गुरुग्राम: नूंह हिंसा का सबसे ज्यादा असर अभी तक गुरुग्राम जिले में देखने को मिला है. एक बार फिर शनिवार देर रात गुरुग्राम की खांडसा मंडी में कुछ शरारती तत्वों ने एक धार्मिक स्थल में आग लगा दी. ये मामला शनिवार और रविवार की रात का बताया जा रहा है जो कि अब सामने आया है. आग लगने का पता चलते ही आस-पास के लोगों ने खुद ही आग पर काबू पा लिया. पुलिस ने आस-पास के सीसीटीवी फुटेज को अपने कब्जे में ले कर पूरे मामले की तफ्तीश शुरू कर दी है. लोगों के मुताबिक वारदात को अंजाम देने वाले 4 से 5 लोग थे.
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इस धार्मिक स्थल पर सेवा करने वाले एक चश्मदीद ने बताया कि वह तकरीबन 17 साल से यहां रह रहा है. शनिवार-रविवार की देर रात करीब 1 बजे वो झज्जर से आया था. तभी धार्मिक स्थल पर आग लगी हुई देखी. जिसके बाद उन्होंने आस-पास के लोगो को बुलाकर आग बुझाई. तुरंत उन्होंने इस घटना की सूचना पुलिस को भी दी. सेक्टर 37 थाना पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और मामले की जांच में जुट गई.
चश्मदीद की मानें तो जब धार्मिक स्थल को खोला गया, तो वहां प्लास्टिक की बोतल में ज्वलनशील पदार्थ मिला. जिससे शरारती तत्वों ने आग लगाई थी. गनीमत रही की आग पर जल्द काबू पा लिया गया, जिसके चलते काफी नुकसान होने से बच गया. वहीं धार्मिक स्थल के केयर टेकर ने बताया कि रविवार की रात तक खांडसा गांव में सब कुछ ठीक था. वह रात साढ़े 8 बजे घर चले गए थे. देर रात करीब डेढ़ बजे उन्हें फोन पर सूचना मिली कि किसी ने धार्मिक स्थल में आग लगा दी है. केयर टेकर मूल रूप से उत्तर प्रदेश के बाराबंकी का रहने वाला और गुरुग्राम की एक कॉलोनी में रहता.
पुलिस ने इस मामले में केस दर्ज कर लिया है. गांव वालों ने कहा कि कुछ शरारती तत्वों ने इस वारदात को अंजाम देकर भाईचारा बिगाड़ने की कोशिश की है. उनकी ये कोशिश कामयाब नहीं होने दी जायेगी. इस मामले की जांच पुलिस को गंभीरता से करनी चाहिए और जो भी दोषी हो उसे सजा दी जाए.
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