अंबाला: पूरे विश्व में कोरोना महामारी का कहर जारी है. इस वायरस ने हर जगह अपना असर डाला है. कोरोना का प्रभाव रोजगार, व्यापार से लेकर त्योहारों पर भी पड़ रहा है. त्योहारों पर इस महामारी का खासा असर देखा सकता है. क्योंकि त्योहारों के सीजन में ही बाजारों में रौनक बनी रहती है.
गणेश चतुर्थी पर दिख रहा कोरोना का असर
हर साल बेहद धूमधाम से मनाया जाने वाला गणेश चतुर्थी पर्व पर कोरोना का असर साफ देखा जा सकता है. इस त्योहार के दिन को बहुत खास माना जाता है और महीनों पहले से ही इसकी तैयारियां शुरू कर दी जाती है, लेकिन ये साल बाकी सालों की तरह सामान्य नहीं है. साल 2020 ऐसे ऐतिहासिक साल की गिनती में गिना जाएगा, जिसमें हर बड़ा त्यौहार इंसानों को घरों के अंदर रहकर मनाना पड़ रहा है. ऐसा इसलिए क्योंकि इस साल में कोरोना महामारी फैली जो लोगों के संपर्क में आने पर फैलती ही जा रही है.
मुर्ति नहीं बिकने से व्यापारी नाराज
बता दें कि सबसे लोकप्रिय और महत्वपूर्ण पर्व गणेशोत्सव आने वाला है लेकिन कोविड-19 की वजह से इस साल गणेश उत्सव सीमित संख्या में मनाने के निर्देश दिए गए हैं. ऐसा पहली बार होगा कि भगवान गणेश की बड़ी-बड़ी मूर्ति मुंबई की सड़कों पर नहीं दिखाई देंगी.
नहीं मिल रहे ऑर्डर
इससे सबसे ज्यादा नुकसान उन व्यापारियों को हुआ है जो भगवान की मूर्ति बनाकर बड़े-बड़े ऑर्डर लेते थे. अंबाला में गणेश की मूर्ति बनाने वाले लोगों का कहना है कि कोविड-19 की वजह से उनका व्यापार बुरी तरह प्रभावित हुआ है. इस बार गणेश चतुर्थी के लिए उनके पास गणेश भगवान की मूर्ति के लिए कोई ऑर्डर नहीं आ रहे हैं.
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इन लोगों का कहना है कि इस समय हमारे पास कोई बुकिंग नहीं है, हमारी आय इस त्यौहार या पर्व पर सबसे ज्यादा निर्भर होती है और अब तक एक भी बुकिंग ना होने पर काफी परेशानी सामने आ सकती है. कोरोना की वजह से लोग घर से बाहर नहीं निकल रहे हैं.
बता दें कि इस साल 22 अगस्त को गणेश चतुर्थी मनाई जाएगी. गणपति बप्पा का जन्मदिन इस साल 22 अगस्त, शनिवार को मनाया जाएगा. शास्त्रों के अनुसार, प्रथमपूज्य गणेश जी का जन्म भादप्रद माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को हुआ था.