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सूर्यग्रहण के कारण दिल्ली के कई मंदिरों पर ताला - ग्रहण संबंधी नियम

सूर्यग्रहण के कारण दिल्ली के तमाम मंदिर बन्द कर दिए हैं. सूर्यग्रहण के वजह से दीवाली के अगले दिन मनाया जाने वाला गोवर्धन पूजा भी नहीं मनाया जा रहा है.

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Published : Oct 25, 2022, 5:12 PM IST

नई दिल्ली: इस बार दिवाली के अगले दिन यानी 25 अक्टूबर को सूर्य ग्रहण है. इस वजह से हर साल दिवाली के अगले दिन होने वाली गोवर्धन पूजा भी नहीं हुई. अब ये कल यानी 26 अक्टूबर को होगी, लेकिन इस बीच मंदिर के कपाट बंद कर दिए गए. बावजूद इसके कुछ भक्त मंदिर आते दिखे, जो इसे लॉकडाउन जैसे हालात बता रहें, क्योंकि उन दिनों मंदिर पर यूं ही ताला लगा था. (temples locked due to solar eclipse)

वेस्ट दिल्ली के नारायणा, दिल्ली कैंट और राजौरी गार्डन इलाके में मन्दिर के मुख्य गेट पर ताला लगा हैं. भक्त देवी-देवताओं का दूर से ही आशीर्वाद लेते नजर आए. सूर्ग्रग्रहण का सूतक सूर्य ग्रहण के आरंभ होने से 12 घंटे पहले आरंभ हो जाता है.

ग्रहण का सूतक तो 24 अक्टूबर यानी दीवाली की रात 2 बजकर 29 मिनट से शुरू हो गया है. भक्तों का कहना है कि सदियों पुरानी परंपरा चली आ रही है और हमसब इसका पालन कर रहे हैं.

सूर्यग्रहण के कारण दिल्ली के कई मंदिरों पर ताला

इसे भी पढ़ें: Solar Eclipse 2022: साल का आखिरी सूर्य ग्रहण जारी, मंदिरों के द्वार बंद

सूर्ग्रग्रहण का सूतक सूर्य ग्रहण के आरंभ होने से 12 घंटे पहले आरंभ हो जाता है. मंदिर के पुजारी का कहना है कि इस दौरान भगवान का जप करना बहुत ही शुभ होता है. दिवाली की रात सूतक लग जाने के बाद से मंदिर के दरवाजे बंद हो गए हैं और ग्रहण संबंधी नियमों का पालन, देवी-देवताओं का स्पर्श 24 अक्टूबर की रात से अगले दिन शाम तक नहीं किया जाएगा.

इससे सम्बंधित निर्देश भी मंदिर में लगा दिया गया है. वहीं मन्दिर में भक्त अपने देव देवताओं का आर्शीवाद लेना नहीं भूले, वो मंदिर आकर दूर से ही आशीर्वाद ले रहे हैं.

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नई दिल्ली: इस बार दिवाली के अगले दिन यानी 25 अक्टूबर को सूर्य ग्रहण है. इस वजह से हर साल दिवाली के अगले दिन होने वाली गोवर्धन पूजा भी नहीं हुई. अब ये कल यानी 26 अक्टूबर को होगी, लेकिन इस बीच मंदिर के कपाट बंद कर दिए गए. बावजूद इसके कुछ भक्त मंदिर आते दिखे, जो इसे लॉकडाउन जैसे हालात बता रहें, क्योंकि उन दिनों मंदिर पर यूं ही ताला लगा था. (temples locked due to solar eclipse)

वेस्ट दिल्ली के नारायणा, दिल्ली कैंट और राजौरी गार्डन इलाके में मन्दिर के मुख्य गेट पर ताला लगा हैं. भक्त देवी-देवताओं का दूर से ही आशीर्वाद लेते नजर आए. सूर्ग्रग्रहण का सूतक सूर्य ग्रहण के आरंभ होने से 12 घंटे पहले आरंभ हो जाता है.

ग्रहण का सूतक तो 24 अक्टूबर यानी दीवाली की रात 2 बजकर 29 मिनट से शुरू हो गया है. भक्तों का कहना है कि सदियों पुरानी परंपरा चली आ रही है और हमसब इसका पालन कर रहे हैं.

सूर्यग्रहण के कारण दिल्ली के कई मंदिरों पर ताला

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सूर्ग्रग्रहण का सूतक सूर्य ग्रहण के आरंभ होने से 12 घंटे पहले आरंभ हो जाता है. मंदिर के पुजारी का कहना है कि इस दौरान भगवान का जप करना बहुत ही शुभ होता है. दिवाली की रात सूतक लग जाने के बाद से मंदिर के दरवाजे बंद हो गए हैं और ग्रहण संबंधी नियमों का पालन, देवी-देवताओं का स्पर्श 24 अक्टूबर की रात से अगले दिन शाम तक नहीं किया जाएगा.

इससे सम्बंधित निर्देश भी मंदिर में लगा दिया गया है. वहीं मन्दिर में भक्त अपने देव देवताओं का आर्शीवाद लेना नहीं भूले, वो मंदिर आकर दूर से ही आशीर्वाद ले रहे हैं.

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