भिवानी: निगाना फीडर से ढाणीमाहू माइनर में सीमेंट की पाइपलाइन बिछाने का विरोध कर रहे किसानों का धरना आलमपुर-दुल्हेड़ी मार्ग पर 18वें दिन भी जारी रहा. विरोध प्रदर्शन के बीच निगाना माइनर से ढाणीमाहू माइनर में पाइपलाइन डालने के लिए पुलिस बल के साथ प्रशासन माइनर पर पहुंचा.
सीमेंट पाइपलाइन का विरोध जारी
बता दें कि किसानों के विरोध को लेकर प्रशासन ने द्वारा बनाई गई कमेटी को बातचीत करने के लिए 10 दिन का समय दिया है. निगाना फीडर से ढाणीमाहू माइनर में सीमेंट की पाइप लाइन बिछाने का विरोध करते हुए आधा दर्जन गांव के लोगों ने आलमपुर-दुल्हेड़ी मार्ग पर ढाणीमाहू माइनर पर 8 अगस्त से धरना जारी है और माइनर में पाइप डालने का विरोध किया जा रहा है.
पिछले 18 दिनों से धरने पर बैठे हैं किसान
उपायुक्त भिवानी ने तहसीलदार अशोक कुमार को ड्यूटी मजिस्ट्रेट नियुक्त करके पाइपलाइन डालने के लिए ढ़ाणीमाहू माइनर के हैड पर भेजा था, लेकिन जैसे ही किसानों को इसके बारे में पता चला तो सैकड़ों महिलाएं और किसान धरने पर बैठ गए. सुबह दस बजे किसानों के पास डीएसपी हेडक्वाटर विरेंद्र सिंह और थाना प्रभारी संदीप कुमार मौके पर पहुंचे और किसानों से बातचीत कर बीच का रास्ता निकाला.
प्रशासन के सुझावों को भी किसानों ने नहीं माना
डीएसपी ने कहा कि जिन गांवों के खेतों से यह माइनर निकलता है. उन गांव के दो-दो आदमी एक कमेटी बनाए और प्रशासन से बातचीत करें. जिस पर किसान सहमत नहीं हुए. एक्सईन ने किसानों को कहा कि चार सौ फुट पर होदी बना दी जाएगी, जिसके चलते रिसाव की समस्या नहीं रहेगी. इस पर भी किसानों ने साफ मना कर दिया और कहा कि ढाणीमाहू के लिए अलग से पाइपलाइन डाल दी जाए. उसके बाद फिर एक्सईन ने कहा कि इसके हेड पर मोरी लगाकर नहर के साथ-साथ पक्की नाली बना दी जाएगी जिससे पानी का रिसाव होता रहेगा. इसके लिए प्रपोजल बनाकर भेज दिया जाएगा. लेकिन किसान इस पर सहमत नहीं हुए हैं.
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इसलिए हो रहा है प्रदर्शन
किसानों का कहना है कि माइनर के साथ-साथ किसानों ने ट्यूबवेल लगाकर अपने घर बनाए हुए हैं और वहां अपने परिवार और मवेशियों के साथ रहते हैं. उन्होंने कहा कि माइनर के पास ट्यूबवेल होने के कारण पानी मीठा है. इस पानी से वो अपना और अपने मवेशियों को पिलाकर गुजारा कर रहे हैं.
किसानों ने कहा कि अगर माइनर में सीमेंट की पाइपलाइन डाली जाती है तो इसके आसपास लगे ट्यूबवेल का पानी पूरी तरह से खराब हो जाएगा और माइनर के आसपास निवास कर रहे लोगों का वहां रहना मुश्किल हो जाएगा.