजट में भी वृद्धि करनी चाहिए. इस समय शिक्षा क्षेत्र में सुधार बेहद जरुरी है. इशांत ने कहा कि सरकार को तकनीकी शिक्षा पर जोर देना चाहिए, ताकि छात्र नौकरी के साथ-साथ अपना खुद का रोजगार शुरू करने में भी सक्षम हो सके.

'सरकार बेरोजगारी को गंभीरता से ले'
छात्र अखिल ने बेरोजगारी के मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि देश में बेरोजगारी काफी बढ़ गई है. देश में जितनी बेरोजगारी अब देखी जा रही है उतनी पहले कभी नहीं देखी गई. देश के करोड़ों युवाओं के पास इस समय नौकरी नहीं है. ये सरकार की कमी को दर्शाता है. सरकार को बेरोजगारी के मुद्दे को गंभीरता से लेना चाहिए और उसे दूर करने के लिए काम करना चाहिए.

Intro:एक फरवरी को देश का आम बजट पेश होने वाला है और इसको लेकर देशवासियों को काफी उम्मीदें हैं । समाज का हर वर्ग अपने अपने तरीके से इस बजट को लेकर उम्मीदें जता रहा है। हमने बजट को लेकर चंडीगढ़ के युवाओं से बात की और उनसे जाना कि आखिर वे इस बजट में क्या चाहते हैं।


Body:युवाओं ने अपनी बातचीत में सबसे पहले स्वास्थ्य सेवाओ का मुद्दा उठाया। इस बारे में बात करते हुए छात्र नवदीप ने कहा कि इस बजट में स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर महत्वपूर्ण घोषणाएं की जानी चाहिए । क्योंकि भारत में स्वास्थ्य सेवाओं पर कुल बजट का सिर्फ 1.5% ही खर्च किया जाता है। जबकि दूसरे देशों में 2.5% से 3.5% तक खर्च किया जाता है। इसलिए भारत सरकार को भी स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने के लिए स्वास्थ्य बजट में वृद्धि करनी चाहिए। साथ ही उन्होंने कह की एम्स और पीजीआई जैसे नए अस्पताल बनाना जरूरी है। लेकिन उनके रखरखाव का ध्यान करना भी उतना ही जरूरी है ।ताकि मरीजों को उनका पूरा लाभ मिल सके साथ ही उन्होंने कहा की सरकार ने आयुष्मान भारत जैसी कई अच्छी योजनाएं चलाई हैं। जिसका लोगों को काफी फायदा हो रहा है ।लेकिन इन योजनाओं में पारदर्शिता की कमी महसूस की जा रही है। कुछ लोग गलत तरीके से इन योजनाओं का फायदा उठा रहे हैं ।इसलिए इन योजनाओं के नियमों पर ध्यान देने की जरूरत है। इसके अलावा नवदीप ने कहा कि भारत में वृद्ध लोगों की भी बड़ी संख्या है और उन्हें स्वास्थ्य सेवाओं की ज्यादा जरूरत होती है इसलिए उनके लिए अलग से अस्पताल और योजनाएं चलाई जानी चाहिए।

इसके अलावा पंजाबी यूनिवर्सिटी में रिसर्च स्कॉलर विकास ने कहा की अन्य मुद्दों के साथ-साथ खेती भी देश का बड़ा मुद्दा है। विकास ने कहा कि देश की खेती इस समय सबसे ज्यादा प्राकृतिक आपदाओं से प्रभावित हो रही है। किसानों को हर साल प्राकृतिक आपदाओं की वजह से बड़ा नुकसान उठाना पड़ता है। इस नुकसान से उबरने के लिए किसानों को कर्ज लेना पड़ता है।
लेकिन कर्ज लेना इसका समाधान नहीं है। सरकार को किसानों की 72 करनी चाहिए लेकिन कुछ ऐसी योजनाएं भी जवानी चाहिए। जिससे प्राकृतिक आपदाओं से होने वाले नुकसान को कम किया जा सके और किसानों को कर्क सहारा बिना लेना पड़े उन्होंने कहा कि हम प्राकृतिक नहीं रोक सकते लेकिन सकते हैं।
इसके अलावा विकास ने कहा कि किसानों का कर्ज भी आज एक राजनीतिक मुद्दा बनकर आ गया है। पार्टियां किसानों की असली समस्याओं को दरकिनार कर उनसे कर्ज माफ करने की घोषणा करना शुरु कर देती है ।लेकिन धरातल पर किसानों को कोई फायदा नहीं दिया जाता। बल्कि कई गलत लोग इसका फायदा उठा जाते हैं इसलिए सरकार को किसानों की बेहतरी के लिए कुछ खास योजनाओं के बारे में में सोचना चाहिए।

शिक्षा के बात करते हुए छात्र इशांत ने कहा कि सरकार को शिक्षा बजट में भी वृद्धि करनी चाहिए। इस समय शिक्षा क्षेत्र में सुधार बेहद जरुरी है। इशांत ने कहा कि सरकार को तकनीकी शिक्षा पर जानना जाना चाहिए ।ताकि छात्र नौकरी के साथ-साथ अपना खुद का रोजगार शुरू करने में भी सक्षम हो सके। साथ ही सरकार को एजुकेशन क्षेत्र में भी काम करने की जरूरत है।

छात्र अखिल में बेरोजगारी के मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि देश में बेरोजगारी काफी बढ़ गई है। देश जितनी बेरोजगारी अब देखी जा रही है उतनी पहले कभी नहीं देखी गई। देश की करोड़ों युवाओं के पास इस समय नौकरी नहीं है। यह सरकार की कमी को दर्शाता है। सरकार को बेरोजगारी के मुद्दे को गंभीरता से लेना चाहिए ओर से दूर करने के लिए काम करना चाहिए।
वही इन छात्रों ने मंहगाई की मुद्दे को भी उठाया उनको कहना था कि देश में महंगाई लगातार बढती जा रही है और पिछले साल इसमे जबरदस्त उछाल देखा गया है। जिससे देश के हर वर्ग पर काफी बुरा प्रभाव पड़ा है ।सरकार को इस बजट में महंगाई को कम करने के लिए कई घोषणा करनी चाहिए और मंहगाई पर
जल्द से जल्द लगाम लगाई जानी चाहिए।

one2one with youth


Conclusion:
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