पालघर, मुंबई: टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को 2-1 से हराकर लगातार तीसरी बार बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी अपने नाम की. इस जीत का श्रेय इस टीम के युवा खिलाड़ियों को जाता है जिन्होंने श्रृंखला में असाधारण प्रदर्शन किया, और टीम की जीत में अहम योगदान दिया. इस आखिरी टेस्ट मैच में तेज गेदबाज शार्दुल ठाकुर ने कमाल का खेल दिखाया है.
गाबा टेस्ट में ऐतिहासिक जीत के बाद ईटीवी भारत ने शार्दुल ठाकुर के परिवार के सदस्यों के साथ खास बातचीत की. उन्होंने कहा कि वे टीम की जीत में उनके योगदान से खुश हैं.
शार्दुल की मां हंसा ठाकुर ने कहा, "वह (शार्दुल) हमेशा मेहनती रहा है. मैं उसकी डाइट का ख्याल रखती हूं. वह अपनी क्रिकेट प्रैक्टिस के लिए सुबह 5 बजे उठता था. वह पढ़ाई के साथ-साथ खेल में भी बेहतरीन था."
शार्दुल ने वेस्टइंडीज के खिलाफ अक्टूबर 2018 में टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया, जिससे वह टेस्ट में टीम इंडिया का प्रतिनिधित्व करने वाले 294 वें खिलाड़ी बन गए. इसी मैच में 10 गेंद डालने के बाद ही वे चोटिल होकर सीरीज से बाहर हो गए थे.
शार्दुल के प्रदर्शन से खुश उनके पिता नरेंद्र ठाकुर ने कहा, "मैं सिर्फ यही कहना चाहता हूं कि मेहनत का फल हमेशा मीठा होता है. वो हमेशा अपनी कोच की बात सुनता था और मैदान पर निर्देशों का पालन करता था."
भारत ने आखिरी टेस्ट मैच में तीन विकेट से जीत हासिल की और ट्रॉफी अपने पास बरकरार रखी. शार्दुल ने पहली पारी में अहम योगदान दिया था. इस दाएं हाथ के बल्लेबाज ने 67 रन बनाए और 7 विकेट भी अपने नाम किया.