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तीन गोल से पिछड़ने के बाद वापसी कर भारत ने स्पेन को 5-4 से हराया - FIH pro league

दुनिया की नौंवे नंबर की टीम के खिलाफ टोक्यो ओलंपिक कांस्य पदक विजेता टीम ने तब मेहमान टीम को चौंकाया जब उसने 4-1 से बढ़त बनायी हुई थी. स्पेन के लिये कप्तान मार्क मिरालेस (20वें, 23वें, 40वें मिनट) ने हैट्रिक की और पाऊ कुनहिल ने 14वें मिनट में गोल किया.

India bounced back after trailing by three goals to beat Spain 5-4
India bounced back after trailing by three goals to beat Spain 5-4
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Published : Feb 27, 2022, 4:48 PM IST

भुवनेश्वर: भारतीय पुरूष हॉकी टीम ने तीन गोल से पिछड़ने के बाद शानदार वापसी करते हुए शनिवार को यहां FIH प्रो लीग के रोमांचक मैच में स्पेन पर 5-4 से जीत दर्ज की.

दुनिया की नौंवे नंबर की टीम के खिलाफ टोक्यो ओलंपिक कांस्य पदक विजेता टीम ने तब मेहमान टीम को चौंकाया जब उसने 4-1 से बढ़त बनायी हुई थी. स्पेन के लिये कप्तान मार्क मिरालेस (20वें, 23वें, 40वें मिनट) ने हैट्रिक की और पाऊ कुनहिल ने 14वें मिनट में गोल किया.

लेकिन मेजबानों के लिये हरमनप्रीत ने 15वें और 60वें मिनट में दो गोल किये. शिलानंद लकड़ा ने 41वें, शमशेर सिंह ने 43वें और वरूण कुमार ने 55वें मिनट में गोल दागे और टीम को खेल के वापसी करके जीत दर्ज करने के इतिहास में यादगार जीत दिलायी.

भारत ने अब एफआईएच प्रो लीग के पांच मुकाबलों में चार में जीत हासिल कर ली है.

दोनों टीमें अब दो मैचों के मुकाबले के दूसरे मैच में रविवार को एक दूसरे के आमने सामने होंगी.

मैच के पहले 15 मिनट काफी रोमांचक रहे जिसमें दोनों टीमें एक दूसरे को बराबरी की टक्कर दे रही थीं.

ये भी पढ़ें- विश्व कप अभ्यास मैच में स्मृति मंधाना के सिर में चोट लगी

स्पेन को पांचवें ही मिनट में पेनल्टी कॉर्नर से मौका मिला लेकिन शॉट वाइड चला गया. जल्द ही भारत को भी पहला पेनल्टी कॉर्नर मिला जिसे हरमनप्रीत ने गोल कर दिया लेकिन इस गोल को स्पेन के रैफरल के बाद खारिज कर दिया गया.

13वें मिनट में भारतीय कप्तान मनप्रीत सिंह के पास पर मंदीप सिंह के डिफ्लेक्शन शॉट को स्पेनिश गोलकीपर ने बचा दिया.

लेकिन तभी स्पेन ने दूसरा पेनल्टी कॉर्नर हासिल किया और पाऊ कुनहिल का ताकतवर शॉट भारतीय गोल में पहुंच गया.

पहले क्वार्टर में महज 18 सेकेंड ही बचे थे कि हरमनप्रीत ने टीम के दूसरे पेनल्टी कॉर्नर पर दनदनाती ड्रैगफ्लिक से इसे स्पेनिश गोल में पहुंचा दिया.

दूसरे क्वार्टर में हालांकि भारतीय खिलाड़ी थोड़े सुस्त दिखे जिससे स्पेन ने कई मौकों पर उनके रक्षण में सेंध लगायी. इसी दौरान स्पेन को तीसरा पेनल्टी कॉर्नर मिला जिसे कप्तान मार्क मिरालेस ने गोल में बदल दिया.

तीन मिनट बाद स्पेन की अग्रिम पंक्ति फिर भारतीय रक्षण पर भारी पड़ी जिसमें मिरालेस ने अपनी टीम को 3-1 से बढ़त दिला दी.

हाफ टाइम से दो मिनट पहले शमशेर सिंह का शानदार प्रयास स्पेनिश गोलकीपर मारिपो गारिन ने रोक दिया.

ब्रेक के बाद स्पेन ने भारतीय रक्षापंक्ति पर दबाव बनाया और लगातार दो पेनल्टी कॉर्नर हासिल किये जिसमें से एक को मिरालेस ने रिवर्स हिट पर गोल में बदल दिया.

भारतीय टीम इस गोल से परेशान हो गयी और तीन मिनट के अंदर उसने दो गोल कर स्कोर 3-4 कर दिया. पहले लकड़ा ने रिबाउंड पर और फिर शमशेर ने पेनल्टी कॉर्नर पर गोल किया.

अब भारतीयों ने स्पेनिश डिफेंस पर हमले तेज कर दिये और इसी प्रक्रिया में तीन और पेनल्टी कॉर्नर हासिल कर दिये जिसमे वरूण ने अंतिम को गोल में बदल दिया जो उनका 100वां अंतरराष्ट्रीय मैच था. इस तरह मैच के पांच मिनट पहले दोनों टीमें 4-4 से बराबरी पर थीं.

भारतीयों ने दबाव बनाना जारी रखा और हूटर से महज चार सेकेंड पहले एक पेनल्टी स्ट्रोक हासिल किया जिसे हरमनप्रीत ने गोल में बदलकर घरेलू टीम और प्रशंसकों को राहत दिलायी.

भुवनेश्वर: भारतीय पुरूष हॉकी टीम ने तीन गोल से पिछड़ने के बाद शानदार वापसी करते हुए शनिवार को यहां FIH प्रो लीग के रोमांचक मैच में स्पेन पर 5-4 से जीत दर्ज की.

दुनिया की नौंवे नंबर की टीम के खिलाफ टोक्यो ओलंपिक कांस्य पदक विजेता टीम ने तब मेहमान टीम को चौंकाया जब उसने 4-1 से बढ़त बनायी हुई थी. स्पेन के लिये कप्तान मार्क मिरालेस (20वें, 23वें, 40वें मिनट) ने हैट्रिक की और पाऊ कुनहिल ने 14वें मिनट में गोल किया.

लेकिन मेजबानों के लिये हरमनप्रीत ने 15वें और 60वें मिनट में दो गोल किये. शिलानंद लकड़ा ने 41वें, शमशेर सिंह ने 43वें और वरूण कुमार ने 55वें मिनट में गोल दागे और टीम को खेल के वापसी करके जीत दर्ज करने के इतिहास में यादगार जीत दिलायी.

भारत ने अब एफआईएच प्रो लीग के पांच मुकाबलों में चार में जीत हासिल कर ली है.

दोनों टीमें अब दो मैचों के मुकाबले के दूसरे मैच में रविवार को एक दूसरे के आमने सामने होंगी.

मैच के पहले 15 मिनट काफी रोमांचक रहे जिसमें दोनों टीमें एक दूसरे को बराबरी की टक्कर दे रही थीं.

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स्पेन को पांचवें ही मिनट में पेनल्टी कॉर्नर से मौका मिला लेकिन शॉट वाइड चला गया. जल्द ही भारत को भी पहला पेनल्टी कॉर्नर मिला जिसे हरमनप्रीत ने गोल कर दिया लेकिन इस गोल को स्पेन के रैफरल के बाद खारिज कर दिया गया.

13वें मिनट में भारतीय कप्तान मनप्रीत सिंह के पास पर मंदीप सिंह के डिफ्लेक्शन शॉट को स्पेनिश गोलकीपर ने बचा दिया.

लेकिन तभी स्पेन ने दूसरा पेनल्टी कॉर्नर हासिल किया और पाऊ कुनहिल का ताकतवर शॉट भारतीय गोल में पहुंच गया.

पहले क्वार्टर में महज 18 सेकेंड ही बचे थे कि हरमनप्रीत ने टीम के दूसरे पेनल्टी कॉर्नर पर दनदनाती ड्रैगफ्लिक से इसे स्पेनिश गोल में पहुंचा दिया.

दूसरे क्वार्टर में हालांकि भारतीय खिलाड़ी थोड़े सुस्त दिखे जिससे स्पेन ने कई मौकों पर उनके रक्षण में सेंध लगायी. इसी दौरान स्पेन को तीसरा पेनल्टी कॉर्नर मिला जिसे कप्तान मार्क मिरालेस ने गोल में बदल दिया.

तीन मिनट बाद स्पेन की अग्रिम पंक्ति फिर भारतीय रक्षण पर भारी पड़ी जिसमें मिरालेस ने अपनी टीम को 3-1 से बढ़त दिला दी.

हाफ टाइम से दो मिनट पहले शमशेर सिंह का शानदार प्रयास स्पेनिश गोलकीपर मारिपो गारिन ने रोक दिया.

ब्रेक के बाद स्पेन ने भारतीय रक्षापंक्ति पर दबाव बनाया और लगातार दो पेनल्टी कॉर्नर हासिल किये जिसमें से एक को मिरालेस ने रिवर्स हिट पर गोल में बदल दिया.

भारतीय टीम इस गोल से परेशान हो गयी और तीन मिनट के अंदर उसने दो गोल कर स्कोर 3-4 कर दिया. पहले लकड़ा ने रिबाउंड पर और फिर शमशेर ने पेनल्टी कॉर्नर पर गोल किया.

अब भारतीयों ने स्पेनिश डिफेंस पर हमले तेज कर दिये और इसी प्रक्रिया में तीन और पेनल्टी कॉर्नर हासिल कर दिये जिसमे वरूण ने अंतिम को गोल में बदल दिया जो उनका 100वां अंतरराष्ट्रीय मैच था. इस तरह मैच के पांच मिनट पहले दोनों टीमें 4-4 से बराबरी पर थीं.

भारतीयों ने दबाव बनाना जारी रखा और हूटर से महज चार सेकेंड पहले एक पेनल्टी स्ट्रोक हासिल किया जिसे हरमनप्रीत ने गोल में बदलकर घरेलू टीम और प्रशंसकों को राहत दिलायी.

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