अलाप्पुझा : पल्लथुर्थी बोट क्लब के नदुभगम चंदन ने 67वां नेहरू ट्रॉफी जीत लिया है. पुन्नमदा झील में हुए इस रेस में नडुभगम ने यूबीसी बोट क्लब के चंबाकुलम नाव को हराकर ये खिताब अपने नाम किया. पूरी नौका दौड़ के इतिहास में नादुभगम ने दूसरी बार नेहरू ट्रॉफी जीती. पुलिस बोट क्लब के करिचल चुंदन तीसरे स्थान पर रहे.
स्नेक बोट रेस कल सुबह 11 बजे छोटी नावों की प्रतियोगिता के साथ शुरू हुई थी. इसके अलावा, हीट ऑफ चंदन बोट और छोटे नावों के फाइनल भी आयोजित किए गए.
केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने क्रिकेट के दिग्गज सचिन तेंदूलकर के साथ 2019 नेहरू ट्रॉफी बोट रेस का उद्घाटन किया.
क्या है नेहरू ट्रॉफी बोट रेस?
इस रेस का नाम भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के नाम पर रखा गया है. ऐसा माना जाता है कि नेहरू ट्रॉफी बोट रेस केरल में प्रमुख स्नेक बोट रेस में से एक है. इसकी शुरूआत 1952 में हुई थी और 1 जुलाई, 1962 के दिन इसका नाम नेहरू ट्रॉफी रखा गया. पहला नेहरू ट्रॉफी नादुभगम बोट क्लब ने जीता था. ये प्रतियोगिता हर साल अगस्त महीने में आयोजित की जाती है.
आपको बता दे कि कुल 79 नौकाओं ने नेहरू ट्रॉफी में भाग लेते हैं जिसमें 23 स्नेक बोट थी. हर बोट में 90 से 110 बोट चलाने वाले होते हैं, जो चैनलों के माध्यम से सांप की तरह चलते है.
इस साल चुरुलन वल्लम, इरुटुकुथि वल्लम, ओडी वल्लम, वप्पू वल्लम, वडक्कानोडी वल्लम और कोचू वल्लम (नावों के विभिन्न प्रकार) कुछ अन्य नौकाओं की श्रेणियां थीं जिन्हें प्रतियोगिता में शामिल किया गया था. लगभग 100 फुट लंबी नौकाओं को देखने के लिए लोग बड़ी संख्या में इकट्ठा हुए थे.