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मेंटल हेल्थकेयर एक्ट को लेकर आज होगी दिल्ली हाईकोर्ट में सुनवाई - मेंटल हेल्थकेयर एक्ट दिल्ली हाईकोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट आज मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को लागू करने के कोर्ट के आदेश का पालन नहीं करने के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करेगा.

delhi high court
दिल्ली हाईकोर्ट
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Published : Feb 5, 2021, 9:26 AM IST

Updated : Feb 17, 2021, 12:51 PM IST

नई दिल्लीः दिल्ली हाईकोर्ट आज मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को लागू करने के कोर्ट के आदेश का पालन नहीं करने के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करेगा. पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने केंद्र सरकार, सेंट्रल मेंटल हेल्थ अथॉरिटी, दिल्ली सरकार और दिल्ली स्टेट मेंटल हेल्थ अथॉरिटी को नोटिस जारी किया था. चीफ जस्टिस डीएन पटेल की अध्यक्षता वाली बेंच सुनवाई करेगी.

'कोर्ट के आदेशों का पालन नहीं किया गया'

याचिका वकील गौरव बंसल ने दायर किया है. याचिका में कहा गया है कि हाईकोर्ट ने उनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए 12 अक्टूबर 2020 को निर्देश दिया था कि मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को लागू करें. हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद इन प्रावधानों को नोटिफाई नहीं किया गया है. सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार की ओर से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल चेतन शर्मा ने कहा था कि केंद्र जल्द ही मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को नोटिफाई करेगी.

मेंटल हेल्थकेयर एक्ट का प्रावधान लागू करने की मांग

याचिका में मेंटल हेल्थकेयर एक्ट की धारा 65(6) को लागू करने का दिशानिर्देश जारी करने की मांग की गई है. मेंटल हेल्थकेयर एक्ट की धारा 65(6) के मुताबिक मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट को अलग-अलग वर्गों के लिए न्यूनतम मानक अधिसूचित करना चाहिए. याचिका में कहा गया है कि ये एक्ट 2017 में लागू किया गया और कहा गया कि 18 महीने के अंदर अलग-अलग वर्गों के लिए न्यूनतम मानक अधिसूचित किए जाएं, लेकिन अभी तक अधिसूचित नहीं किए गए.

'मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट में रिहायशी इलाका नहीं गिना जाएगा'

याचिका में कहा गया है कि मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट का मतलब है कि कोई भी हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट चाहे वह आयुर्वेदिक, योगा और होम्योपैथी से ही जुड़ा हुआ क्यों न हो. अगर वह पूर्ण या आंशिक रूप से मानसिक बीमारियों का इलाज करता है, तो वह मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट कहा जाएगा. लेकिन मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट में रिहायशी इलाका नहीं गिना जाएगा. याचिका में कहा गया है कि मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट मानसिक रूप से बीमार लोगों का ठीक से इलाज नहीं कर रहे हैं.

नई दिल्लीः दिल्ली हाईकोर्ट आज मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को लागू करने के कोर्ट के आदेश का पालन नहीं करने के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करेगा. पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने केंद्र सरकार, सेंट्रल मेंटल हेल्थ अथॉरिटी, दिल्ली सरकार और दिल्ली स्टेट मेंटल हेल्थ अथॉरिटी को नोटिस जारी किया था. चीफ जस्टिस डीएन पटेल की अध्यक्षता वाली बेंच सुनवाई करेगी.

'कोर्ट के आदेशों का पालन नहीं किया गया'

याचिका वकील गौरव बंसल ने दायर किया है. याचिका में कहा गया है कि हाईकोर्ट ने उनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए 12 अक्टूबर 2020 को निर्देश दिया था कि मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को लागू करें. हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद इन प्रावधानों को नोटिफाई नहीं किया गया है. सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार की ओर से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल चेतन शर्मा ने कहा था कि केंद्र जल्द ही मेंटल हेल्थकेयर एक्ट के प्रावधानों को नोटिफाई करेगी.

मेंटल हेल्थकेयर एक्ट का प्रावधान लागू करने की मांग

याचिका में मेंटल हेल्थकेयर एक्ट की धारा 65(6) को लागू करने का दिशानिर्देश जारी करने की मांग की गई है. मेंटल हेल्थकेयर एक्ट की धारा 65(6) के मुताबिक मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट को अलग-अलग वर्गों के लिए न्यूनतम मानक अधिसूचित करना चाहिए. याचिका में कहा गया है कि ये एक्ट 2017 में लागू किया गया और कहा गया कि 18 महीने के अंदर अलग-अलग वर्गों के लिए न्यूनतम मानक अधिसूचित किए जाएं, लेकिन अभी तक अधिसूचित नहीं किए गए.

'मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट में रिहायशी इलाका नहीं गिना जाएगा'

याचिका में कहा गया है कि मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट का मतलब है कि कोई भी हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट चाहे वह आयुर्वेदिक, योगा और होम्योपैथी से ही जुड़ा हुआ क्यों न हो. अगर वह पूर्ण या आंशिक रूप से मानसिक बीमारियों का इलाज करता है, तो वह मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट कहा जाएगा. लेकिन मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट में रिहायशी इलाका नहीं गिना जाएगा. याचिका में कहा गया है कि मेंटल हेल्थ इस्टेब्लिश्मेंट मानसिक रूप से बीमार लोगों का ठीक से इलाज नहीं कर रहे हैं.

Last Updated : Feb 17, 2021, 12:51 PM IST
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