भिवानी: भारत सरकार की नई शिक्षा नीति को पूर्ण गंभीरता से दृढ़तापूर्वक लागू किया जाएगा. देश को समग्र विकास में अग्रगामी बनाने की दिशा में यह शिक्षा नीति मील का पत्थर साबित होगी. ये उद्गार वीपी यादव ने हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड के वाइस-चेयरमैन का पदभार संभालने के पश्चात व्यक्त किए. इससे पूर्व उन्होंने बोर्ड की लॉबी में स्थापित मां सरस्वती की पूजा अर्चना की.
बोर्ड अध्यक्ष डॉ. जगबीर सिंह ने वीपी यादव को मिष्ठान खिलाकर उनका स्वागत किया. वीपी यादव ने अपनी नियुक्ति के लिए मुख्यमंत्री मनोहर लाल व शिक्षामंत्री कंवरपाल गुर्जर का आभार व्यक्त किया है. उन्होंने कहा कि सरकार ने उन पर जो विश्वास जताया है वह उसे सार्थक सिद्ध करेंगे तथा बोर्ड अध्यक्ष व सचिव के साथ मिलकर बोर्ड को उच्च मुकाम पर ले जाएंगे.
ये भी पढ़े- वजन कम करने के लिए फरीदाबाद की रिया ने शुरु की साइकिलिंग, बन गई चैंपियन
वीपी यादव मूल रूप से जिला महेन्द्रगढ़ के पटीकरा गांव के रहने वाले है, लेकिन लंबे समय से वह रिवाड़ी में रह रहे हैं. उनके पिता प्रताप सिंह सेना में थे इसलिए विभिन्न स्थानों पर उन्होंने अपनी प्रारम्भिक शिक्षा हासिल की.
कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय से स्नातक करने के बाद महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय अजमेर से उन्होंने स्नातकोत्तर की पढ़ाई की. एमडीयू रोहतक से एमएड करने के बाद आइईसी विवि हिमाचल से एलएलबी की.
वर्ष 1998 में उन्होंने रेवाड़ी में यदुवंशी कॉन्वेंट स्कूल की स्थापना की तथा यहीं से अपनी शिक्षण संस्था की पौध को आगे बढ़ाया. वह सनग्लो इंटरनेशनल स्कूल के निदेशक हैं. शिक्षा के क्षेत्र में लगभग ढाई दशक का अनुभव होने के कारण उनकी अपनी विशेष पहचान है.
ये भी पढ़े- चंडीगढ़ में हुई अचानक बारिश से मौसम हुआ सुहावना, तापमान में आई गिरावट
उन्होंने भारत सरकार की नई शिक्षा नीति का गहराई से अध्ययन मनन किया है. उनकी नियुक्ति के पीछे की वजह भी यही मानी जा रही है कि वह लोक प्रशासन व शिक्षा में स्नातकोत्तर होने के साथ वे लॉ ग्रेज्युएट भी है. वे केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से जुड़े संगठन सहोदय के जिला अध्यक्ष भी हैं.
वीपी यादव के स्कूल को जिला प्रशासन की ओर से चार बार बेस्ट स्कूल के अवॉर्ड से भी सम्मानित किया जा चुका है. वे सहोदय के जिला प्रधान होने के साथ ही सीबीएसई के निरीक्षण अधिकारी भी हैं. वर्ष 2010 में बैंकाक में हुई युनेस्को इंटरनेशनल ओरल कांफ्रेंस में उन्होंने देश का प्रतिनिधित्व किया था. विभिन्न संस्थाओं द्वारा उन्हें विशेष सम्मान भी दिया जा चुका है.