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अनिल विज के स्वास्थ्य विभाग का कारनामा, स्कूलों में भेजी एक्सपायरी डेट की दवाई - एक्सपायरी डेट दवाई स्कूल उकलाना

उकलाना में स्वास्थ्य विभाग ने स्कूलों में एक्सपायरी डेट की (एल्बेंडाजोल) पेट के कीड़े मारने की दवाई भेजी है. हालांकि स्कूल की शिक्षण प्रबंधक कमेटी की समझदारी से बच्चों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ होने से बच गया.

Expiry date Albendazole school hisar
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Published : Feb 20, 2020, 9:04 PM IST

हिसार: बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं का दावा करने वाले स्वास्थ्य विभाग की एक बड़ी लापरवाही उकलाना में देखने को मिली. स्वास्थ्य विभाग ने स्कूलों में बच्चों को पेट के कीड़े मारने की दवाई एल्बेंडाजोल वितरित की, लेकिन यह दवाई एक्सपायरी डेट की स्कूलों में भेजी गई.

आशा वर्करों द्वारा स्कूल में भेजी गई एक्सपायरी डेट की दवाई बच्चों को खिलाने के लिए दी गई थी, लेकिन शिक्षण संस्थान के प्रबंधक कमेटी की समझदारी के कारण बच्चों के स्वास्थ्य से एक बड़ा संकट टल गया. प्रबंधन ने इस बारे में मुख्य चिकित्सा अधिकारी को जांच के लिए पत्र लिखा है.

अनिल विज के स्वास्थ्य विभाग का कारनामा, स्कूलों में भेजी एक्सपायरी डेट की दवाई.

आर्य कन्या सीनियर सेकेंडरी स्कूल के प्रबंधक समिति के सचिव राम कुमार गोयल ने बताया कि उनके स्कूल में एक आशा वर्कर उन्हें 100 गोलियों का एक पैकेट देकर गई. यह पैकेट पेट में कीड़े मारने के लिए 19 वर्ष से छोटे बच्चों को खिलाने के लिए दिया गया था. उन्होंने आशा वर्कर को बताया कि उनके स्कूल में ऐसे 300 बच्चों की संख्या है जो 19 वर्ष से नीचे हैं.

ये भी पढे़ं- झुग्गी झोपड़ी में रही, फुटपाथ पर पढ़ी, ये हैं पानीपत की 'जज बिटिया'

आशा वर्कर ने कहा कि वह दो पैकेट सौ-सौ गोलियों के और भेज देगी. जब पेट में कीड़े मारने की दवाई एल्बेंडाजोल की एक्सपायरी डेट देखी गई तो इसकी एक्सप्रेस डेट सितंबर 2019 थी. एक्सपायरी डेट की गोलियां देखकर राम कुमार गोयल ने अपनी प्रबंधक कमेटी के साथ मिलकर एक शिकायत उकलाना के बीईओ को भेजी तथा लिखित शिकायत मुख्य चिकित्सा अधिकारी हिसार को भी दी.

उन्होंने कहा कि इस प्रकार की गोलियां अगर बच्चों को खिला दी जाती तो कोई बड़ी अनहोनी हो सकती थी. उन्होंने संबंधित विभाग के लापरवाह अधिकारी एवं कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग भी की है. इस संबंध में उकलाना के खंड शिक्षा अधिकारी कृष्ण कुमार वर्मा ने बताया कि उन्हें एक लिखित शिकायत और दवाई का पैकेट मिला है. जिसको सील कर उच्च अधिकारियों के पास जांच और कार्रवाई के लिए भेज दिया गया है.

मामले पर उकलाना सिविल अस्पताल के मेडिकल ऑफिसर डॉक्टर राजेश का कहना है कि उन्हें फोन पर इस प्रकार की सूचना मिली. जिसकी जांच की जा रही है. अभी वह किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंचे हैं, लेकिन पूरे मामले की जांच करवाई जा रही है. यह एक्सपायरी डेट की दवाई कहां से आई उन्हें नहीं पता, लेकिन इसकी जांच की जाएगी और जो दोषी होंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

ये भी पढ़ें- गोहाना में बोले केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान,'जाट आरक्षण के पक्ष में हूं'

हिसार: बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं का दावा करने वाले स्वास्थ्य विभाग की एक बड़ी लापरवाही उकलाना में देखने को मिली. स्वास्थ्य विभाग ने स्कूलों में बच्चों को पेट के कीड़े मारने की दवाई एल्बेंडाजोल वितरित की, लेकिन यह दवाई एक्सपायरी डेट की स्कूलों में भेजी गई.

आशा वर्करों द्वारा स्कूल में भेजी गई एक्सपायरी डेट की दवाई बच्चों को खिलाने के लिए दी गई थी, लेकिन शिक्षण संस्थान के प्रबंधक कमेटी की समझदारी के कारण बच्चों के स्वास्थ्य से एक बड़ा संकट टल गया. प्रबंधन ने इस बारे में मुख्य चिकित्सा अधिकारी को जांच के लिए पत्र लिखा है.

अनिल विज के स्वास्थ्य विभाग का कारनामा, स्कूलों में भेजी एक्सपायरी डेट की दवाई.

आर्य कन्या सीनियर सेकेंडरी स्कूल के प्रबंधक समिति के सचिव राम कुमार गोयल ने बताया कि उनके स्कूल में एक आशा वर्कर उन्हें 100 गोलियों का एक पैकेट देकर गई. यह पैकेट पेट में कीड़े मारने के लिए 19 वर्ष से छोटे बच्चों को खिलाने के लिए दिया गया था. उन्होंने आशा वर्कर को बताया कि उनके स्कूल में ऐसे 300 बच्चों की संख्या है जो 19 वर्ष से नीचे हैं.

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आशा वर्कर ने कहा कि वह दो पैकेट सौ-सौ गोलियों के और भेज देगी. जब पेट में कीड़े मारने की दवाई एल्बेंडाजोल की एक्सपायरी डेट देखी गई तो इसकी एक्सप्रेस डेट सितंबर 2019 थी. एक्सपायरी डेट की गोलियां देखकर राम कुमार गोयल ने अपनी प्रबंधक कमेटी के साथ मिलकर एक शिकायत उकलाना के बीईओ को भेजी तथा लिखित शिकायत मुख्य चिकित्सा अधिकारी हिसार को भी दी.

उन्होंने कहा कि इस प्रकार की गोलियां अगर बच्चों को खिला दी जाती तो कोई बड़ी अनहोनी हो सकती थी. उन्होंने संबंधित विभाग के लापरवाह अधिकारी एवं कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग भी की है. इस संबंध में उकलाना के खंड शिक्षा अधिकारी कृष्ण कुमार वर्मा ने बताया कि उन्हें एक लिखित शिकायत और दवाई का पैकेट मिला है. जिसको सील कर उच्च अधिकारियों के पास जांच और कार्रवाई के लिए भेज दिया गया है.

मामले पर उकलाना सिविल अस्पताल के मेडिकल ऑफिसर डॉक्टर राजेश का कहना है कि उन्हें फोन पर इस प्रकार की सूचना मिली. जिसकी जांच की जा रही है. अभी वह किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंचे हैं, लेकिन पूरे मामले की जांच करवाई जा रही है. यह एक्सपायरी डेट की दवाई कहां से आई उन्हें नहीं पता, लेकिन इसकी जांच की जाएगी और जो दोषी होंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

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