नई दिल्लीः ऑल इंडिया इंस्टिट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (एम्स) ने अपने डॉक्टर और हेल्थ केयर वर्कर्स की छुट्टी से संबंधित एक संशोधित सूचना जारी की है, जिसके अंतर्गत यदि कोई भी डॉक्टर नर्स या स्टाफ कोरोना संक्रमित होता है, तो उसे महज 10 दिन की छुट्टी दी जाएगी और 11 वां दिन उसे ड्यूटी पर वापस आना होगा. पहले यह नियम 17 दिन का था.
बता दें कि अस्पताल में हेल्थ वर्कर्स की कमी को देखते हुए एम्स प्रशासन की ओर से यह फैसला लिया गया है. वहीं जहां पहले किसी भी डॉक्टर या स्टाफ के संक्रमित होने पर उसे ठीक होने के लिए होम आइसोलेशन समेत 17 दिन की छुट्टी दी जाती थी और पूरी तरीके से ठीक होने के बाद ही उसे ड्यूटी पर वापस बुलाया जाता था. लेकिन लगातार अस्पताल में बढ़ रही मरीजों की संख्या और हेल्थ केयर वर्कर की कमी को देखते हुए प्रशासन ने इस नियम में संशोधन किया है. संक्रमित होने पर केवल 10 दिन की छुट्टी दिए जाने का आदेश जारी किया है.
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एम्स के डायरेक्टर रणदीप गुलेरिया की अध्यक्षता में हुई बैठक के मुताबिक जिन स्वास्थ्य कर्मियों को कोरोना के लक्षण नहीं है, या वह सीधे तौर पर संक्रमित के संपर्क में नहीं आए हैं तो उन स्वास्थ्य कर्मियों की ट्रेसिंग को बंद किया जाना चाहिए. केवल लक्षण वाले स्वास्थ्य कर्मियों का ही टेस्ट किया जाना चाहिए और उनके लिए ही होम आइसोलेशन दिया जाना चाहिए. प्रशासन के मुताबिक यदि किसी स्टाफ में खांसी, जुकाम, सांस लेने में तकलीफ जैसे लक्षण नहीं है और यदि 10 दिन बाद उनकी रिपोर्ट नेगेटिव आती है, तो वह काम पर लौट सकते हैं.