नई दिल्ली: हथिनी कुंड बैराज से आठ लाख क्यूसेक पानी छोड़ने के बाद दिल्ली की यमुना नदी पूरे उफान पर है. दिल्ली के निचले इलाके के खेतों में काफी पानी भर चुका है.
बुराड़ी इलाके के लोगों का कहना है कि इस समय यमुना में करीब 80 से 100 फीट पानी है. जिसकी वजह से यमुना का जलस्तर काफी बढ़ गया है. बाढ़ की वजह से खेतों में खड़ी फसल खराब होने की कगार पर है.
लोगों का सामान झोपड़ियों में फंसा
ईटीवी भारत की टीम यमुना के बीच ग्राउंड जीरो पर पहुंची और खेतों में काम करने वाले किसानों और मजदूरों से बात की. मजदूरों ने बताया कि उनका सामान अभी भी झोपड़ियों में फंसा हुआ है.
लोगों ने आनन-फानन में अपना सामान छोड़ा
प्रशासन ने एहतियात बरतते हुए किसानों और मजदूरों को खेतों से बाहर निकाल दिया है. यमुना का जलस्तर बढ़ता देख लोग आनन-फानन में अपना सामान छोड़कर जान बचाने के लिए अपने मवेशियों को लेकर बाहर आ गए. जिसकी वजह से सभी का सामान अभी पानी में फंसा हुआ है. इसलिए लोग काफी परेशान है.
'सरकार ने किसानों के लिए कोई व्यवस्था नहीं की'
स्थानीय लोगों का आरोप है कि सरकार ने किसान और मजदूरों के रहने की कोई व्यवस्था नहीं की है. साथ ही उन्होंने बताया कि सरकार ने उनसे वादा तो किया लेकिन अभी तक के इंतजाम नाकाफी हैं.
मदद के लिए सामने आए आस-पास के लोग
खुद स्थानीय लोग ही यमुना किनारे रहने वाले लोगों के लिए व्यवस्थाएं कर रहे हैं. अपने घर से खाने का सामान पीड़ितों को दे रहे है. ताकि इनका गुजारा आराम से हो सके.
बुराड़ी इलाके में खेतों में पानी भरने से खड़ी फसलें खराब हो गई है. अब लोगों को इंतजार है कि सरकार इनकी फसलें खराब होने के बाद उचित मुआवजा दे.