नई दिल्ली:रेप के मामले के आरोपी दाती महाराज को ट्रायल कोर्ट से मिली अग्रिम जमानत के खिलाफ सीबीआई ने याचिका दायर की. हाईकोर्ट ने दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए सीबीआई से पूछा कि आखिर आप दाती महाराज की अग्रिम जमानत को रद्द क्यों करवाना चाहते हैं. CBI जांच का आदेश अक्टूबर 2018 में ही दे दिया गया था , तब उसके बाद से अब तक आपने दाती महाराज को हिरासत में लेने के लिए क्या कदम उठाया है.
'हिरासत में पूछताछ क्यों ज़रूरी'
सुनवाई के दौरान जस्टिस चंद्रशेखर ने सीबीआई से पूछा कि दाती महाराज की हिरासत में लेकर पूछताछ क्यों जरूरी है. अपराध राजस्थान में घटित हुआ, दिल्ली पुलिस ने एफआईआर दर्ज किया. सीबीआई को जांच सौंप दी गई. CBI को केस में दो चीजों पर अपनी राय बनानी है. गवाहों का पुनर्परीक्षण करना है ताकि ये पता चल सके कि उनसे पूछताछ सही ढंग से हुई है कि और दूसरा कि वे जांच एजेंसी को सहयोग कर रहे हैं कि नहीं.
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26 फरवरी को होगी सुनवाई
सीबीआई ने कहा कि वे अभियुक्त को गिरफ्तारी से मिली सुरक्षा को चुनौती दे रहे हैं क्योंकि वो जांच में सहयोग नहीं कर रहा है. दाती महाराज की हिरासत में पूछताछ का प्रस्ताव डायरेक्टर के पास लंबित है. कोर्ट ने कहा कि प्रस्ताव समेत सभी दस्तावेज अगली सुनवाई को कोर्ट में पेश करें। मामले की अगली सुनवाई 26 फरवरी को होगी.
साकेत कोर्ट ने दी थी अग्रिम ज़मानत
आपको बता दें कि पिछले 22 जनवरी को दिल्ली की साकेत कोर्ट ने शर्तों के साथ दाती महाराज अग्रिम जमानत दी थी. कोर्ट ने कहा था कि दाती महाराज बिना कोर्ट की इजाजत के दिल्ली के बाहर नहीं जा सकेंगे और जांच में सहयोग करेंगे. साकेत कोर्ट ने कहा था कि वे किसी भी तरह जांच को प्रभावित नहीं करेंगे औऱ सबूतों के साथ छेड़छाड़ नहीं करेंगे. कोर्ट ने निर्देश दिया था कि दाती महाराज पीड़ित और उसके परिवार से संपर्क नहीं करेंगे.
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SC ने ख़ारिज की याचिका
दाती महाराज ने हाईकोर्ट के 14 नवंबर 2018 के सीबीआई जांच के आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। लेकिन हाईकोर्ट ने याचिका खारिज कर दी थी। सीबीआई को जांच सौंपने के हाईकोर्ट के इस आदेश के खिलाफ दाती महाराज सुप्रीम कोर्ट भी गया था। लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने उसकी याचिका खारिज करते हुए हाईकोर्ट जाने को कहा था।