नई दिल्ली: सफदरजंग अस्पताल (Safdarjung Hospital) में पिछले एक हफ्ते से काली पट्टी बांधकर विरोध (black ribbon movement) जता रहे नर्सिंग स्टाफ (nursing staff) ने अपना विरोध खत्म कर दिया है. नर्स यूनियन की ओर से जानकारी दी गई है कि अस्पताल प्रशासन ने नर्सों का अनुबंध खत्म कर निजी एजेंसी के जरिए नर्सों की भर्ती के फैसले को वापस ले लिया है. जिसके बाद हम अपना विरोध खत्म कर रहे हैं.
सफदरजंग अस्पताल में सभी नर्सेज में काम कर रही हैं. नर्सों का अनुबंध खत्म किए जाने और निजी एजेंसी के जरिए नर्सों की भर्ती किए जाने के फैसले के विरोध में 4 जून से अपना विरोध शुरू किया था. इस दौरान सभी नर्स काली पट्टी बांधकर अपना विरोध जता रही थी.
नर्स यूनियन के अध्यक्ष प्रेम रोज ने बताया अस्पताल में काम कर रही नर्सों का प्रशासन के जरिए अनुबंध खत्म किया जा रहा था और खाली पड़े नर्स के पदों पर निजी एजेंसी द्वारा भर्ती कराई जा रही थी. इसके चलते अस्पताल में काम कर रही सभी नर्स बेरोजगार होने की कगार पर थी. उनके भविष्य पर बड़ा खतरा मंडरा रहा था. जिसको लेकर हम अपना विरोध जता रहे थे, जिसको आखिरकार वापस ले लिया गया है.
ये भी पढ़ें:-Safdarjung Hospital: नर्सिंग स्टाफ ने काली पट्टी बांधकर जताया आउटसोर्सिंग भर्ती का विरोध
दिल्ली नर्से यूनियन(Delhi nurses union) और सफदरजंग नर्सेज यूनियन(Safdarjung Nurses Union) की ओर से अस्पताल के मेडिकल सुपरिटेंडेंट को पत्र लिखकर आभार व्यक्त किया. उन्होंने बताया कि इस फैसले को वापस लिए जाने से सभी नर्स बेहद खुश हैं.
साथ ही जानकारी दी कि 7 जून को डॉ. सुनील कुमार की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह फैसला लिया गया और नर्स के खिलाफ फैसले को वापस ले लिया गया. इसके साथ ही अब उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से सफदरजंग अस्पताल में नर्सों की भर्ती के लिए नियमित प्रक्रिया शुरू की जाएगी.