चंडीगढ़: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि 1 अप्रैल 2021 से शुरू होने वाली खरीद के दौरान किसानों को किए जाने वाले भुगतान में किसी प्रकार की देरी नहीं होनी चाहिए. अगर भुगतान में देरी होती है तो लगभग 9 प्रतिशत ब्याज (बैंक दर और एक प्रतिशत) के साथ भुगतान किया जाएगा. ये भुगतान किसानों के सत्यापित बैंक खातों में सीधे किया जाएगा.
मुख्यमंत्री आज आगामी खरीद सीजन की तैयारियों के संबंध में समीक्षा बैठक ले रहे थे. बैठक में उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला भी उपस्थित थे. मनोहर लाल ने कहा कि किसानों को एक निर्धारित समय अवधि के भीतर खरीदी गई उपज का भुगतान किया जाना सुनिश्चित किया जाए. भुगतान में देरी को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने फसलों की सुचारू खरीद के लिए किए जा रहे प्रबंधों की समीक्षा की और संबंधित विभागों को ये सुनिश्चित करने के लिए निर्देश दिए गए कि किसानों को मंडियों में अपनी उपज बेचते समय किसी भी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े. उन्होंने कहा कि सुगम और समय पर खरीद सुनिश्चित करने के लिए एडवांस में शेड्यूलिंग की योजना बनाई जाए.
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मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि कोविड-19 मामलों में अचानक हो रही वृद्धि को देखते हुए खरीद प्रक्रिया को सुचारू रूप से चलाने के लिए पिछले वर्ष की तरह इस बार भी खरीद केंद्रों की संख्या बढ़ाई जानी चाहिए. गेहूं और सरसों की खरीद 1 अप्रैल से शुरू होगी जबकि अन्य फसलों की खरीद 10 अप्रैल से आरंभ होगी. खरीद केंद्रों की स्थापना के लिए जल्द से जल्द स्थानों को चिन्हित कर लिया जाए.
मुख्यमंत्री ने मंडी व्यवस्था को सुदृढ़ करने के संबंध में निर्देश देते हुए कहा कि मंडियों में मजदूरों की उपलब्धता, धर्म कांटा, बारदाना और सिलाई मशीन आदि की व्यवस्था सुनिश्चित करें. उन्होंने ये भी निर्देश दिए कि मंडियों पर परिवहन की व्यापक व्यवस्था की जानी चाहिए और अगर कोई ट्रांसपोर्टर 48 घंटों के भीतर फसल का उठान करने में विफल रहता है, तो उपायुक्त अन्य वैकल्पिक परिवहन व्यवस्था कर फसल का उठान सुनिश्चित करें.
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