चंडीगढ़: केन्द्र सरकार की अग्निपथ योजना के तहत थल सेना, नौसेना व वायुसेना में अग्निवीर के रूप में सेवाएं देने वाले युवाओं को हरियाणा सरकार इसकी तैयारियों के लिए कोचिंग का प्रबंध (preparation of Agniveer in Haryana) करेगी. विद्यार्थियों से 11वीं के दाखिले के समय विकल्प लिया जाएगा. शुरुआत में प्रदेश के 200 स्कूलों में 50-50 के बैच में इसकी शुरुआत की जाएगी.
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर (Haryana Chief Minister Manohar Lal Khattar) व वायु सेना ट्रेनिंग कमांड, मुख्यालय बेंगलुरू के एयर ऑफिसर- कमांडिंग- इन चीफ एयर मार्शल मानवेन्द्र सिंह के साथ अग्निवीर भर्ती प्रक्रिया के संबंध में बैठक हुई. इस बैठक में निर्णय लिया गया कि अग्निपथ योजना के तहत अग्निवीर के रूप में सेवाएं देने वाले युवाओं को हरियाणा सरकार इसकी तैयारियों के लिए कोचिंग का प्रबंध करेगी. विद्यार्थियों से 11वीं के दाखिले के समय विकल्प लिया जाएगा. बैठक में यह निर्णय भी लिया गया कि शारीरिक व शैक्षणिक अलग-अलग स्तर पर प्रशिक्षण पाठ्यक्रम होंगे.
शारीरिक प्रशिक्षण के लिए जिला सैनिक बोर्ड तथा इच्छुक भूतपूर्व सैनिक, जो अपनी सेवाकाल के दौरान सेना की ट्रेनिंग संस्थान व भर्ती कार्यालयों में रहे हैं, को वरीयता (Haryana CM Manohar Lal Khattar on Agniveer Coaching) दी जाएगी. शैक्षणिक पाठ्यक्रम के लिए स्कूल के अध्यापकों की सेवाएं ली जाएंगी. शुरुआत में प्रशिक्षण कार्यक्रम सप्ताह के अंत में और बाद में गर्मी की छुट्टियों के दौरान एक महीने चलाया जाएगा.
हरियाणा सरकार की 1.80 लाख वार्षिक आय वाले परिवारों को दी जाने वाली सरकारी योजनाओं के लाभ की तर्ज पर ऐसे परिवारों के बच्चों को भी अग्निवीर कोचिंग की सुविधा निशुल्क होगी. स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा पाठ्यक्रम का प्रारूप तैयार किया जाएगा. औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान व बहु-तकनीकी संस्थानों के विद्यार्थियों के लिए भी कोचिंग सुविधा उपलब्ध होगी.
बैठक में मुख्यमंत्री ने एयर मार्शल मानवेन्द्र सिंह को जानकारी दी कि हाल ही में केन्द्र सरकार ने पूरे देश में 10 नये सैनिक स्कूल खोलने की घोषणा की है. हरियाणा में कुंजपुरा व रेवाड़ी में 2 सैनिक स्कूल पहले से ही संचालित हैं. सीएम ने कहा कि, हमारा प्रयास है कि 10 नये सैनिक स्कूलों में से 1 सैनिक स्कूल हरियाणा को मिले. हमारे पास इस स्कूल के लिए झज्जर जिले के मातनहेल में पहले से ही जमीन उपलब्ध है.
बैठक में एयर मार्शल मानवेन्द्र सिंह ने मुख्यमंत्री को अग्निवीर भर्ती प्रक्रिया के बारे विस्तार से जानकारी (Agniveer Training Coaching in haryana) दी. उन्होंने बताया कि 10वीं पास युवाओं की अग्निवीर सामान्य ड्यूटी तथा 12वीं पास युवाओं की अग्निवीर टेक्निकल के रूप में भर्ती होगी. इस वर्ष आयु सीमा 17 से 23 वर्ष है और अगले वर्ष से अग्निपथ योजना के नियमों अनुसार 17 से 21 वर्ष होगी. अग्निवीर के रूप में सेवा करने उपरांत अग्निवीरों को सेना की ओर से कौशल योग्यता प्रमाण पत्र दिया जाएगा. जिसके आधार पर वह सिविल में भी नौकरी पा सकता है.
थल सेना, नौसेना, वायुसेना सभी की भर्ती प्रक्रिया की शर्तें पूर्व-निर्धारित शर्तों के अनुरूप ही रहेंगी. नौसेना और वायुसेना में 12वीं विज्ञान विषयों के साथ तथा सेना के लिए 10वीं और 12वीं कला विषय के साथ रहेगी. उन्होंने मुख्यमंत्री को इस बात से भी अवगत कराया कि सेना में 42 हजार अग्निवीर, जबकि नौसेना और वायुसेना के लिए 3-3 हजार अग्निवीर भर्ती करने की योजना है. एनसीसी ए, बी व सी प्रमाण पत्र प्राप्त युवाओं को अलग से अंक दिए जाएंगे.
एनसीसी के आरडी परेड वाले कैडेट्स को भी वरीयता मिलेगी. उत्तराखंड में अग्निवीर प्रशिक्षण कोचिंग (Agniveer Training Coaching in Uttarakhand) की योजना तैयार की है. कुछ और राज्य भी इस ओर बढ़ रहे हैं. कोचिंग का मुख्य उद्देश्य क्रैश कोर्स के माध्यम से युवाओं को सैनिक जीवन के बारे में जागरूक करना भी है. कश्मीर के युवाओं को सामुदायिक सद्भावना के तहत सेना में भर्ती होने के लिए प्रेरित करने का कार्यक्रम चलाया जा रहा है. उन्होंने बताया कि हरियाणा में सेना व वायुसेना के बेस हैं वहां से भी कोचिंग कार्यक्रम चलाये जा सकते हैं. कोचिंग के कार्यक्रम प्री-रिक्रूटमेंट्स ट्रेनिंग की तरह होंगे. अग्निवीर कोचिंग लेने के बाद विद्यार्थी आगे सेना में भर्ती होने के लिए मनोवैज्ञानिक रूप से तैयार होंगे.