नई दिल्लीः केंद्रीय पंचायती राज मंत्री गिरिराज सिंह (Union Minister Giriraj Singh) ने कहा कि आज देश में जनसंख्या नियंत्रण विधेयक को लागू करने की आवश्यकता है, क्योंकि हमारे पास सीमित संसाधन हैं. भारत में एक मिनट में 30 बच्चे पैदा हो रहे हैं. सभी के लिए संसाधन मुहैया कराना मुश्किल हो जाएगा. ऐसे में यह विधेयक अधिक महत्वपूर्ण हो जाता है.
उन्होंने कहा कि इस कानून को अगर कोई फॉलो नहीं करेगा तो उसे सरकारी सुविधाओं से वंचित किया जाना चाहिए. उनके वोटिंग राइट्स (मताधिकार) छीन लेनी चाहिए. उन्होंने कहा कि ऐसे कानून लोगों की आस्था और धर्म की परवाह किए बिना सभी के लिए लागू किया जाना चाहिए. बता दें, जंतर-मंतर पर जनसंख्या समाधान फाउंडेशन द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह भी पहुंचे थे, जहां उन्होंने यह बातें कही.
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अगर देश के अंदर जनसंख्या नियंत्रित कानून नहीं बना तो देश में न सामाजिक समरसता और एकता बचेगी... न विकास हो पाएगा। 1978 के पहले चीन की GDP भारत की GDP से कम थी लेकिन आज चीन हमसे ज्यादा समृद्ध है क्योंकि 1979 में चीन 'वन चाइल्ड पॉलिसी' लाया: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, दिल्ली pic.twitter.com/WXMlHZxrUj
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">अगर देश के अंदर जनसंख्या नियंत्रित कानून नहीं बना तो देश में न सामाजिक समरसता और एकता बचेगी... न विकास हो पाएगा। 1978 के पहले चीन की GDP भारत की GDP से कम थी लेकिन आज चीन हमसे ज्यादा समृद्ध है क्योंकि 1979 में चीन 'वन चाइल्ड पॉलिसी' लाया: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, दिल्ली pic.twitter.com/WXMlHZxrUj
— ANI_HindiNews (@AHindinews) November 27, 2022अगर देश के अंदर जनसंख्या नियंत्रित कानून नहीं बना तो देश में न सामाजिक समरसता और एकता बचेगी... न विकास हो पाएगा। 1978 के पहले चीन की GDP भारत की GDP से कम थी लेकिन आज चीन हमसे ज्यादा समृद्ध है क्योंकि 1979 में चीन 'वन चाइल्ड पॉलिसी' लाया: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, दिल्ली pic.twitter.com/WXMlHZxrUj
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उन्होंने कहा कि अगर देश के अंदर जनसंख्या नियंत्रित कानून नहीं बना तो देश में न सामाजिक समरसता और एकता बचेगी... न विकास हो पाएगा. 1978 के पहले चीन की GDP भारत की GDP से कम थी, लेकिन आज चीन हमसे ज्यादा समृद्ध है क्योंकि 1979 में चीन 'वन चाइल्ड पॉलिसी' लाया. उन्होंने कहा कि चीन में प्रति मिनट दस बच्चे पैदा होते हैं और भारत में प्रति मिनट तीस बच्चे पैदा होते हैं. हम चीन का कैसे मुकाबला करेंगे?
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संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत जनसंख्या के मामले में अगले साल चीन को पछाड़ देगा. वहीं, वर्ल्ड पॉपुलेशन प्रॉस्पेक्ट्स 2022 में कहा गया है कि भारत के प्रजनन दर में कमी दर्ज की गई है. 1950 में यह 5.9 बच्चे प्रति महिला थी वहीं, 2022 में यह 2.2 बच्चे प्रति महिला रह गई है.
स्वास्थ्य राज्य मंत्री भारती प्रवीण पवार ने 19 जुलाई को राज्यसभा में कहा था कि सरकार 2045 तक जनसंख्या को नियंत्रित करना चाहती है और अभी तक जो प्रयास किए गए हैं, उसमें काफी हद तक सफलता मिली है.
कार्यक्रम में पहुंचे आरएसएस के वरिष्ठ नेता इंद्रेश कुमार ने कहा कि आज पूरे विश्व की जनसंख्या तेजी से बढ़ रही है और 800 करोड़ के आंकड़े को पार कर चुकी है. जो लगभग 150 से 200 करोड़ का सरप्लस है. भारत की बात करें तो पूरे विश्वभर की केवल 4% जमीन भारत के पास है. जबकि जनसंख्या 17% है. भारत का वर्तमान समय में अपनी जनसंख्या घनत्व को देखते हुए दोगुनी जमीन की आवश्यकता है, जो हो नहीं सकता है. ऐसे में भारत को अपनी जनसंख्या वर्तमान परिस्थितियों को देखते हुए कंट्रोल करने की आवश्यकता है.
(इनपुट- एएनआई)