अंबाला: कहते हैं कि शादी एक पवित्र बंधन होता है. ये वो बंधन है जो दो परिवारों को एक करता है, लेकिन दहेज के लालची लोगों ने इस पवित्र रिश्ते को कलंकित किया है. मामला अंबाला से सामने आया है. जहां एक युवती अपने टूटे हुए रिश्ते का मातम मना रही है और न्याय की गुहार के लिए दर-दर की ठोकरें खा रही है.
बता दें कि, पीड़िता की शादी लॉकडाउन के दौरान 29 मार्च 2020 को पंजोखरा गांव के एक युवक से हुई थी. पीड़िता का आरोप है कि शादी के बाद से ही उसके साथ मारपीट की जाती थी और दहेज के लिए परेशान किया जाता था.
पुलिस कार्रवाई पर उठे सवाल
आरोप है कि शादी के महज 10 दिन बाद ही ससुराल पक्ष वाले उसे मायके छोड़ गए और लड़के ने बिना तलाक लिए ही 19 अप्रैल को दूसरी शादी भी कर ली. इस मामले में पीड़िता ने पुलिस प्रशासन की ढीली कार्रवाई पर भी सवाल खड़े किए हैं.
पीड़िता का आरोप है कि थाने में शिकायत देने के बावजूद पुलिस ने अब तक मामले पर कोई संज्ञान ही नहीं लिया. लिहाजा पीड़िता न्याय के लिए दर-दर की ठोकरें खा रही है. पीड़िता के पिता का कहना है कि वो पुलिस के नीचे से लेकर उच्च अधिकारियों तक भी न्याय की गुहार लेकर गए, लेकिन अभी तक उन्हें इन्साफ नहीं मिल पाया है.
'बेटी से की मारपीट और 10 दिन में की दूसरी शादी'
उन्होंने बताया कि वो पुलिस महानिरीक्षक अंबाला के दफ्तर भी गए, लेकिन वहां तैनात कर्मचारी ने कल आने को कहा है. उनका कहना है कि उन्होंने अपनी लड़की की शादी पंजोखरा गांव में की थी. शादी में दहेज समेत मोटरसाइकल भी दी, लेकिन लड़के वाले कार की डिमांड करने लगे थे. 10 दिनों में ही उन्होंने बेटी के साथ मारपीट शुरू कर दी. अब लड़के ने बिना तलाक के दूसरी शादी थम्बड़ गांव में कर ली है.
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