महामारी के दौर में काफी लंबे समय तक परिवार के सभी सदस्यों ने एक साथ समय बिताया. यह समय ज्यादातर लोगों के लिए मानसिक दबाव, भविष्य का डर और चिंता का दौर रहा. इन मानसिक समस्याओं ने बड़ी संख्या में लोगों के निजी रिश्तों को भी प्रभावित किया. मनोचिकित्सकों तथा वैवाहिक काउन्सलरों की माने तो इस दौरान तनाव के कारण जोड़ों के बीच सुखद शारीरिक संबंधों का भी अभाव रहा. लेकिन इसके बावजूद महिला रोग विशेषज्ञों तथा प्रजनन चिकित्सकों को माने तो इस अवधि में महिलाओं के गर्भवती होने के आंकड़े में काफी बढ़ोत्तरी हुई. ईटीवी भारत सुखीभवा आपके साथ सांझा कर रहा है विशेष जानकारी की वर्ष 2020 में कोरोना काल में किस तरह के यौन अपराध और समस्याएं लोगों के सामने आई, साथ ही किन मुद्दों ने लोगों का ध्यान अपनी और खींचा.
महामारी के दौरान बढ़ी महिलाओं में यौनिक हिंसा तथा मेरिटल रेप की घटनाएं
राष्ट्रीय महिला आयोग के अनुसार, कोविड-19 के चलते तालाबंदी के दौरान महिला-हिंसा और प्रताड़ना में बढ़ोतरी हुई है, इसी संबंध में मनोचिकित्सकों की माने तो महिला हिंसा की इस घटनाओं में एक बड़ा प्रतिशत यौनिक हिंसा का रहा. मनोचिकित्सकों के अनुसार लॉकडाउन के दौरान परिवार में मेरीटल रेप की घटनाओं में काफी बढ़ोत्तरी हुई है.
बांझपन के इलाज में रुकावटें
ऐसे लोग जो बांझपन जैसी समस्या को झेल रहे थे या किसी भी प्रकार का फर्टिलिटी ट्रीटमेंट ले रहे थे, उनके इलाज में सम्पूर्ण बंदी तथा दवाइयों के समय पर ना मिल पाने के कारण देरी हुई.
पॉर्न साइट तथा सॉफ्ट पॉर्न परोसने वाले ओटीटी प्लेटफार्म पर बढ़े दर्शक
लॉकडाउन के दौरान दफ्तर, स्कूल तथा सिनेमा घर सभी के बंद होने के वजह से मनोरंजन के लिए से इस साल बहुत से लोगों में पॉर्न साइट देखने की लत तथा ओटीटी प्लेटफॉर्म पर प्रसारित होने वाली अपराध और सेक्स से भरी वेब सीरीज को देखने को लेकर रुझान बढ़ा.
यौन संचारित संक्रमण (एसटीआई)
हालांकि सम्पूर्ण लॉकडाउन के दौरान लोगों के एक से ज्यादा लोगों के साथ असुरक्षित सेक्स संबंध बनाने की घटनाओं में कमी आई लेकिन ऐसे लोग जो की पहले से ही यौन संक्रमित रोगों से पीड़ित थे, उनके तथा उनके साथी के लिए यह समय भारी रहा क्योंकि इस दौरानबड़ी संख्या में लोग संसर्ग के दौरान सुरक्षा के लिए अनउपलब्धता के चलते कोंडोम जैसी सुरक्षा का उपयोग नहीं कर पाए. वहीं इस दौरान कई जगह इन रोगों के लिए दवाइयां भी उपलब्ध नहीं हो पाई. जिसके चलते लोगों के यौन स्वास्थ्य पर असर पड़ा.
सैक्सटिंग का बढ़ा चलन
सैक्सटिंग यानि सेल फोन के माध्यम से यौन स्पष्ट तस्वीरें या संदेश भेजना तथा वर्चुअल सेक्स यानि टेक्स्ट संदेशों के माध्यम से ससर्ग जैसी अनुभूति लेना जैसी गतिविशियों को लेकर युवाओं, वयस्कों तथा अधेड़ों में उत्सुकता देखने को मिली.
पुरुषों में प्रचलित यौन समस्याएं
इस साल बड़ी संख्या में महिलाओं तथा पुरुषों ने अपने यौन स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं को लेकर संबंधित चिकित्सकों से सलाह मशविरा किया. इन समस्याओं में से कुछ इस प्रकार हैं -
स्तंभन दोष यानि नपुंसकता
नपुंसकता स्थिति तब होती है जब आदमी अपने लिंग में तनाव नहीं ला पाता हैं, जिससे उनके शारीरिक संबंध प्रभावित होते है. यहां तक की उसमें बांझपन जैसी समस्याएं भी आ सकती है. आमतौर पर पुरुष अपने पूरे जीवन में कभी न कभी इस समस्या का अनुभव करते हैं. नपुंसकता शारीरिक और मनोवैज्ञानिक दोनों कारणों से हो सकती है.
- शीघ्रपतन
संसर्ग के दौरान चरम अनुभूति से पहले ही यदि व्यक्ति वीर्य त्याग देता है तो उसे शीघ्र पतन कहते हैं. इस समस्या के कई कारण हो सकते है जैसे बेहतर यौन प्रदर्शन ना कर पाने का तनाव, जीवन से जुड़े तनाव, रिश्ते में अनसुलझे मुद्दे या अवसाद.
- कामेच्छा में कमी
महिला हो या पुरुष दोनों में से किसी को भी यह समस्या हो सकता है. सेक्स ड्राइव या कामेच्छा में कमी आना आम है और यह समस्या कई कारणों से हो सकती है. जैसे रिश्तों से जुड़े मुद्दे, तनाव, चिंता और दवा के दुष्प्रभाव शामिल हैं-
महिलाओं में प्रचलित यौन समस्याएं
- यूटीआई यानि यूरिनरी ट्रैक इन्फेक्शन
महिलाओं में यह समस्या आमतौर पर देखने को मिलती है. योनि तथा मूत्र मार्ग में होने वाले इस बैक्टीरियल संक्रमण के कारण महिलाओं को पेशाब के दौरान जलन, और तेज बुखार जैसी समस्याएं तो होती ही है, साथ ही सहवास के दौरान भी तकलीफ होती है.
- शारीरिक संसर्ग के लिए इच्छा में कमी
कई बार विभिन्न कारणों से ऐसी परीस्तिथियां उत्पन्न हो जाती है की महिलाओं में शारीरिक संबंधों के लिए इच्छा कम या खतम होने लगती है. कामेच्छा में कमी होने के बहुत से शारीरिक या मनोवैज्ञानिक कारण हो सकते हैं, जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं - ।
- आपसी संबंधों में परेशानियां
- अवसाद
- कोई पहला मानसिक या शारीरिक आघात या ट्रॉमा (trauma)
- थकान
- हॉर्मोन्स का असंतुलन
- अत्यधिक शराब और ड्रग्स का सेवन करना
- कुछ खास दवाएं
- प्राकृतिक टेस्टोस्टेरोन के स्तर में गिरावट
चरम सुख यानि ओर्गास्म प्राप्त करने में समस्याएं
इस समस्या को दो प्रकार से देखा जा सकता है पहला जब किसी स्त्री को कभी भी चरम सुख प्राप्त न हुआ हो, और दूसरा जब किसी स्त्री को पहले पहले चरम सुख प्राप्त होता था, पर अब नहीं होता. इस समस्या के कई कारण हो सकते हैं जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं यौन क्रिया के बारे में जानकारी नहीं होना या फिर इससे डरना
- आपसी रिश्तों में हिचक का न खुलना
- उत्तेजना में कमी
- संबंधों में परेशानी
- अवसाद और तनाव
- कोई पहला दर्दनाक यौन अनुभव
- क्लाइटोरिस में संबंधी समस्या
यौन क्रिया के दौरान दर्द होना
यौन क्रिया यानि संसर्ग के दौरान दर्द होने के कई कारण हो सकते है, लेकिन आमतौर पर इस समस्या का मुख्य कारण वैजिनिज्मस हो सकता है. वैजिनिज्मस में योनि के अंदर और चारों तरफ की मांस-पेशियां ऐंठने लगती हैं और यौन संबंध स्थापित करना दर्दनाक या असम्भव हो जाता है. इसके अलावा योनि प्रसव या दुर्घटना में किसी प्रकार की चोट लगने पर भी संसर्ग के दौरान दर्द महसूस हो सकता है.
रजोनिवृत्ति के बाद यौन संबंध
रजोनिवृत्ति के बाद यौन क्रिया में दर्द होना आम है क्योंकि इस अवस्थअ में शरीर में एस्ट्रोजन हार्मोन का स्तर कम हो जाता है जिससे योने की त्वचा सुखी तथा खुश्क हो जाती है.