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नवीन जयहिंद का पहरावर की जमीन पर भगवान परशुराम जयंती मनाने का ऐलान, सीएम मनोहर लाल पर दिया विवादित बयान

भिवानी में नवीन जयहिंद ने भगवान परशुराम का जन्मोत्सव 21 मई को पहरावर की उसी धरती पर मनाने का ऐलान किया है. जिसपर पहले पुलिस प्रशासन ने इजाजत नहीं दी थी. इसी के साथ नवीन जयहिंद ने सीएम मनोहर लाल पर विवादित बयान दिया.

naveen jaihind controversial statement
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Published : Apr 29, 2023, 8:26 PM IST

भिवानी: भगवान परशुराम जयंती के उपलक्ष्य में भिवानी में शोभायात्रा निकाली गई. इस शोभा यात्रा में आम आदमी पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष नवीन जयहिंद भी शामिल हुए. इस दौरान उन्होंने हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल को लेकर विवादित बयान दिया. इसके अलावा नवीन जयहिंद ने ऐलान किया वो भगवान परशुराम का जन्मोत्सव 21 मई को पहरावर की जमीन पर मनाएंगे. अगर किसी ने भी उनको रोकने की कोशिश की तो अच्छा नहीं होगा.

बता दें कि 23 अप्रैल को पहरावर की जमीन पर ब्राह्मण समाज के लोगों ने भगवान परशुराम की जयंती मनाने का फैसला किया था, लेकिन पुलिस प्रशासन ने लोगों को उस विवादित जमीन पर किसी भी तरह का कार्यक्रम आयोजित करने की परमिशन नहीं दी थी. अब नवीन जयहिंद ने भगवान परशुराम का जन्मोत्सव 21 मई को पहरावर की उसी धरती पर मनाने का ऐलान किया है. जिस पर पहले पुलिस प्रशासन ने इजाजत नहीं दी थी.

नवीन जयहिंद ने कहा कि 21 मई तक वो हमें ये बता दें कि जो पहरावर की जमीन मुख्यमंत्री ने ब्राह्मण समाज को वापस देने का वादा किया था. वो जमीन कहां है. उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल पर कटाक्ष करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री के अंदर कंस की आत्मा आई हुई है, इसलिए वो भगवान परशुराम का जन्मोत्सव नहीं मनाने दे रहे हैं. गौरतलब है कि रोहतक के पहरावर में 23 अप्रैल को भगवान परशुराम का जन्मोत्सव मनाया जाने वाला था.

कार्यक्रम से दो दिन पहले सरकार ने प्रशासन और नगर निगम के जरिए कोर्ट का सहारा लेकर इस कार्यक्रम पर रोक लगा दी. इसके बाद शनिवार 22 अप्रैल को नवीन जयहिंद ने सेक्टर-6 बाग में एक आपातकालीन मीटिंग बुलाई. जिसमें जयहिंद ऐलान करते हुए कहा कि आने वाली 21 मई को उसी पहरावर की जमीन पर भगवान परशुराम की अदालत भी लगेगी और जन्मोत्सव भी मनाया जाएगा. जयहिन्द ने कहा कि इस बीच हम न्याय के लिए सेशन कोर्ट, हाई कोर्ट व सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे.

ये भी पढ़ें- हरियाणा में अब नहीं चलेगी निजी स्कूलों की मनमानी, मुख्यमंत्री ने किया ये बड़ा ऐलान

क्या है पहरावर जमीन विवाद? कांग्रेस सरकार में भूपेंद्र सिंह हुड्डा के मुख्यमंत्री रहते हुए पहरावर गांव (pahrawar village rohtak) की पंचायत ने गौड़ शिक्षण संस्था को 15 एकड़ जमीन लीज पर दी थी. इस जमीन पर स्कूल, कॉलेज और अस्पताल का निर्माण होना था. संस्था ने कुछ समय तो लीज मनी जमा करा दी थी, फिर जमा नहीं कराई. इस बीच पहरावर गांव नगर निगम रोहतक के अंतर्गत आ गया. ऐसे में ये जमीन नगर निगम के पास चली गई. जिसके बाद से ब्राह्मण समाज मुख्यमंत्री मनोहर लाल से 15 एकड़ जमीन वापस करने की मांग कर रहा है. अब सीएम ने पहरावर की जमीन गौड़ ब्राह्मण संस्था को 33 साल की लीज पर देने के साथ बकाया ब्याज और जुर्माना माफ करने की घोषणा की है, लेकिन अभी तक ये जमीन पहरावर गांव को वापस नहीं मिल पाई है.

भिवानी: भगवान परशुराम जयंती के उपलक्ष्य में भिवानी में शोभायात्रा निकाली गई. इस शोभा यात्रा में आम आदमी पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष नवीन जयहिंद भी शामिल हुए. इस दौरान उन्होंने हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल को लेकर विवादित बयान दिया. इसके अलावा नवीन जयहिंद ने ऐलान किया वो भगवान परशुराम का जन्मोत्सव 21 मई को पहरावर की जमीन पर मनाएंगे. अगर किसी ने भी उनको रोकने की कोशिश की तो अच्छा नहीं होगा.

बता दें कि 23 अप्रैल को पहरावर की जमीन पर ब्राह्मण समाज के लोगों ने भगवान परशुराम की जयंती मनाने का फैसला किया था, लेकिन पुलिस प्रशासन ने लोगों को उस विवादित जमीन पर किसी भी तरह का कार्यक्रम आयोजित करने की परमिशन नहीं दी थी. अब नवीन जयहिंद ने भगवान परशुराम का जन्मोत्सव 21 मई को पहरावर की उसी धरती पर मनाने का ऐलान किया है. जिस पर पहले पुलिस प्रशासन ने इजाजत नहीं दी थी.

नवीन जयहिंद ने कहा कि 21 मई तक वो हमें ये बता दें कि जो पहरावर की जमीन मुख्यमंत्री ने ब्राह्मण समाज को वापस देने का वादा किया था. वो जमीन कहां है. उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल पर कटाक्ष करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री के अंदर कंस की आत्मा आई हुई है, इसलिए वो भगवान परशुराम का जन्मोत्सव नहीं मनाने दे रहे हैं. गौरतलब है कि रोहतक के पहरावर में 23 अप्रैल को भगवान परशुराम का जन्मोत्सव मनाया जाने वाला था.

कार्यक्रम से दो दिन पहले सरकार ने प्रशासन और नगर निगम के जरिए कोर्ट का सहारा लेकर इस कार्यक्रम पर रोक लगा दी. इसके बाद शनिवार 22 अप्रैल को नवीन जयहिंद ने सेक्टर-6 बाग में एक आपातकालीन मीटिंग बुलाई. जिसमें जयहिंद ऐलान करते हुए कहा कि आने वाली 21 मई को उसी पहरावर की जमीन पर भगवान परशुराम की अदालत भी लगेगी और जन्मोत्सव भी मनाया जाएगा. जयहिन्द ने कहा कि इस बीच हम न्याय के लिए सेशन कोर्ट, हाई कोर्ट व सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे.

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क्या है पहरावर जमीन विवाद? कांग्रेस सरकार में भूपेंद्र सिंह हुड्डा के मुख्यमंत्री रहते हुए पहरावर गांव (pahrawar village rohtak) की पंचायत ने गौड़ शिक्षण संस्था को 15 एकड़ जमीन लीज पर दी थी. इस जमीन पर स्कूल, कॉलेज और अस्पताल का निर्माण होना था. संस्था ने कुछ समय तो लीज मनी जमा करा दी थी, फिर जमा नहीं कराई. इस बीच पहरावर गांव नगर निगम रोहतक के अंतर्गत आ गया. ऐसे में ये जमीन नगर निगम के पास चली गई. जिसके बाद से ब्राह्मण समाज मुख्यमंत्री मनोहर लाल से 15 एकड़ जमीन वापस करने की मांग कर रहा है. अब सीएम ने पहरावर की जमीन गौड़ ब्राह्मण संस्था को 33 साल की लीज पर देने के साथ बकाया ब्याज और जुर्माना माफ करने की घोषणा की है, लेकिन अभी तक ये जमीन पहरावर गांव को वापस नहीं मिल पाई है.

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