नई दिल्ली: दिल्ली सर्विस बिल आज मंगलवार को लोकसभा में पेश किया गया है. इस बिल को लेकर आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने स्पष्ट किया कि केंद्र सरकार लोकसभा में भले ही इस बिल को पास करा लें, लेकिन राज्यसभा में हमारे पास इतना संख्या बल है कि वहां इसको गिरा देंगे.
संजय सिंह का कहना है कि यह बिल सर्वोच्च न्यायालय के फैसले, संविधान और देश के संघीय ढांचे के खिलाफ है. यह बिल असंवैधानिक है, क्योंकि इस बिल के माध्यम से दिल्ली के निर्वाचित मुख्यमंत्री के अधिकार छीने जा रहे हैं.
राज्यसभा सांसद का कहना है कि अभी अविश्वास प्रस्ताव संसद में लंबित है. इसके बावजूद इस तरह का अविश्वास प्रस्ताव दुर्भाग्यपूर्ण है. ऐसा पहले कभी नहीं हुआ. उन्होंने कहा है कि यह बीजेपी की एक और केजरीवाल फोबिया बिल है. भाजपा पीठ में छुरा मारती है. भाजपा ने बिल लाने के पहले मुझे सस्पेंड कर दिया. उन्होंने कहा कि बच्चे हारने से पहले स्टंप लेकर भाग जाते हैं. मोदी की हिम्मत है तो सामने से आकर वार करें.
राघव चड्डा ने भी केंद्र पर साधा निशाना: राघव चड्डा ने इस बिल को लेकर कहा कि दिल्ली में लोकतंत्र बदलने वाला है. ये खतरनाक बिल कहता है कि मंत्रिमंडल के किसी भी फैसले को अफसरशाही मानने से मना कर सकती है. मंत्रिमंडल के किसी भी फैसले का ऑडिट कर सकती है. दिल्ली जल बोर्ड और कमीशन की चेयरमैनशिप उपराज्यपाल तय करेंगे. और यह सब क्यों? क्योंकि दिल्ली की जनता बीजेपी को लगातार हराते हुए आई है. बीजेपी ने सोचा ना रहेगा बांस, ना बजेगी बांसुरी. ताकत ही छीन लो, काम ठप हो जाएगा.