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Ganesh Chaturthi 2023: 19 सितंबर को मनाई जाएगी गणेश चतुर्थी, जानिए भगवान गणेश की मूर्ति स्थापना का शुभ मुहूर्त

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Sep 13, 2023, 5:31 AM IST

गणेश चतुर्थी को लेकर देशभर में तैयारियां शुरू हो गई हैं. आगामी 19 सितंबर को गणेश चतुर्थी मनाई जाएगी, जिसके बाद लोग भगवान गणेश की प्रतिमा स्थापना कर उनका पूजन अर्चन करेंगे. इस दिन कई योग के साथ राहुकाल भी रहेगा. आइए जानते वह शुभ समय, जिसमें भगवान गणेश की मूर्ति की स्थापना कर उत्तम फल प्राप्त किया जा सकता है.

Ganesh Chaturthi 2023
Ganesh Chaturthi 2023

नई दिल्ली: गणेशोत्सव को पूरे भारत में काफी उत्साह के साथ मनाया जाता है. इसकी शुरुआत गणेश चतुर्थी के साथ होती है, जिसके बाद लोग भगवान गणेश की मूर्ति को घर में स्थापित कर 2, 3, 5, 7, 9 या अधिकतम 10 दिन तक उनका पूजन अर्चन करके उन्हें प्रसन्न करने का प्रयास करते हैं. इस त्योहार को कई जगह 'गणपति' के नाम से भी जाना जाता है.

ज्योतिषाचार्य शिव कुमार शर्मा ने बताया कि इस बार गणेशोत्सव 19 सितंबर से शुरू होगा, जो 28 सितंबर अनंत चतुर्दशी तक चलेगा. इस दौरान लोग भगवान गणेश को भोग लगाते हैं और उनका पूजन-कीर्तन आदि करते हैं. भगवान गणेश को शुभता औप बुद्धि का देवता माना जाता है, जिनका पूजन करने से भक्त के सुख और आय में वृद्धि होती है और घर में क्लेश आदि नकारात्मकता खत्म हो जाती है.

ऐसे लें संकल्प: भगवान गणेश की प्रतिमा को शुभ मुहूर्त में घर लाएं और स्नान कर संकल्प लें की मैं 2, 3, 5, 7, 9 या 10 दिन के लिए भगवान गणेश की स्थापना करूंगा. उन्होंने बताया कि शुक्ल पक्ष की चतुर्थी 19 सितंबर को स्वाति नक्षत्र 13:47 बजे तक है. मंगलवार को स्वाति नक्षत्र होने से केतु योग बनता है, जो कीर्ति योग बनता है. हालांकि चतुर्थी तिथि 18 सितंबर को 12:07 बजे से लगेगी, लेकिन उदयकाल तिथि में 19 सितंबर को गणेश चतुर्थी मनाई जाएगी.

स्थापना का शुभ मुहूर्त: 19 सितंबर को प्रात: काल सूर्योदय से लेकर के दोपहर 12:53 बजे तक कन्या, तुला, वृश्चिक लग्न में भगवान गणेश की स्थापना करने का योग है. इस बीच मध्याह्न 11:36 से 12:24 बजे तक अभिजीत मुहूर्त में मूर्ति की स्थापना बहुत ही शुभ है. इसके बाद दोपहर 13:45 बजे से 15:00 बजे तक भी शुभ मुहूर्त रहेगा.

रहेगा राहुकाल: वहीं, दोपहर तीन बजे से शाम साढ़े चार बजे तक राहुकाल रहेगा. इस दौरान भगवान गणेश की मूर्ति की स्थापना न करें. हालांकि शाम साढ़े चार बजे के बाद मूर्ति स्थापना कर सकते हैं. वहीं दोपहर 13:47 बजे से विशाखा नक्षत्र लग जाएगा और मंगलवार को विशाखा नक्षत्र होने से श्रीवत्स योग बनता है, जिसे बहुत शुभ माना जाता है. इसके बाद जितने दिन के लिए आप स्थापना का संकल्प लेते हैं, उतने दिन के बाद भगवान गणेश की प्रतिमा को विसर्जित कर दें.

यह भी पढ़ें-Festivals in September 2023: इस दिन भाद्रपद पूर्णिमा, अजा एकादशी और अमावस्या, जानें माह के व्रत-त्योहार

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नई दिल्ली: गणेशोत्सव को पूरे भारत में काफी उत्साह के साथ मनाया जाता है. इसकी शुरुआत गणेश चतुर्थी के साथ होती है, जिसके बाद लोग भगवान गणेश की मूर्ति को घर में स्थापित कर 2, 3, 5, 7, 9 या अधिकतम 10 दिन तक उनका पूजन अर्चन करके उन्हें प्रसन्न करने का प्रयास करते हैं. इस त्योहार को कई जगह 'गणपति' के नाम से भी जाना जाता है.

ज्योतिषाचार्य शिव कुमार शर्मा ने बताया कि इस बार गणेशोत्सव 19 सितंबर से शुरू होगा, जो 28 सितंबर अनंत चतुर्दशी तक चलेगा. इस दौरान लोग भगवान गणेश को भोग लगाते हैं और उनका पूजन-कीर्तन आदि करते हैं. भगवान गणेश को शुभता औप बुद्धि का देवता माना जाता है, जिनका पूजन करने से भक्त के सुख और आय में वृद्धि होती है और घर में क्लेश आदि नकारात्मकता खत्म हो जाती है.

ऐसे लें संकल्प: भगवान गणेश की प्रतिमा को शुभ मुहूर्त में घर लाएं और स्नान कर संकल्प लें की मैं 2, 3, 5, 7, 9 या 10 दिन के लिए भगवान गणेश की स्थापना करूंगा. उन्होंने बताया कि शुक्ल पक्ष की चतुर्थी 19 सितंबर को स्वाति नक्षत्र 13:47 बजे तक है. मंगलवार को स्वाति नक्षत्र होने से केतु योग बनता है, जो कीर्ति योग बनता है. हालांकि चतुर्थी तिथि 18 सितंबर को 12:07 बजे से लगेगी, लेकिन उदयकाल तिथि में 19 सितंबर को गणेश चतुर्थी मनाई जाएगी.

स्थापना का शुभ मुहूर्त: 19 सितंबर को प्रात: काल सूर्योदय से लेकर के दोपहर 12:53 बजे तक कन्या, तुला, वृश्चिक लग्न में भगवान गणेश की स्थापना करने का योग है. इस बीच मध्याह्न 11:36 से 12:24 बजे तक अभिजीत मुहूर्त में मूर्ति की स्थापना बहुत ही शुभ है. इसके बाद दोपहर 13:45 बजे से 15:00 बजे तक भी शुभ मुहूर्त रहेगा.

रहेगा राहुकाल: वहीं, दोपहर तीन बजे से शाम साढ़े चार बजे तक राहुकाल रहेगा. इस दौरान भगवान गणेश की मूर्ति की स्थापना न करें. हालांकि शाम साढ़े चार बजे के बाद मूर्ति स्थापना कर सकते हैं. वहीं दोपहर 13:47 बजे से विशाखा नक्षत्र लग जाएगा और मंगलवार को विशाखा नक्षत्र होने से श्रीवत्स योग बनता है, जिसे बहुत शुभ माना जाता है. इसके बाद जितने दिन के लिए आप स्थापना का संकल्प लेते हैं, उतने दिन के बाद भगवान गणेश की प्रतिमा को विसर्जित कर दें.

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