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फुटबॉलर अनवर अली AIFF के खिलाफ पहुंचे हाई कोर्ट, जानिए पूरा मामला

अनवर अली ने AIFF के एक फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी है जिसमें उनके हृदय में गंभीर बीमारी के कारण AIFF ने उनके अभ्यास करने पर रोक लगा दी है.

Footballer moves HC against AIFF barring him from practice due to rare health condition
Footballer moves HC against AIFF barring him from practice due to rare health condition
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Published : Oct 1, 2020, 4:28 PM IST

नई दिल्ली: अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व कर चुके युवा खिलाड़ी अनवर अली ने अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (AIFF) के एक फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी है. दरअसल AIFF ने उनके हृदय की गंभीर बीमारी के कारण उनके अभ्यास करने पर रोकने लगा दी है.

अली के वकील ने जज नवीन चावला को बताया कि वो बहुत ही गरीब परिवार से है और अगर उसे अभ्यास में भाग लेने की अनुमति नहीं दी जाती है तो 20 साल का ये खिलाड़ी खेल नहीं पायेगा और न ही कमाई कर पाएगा.

अली ने कहा कि उन्होंने अंडर-15, अंडर-17 और अंडर-19 में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देश का प्रतिनिधित्व किया है और वो फीफा अंडर-17 विश्व कप में भारतीय टीम का भी हिस्सा थे जिसमें वो सभी मैचों में मुख्य सेंटरबैक के तौर पर खेले थे.

Footballer moves HC against AIFF barring him from practice due to rare health condition
अनवर अली

अली के वकील अमिताभ तिवारी और अभिमन्यु तिवारी ने कहा कि 7 सितंबर को अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (AIFF) ने कोलकाता के मोहम्मडन स्पोर्टिंग क्लब को पत्र लिखकर निर्देश दिया कि अली को टीम के साथ अभ्यास की अनुमति नहीं दी जाए जो उनके कमाने के फंडामेंटल राइट के खिलाफ है. इस खिलाड़ी को हृदय संबंधित बीमारी ‘एपसियल हाइपरकार्डियो मायोपैथी’ से पीड़ित पाया गया है.

AIFF के वकील प्रेमतोश मिश्रा ने कहा कि इसमें कोई शक नहीं कि अली बेहतरीन खिलाड़ी था और वो देश के लिए खेल चुका है और वो मुश्किल स्थिति में थे क्योंकि अगर वो उसे खेलने की अनुमति देते हैं तो उसकी जिंदगी का जोखिम बढ़ जाएगा.

उन्होंने कहा कि अली को विभिन्न डाक्टरों ने देखा और विशेषज्ञ चिकित्सकों की सलाह के बाद उन्हें खेलने की अनुमति नहीं देने का विचार बनाया गया लेकिन जांच अब भी लंबित है और ये अंतिम फैसला नहीं है.

वकील ने कहा कि अली AIFF की खेल चिकित्सा समिति (AIFF की स्थायी समिति) के समक्ष प्रस्तुत हो सकते हैं और अपनी राय व अपनी बीमारी की वीडियो दिखा सकते हैं और बैठक अगले 10 दिन में होनी चाहिए जिसकी सूचना उन्हें दे दी जाएगी.

इस पर तिवारी ने कहा कि जब तक चिकित्सा समिति मामले पर विचार कर रही है, तो अली को टीम के साथ जुड़ने की अनुमति दी जाए ताकि अगर उनके पक्ष में फैसला लिया जाता है तो वो खेलने योग्य रहें.

हाई कोर्ट ने हालांकि कहा कि मामले के तथ्यों को ध्यान में रखते हुए क्लब को खुद ही इस अनुरोध पर विचार करना चाहिए.

मामले की अगली सुनवाई 20 अक्टूबर को होगी.

नई दिल्ली: अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व कर चुके युवा खिलाड़ी अनवर अली ने अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (AIFF) के एक फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी है. दरअसल AIFF ने उनके हृदय की गंभीर बीमारी के कारण उनके अभ्यास करने पर रोकने लगा दी है.

अली के वकील ने जज नवीन चावला को बताया कि वो बहुत ही गरीब परिवार से है और अगर उसे अभ्यास में भाग लेने की अनुमति नहीं दी जाती है तो 20 साल का ये खिलाड़ी खेल नहीं पायेगा और न ही कमाई कर पाएगा.

अली ने कहा कि उन्होंने अंडर-15, अंडर-17 और अंडर-19 में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देश का प्रतिनिधित्व किया है और वो फीफा अंडर-17 विश्व कप में भारतीय टीम का भी हिस्सा थे जिसमें वो सभी मैचों में मुख्य सेंटरबैक के तौर पर खेले थे.

Footballer moves HC against AIFF barring him from practice due to rare health condition
अनवर अली

अली के वकील अमिताभ तिवारी और अभिमन्यु तिवारी ने कहा कि 7 सितंबर को अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (AIFF) ने कोलकाता के मोहम्मडन स्पोर्टिंग क्लब को पत्र लिखकर निर्देश दिया कि अली को टीम के साथ अभ्यास की अनुमति नहीं दी जाए जो उनके कमाने के फंडामेंटल राइट के खिलाफ है. इस खिलाड़ी को हृदय संबंधित बीमारी ‘एपसियल हाइपरकार्डियो मायोपैथी’ से पीड़ित पाया गया है.

AIFF के वकील प्रेमतोश मिश्रा ने कहा कि इसमें कोई शक नहीं कि अली बेहतरीन खिलाड़ी था और वो देश के लिए खेल चुका है और वो मुश्किल स्थिति में थे क्योंकि अगर वो उसे खेलने की अनुमति देते हैं तो उसकी जिंदगी का जोखिम बढ़ जाएगा.

उन्होंने कहा कि अली को विभिन्न डाक्टरों ने देखा और विशेषज्ञ चिकित्सकों की सलाह के बाद उन्हें खेलने की अनुमति नहीं देने का विचार बनाया गया लेकिन जांच अब भी लंबित है और ये अंतिम फैसला नहीं है.

वकील ने कहा कि अली AIFF की खेल चिकित्सा समिति (AIFF की स्थायी समिति) के समक्ष प्रस्तुत हो सकते हैं और अपनी राय व अपनी बीमारी की वीडियो दिखा सकते हैं और बैठक अगले 10 दिन में होनी चाहिए जिसकी सूचना उन्हें दे दी जाएगी.

इस पर तिवारी ने कहा कि जब तक चिकित्सा समिति मामले पर विचार कर रही है, तो अली को टीम के साथ जुड़ने की अनुमति दी जाए ताकि अगर उनके पक्ष में फैसला लिया जाता है तो वो खेलने योग्य रहें.

हाई कोर्ट ने हालांकि कहा कि मामले के तथ्यों को ध्यान में रखते हुए क्लब को खुद ही इस अनुरोध पर विचार करना चाहिए.

मामले की अगली सुनवाई 20 अक्टूबर को होगी.

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