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बाल्मोरल कैसल से स्कॉटलैंड के होलीरूडहाउस लाया गया महारानी एलिजाबेथ II का पार्थिव शरीर - पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन

ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के पार्थिव शरीर को बाल्मोरल कैसल से स्कॉटलैंड की राजधानी एडिनबरा लाया गया. महारानी के ताबूत को सोमवार दोपहर तक होलीरूडहाउस के थ्रॉन रूम में रखा जाएगा, जहां शाही परिवार के सदस्य उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे. 19 सितंबर को उनका अंतिम संस्कार होगा.

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महारानी एलिजाबेथ का पार्थिव शरीर
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Published : Sep 11, 2022, 3:54 PM IST

Updated : Sep 11, 2022, 10:50 PM IST

लंदन : दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय (Queen Elizabeth II) के ताबूत को रविवार को एबर्डीनशायर के बाल्मोरल कैसल से दिवंगत महारानी के स्कॉटलैंड स्थित आधिकारिक आवास होलीरूडहाउस पैलेस ले जाने के लिए यात्रा शुरू हो गई और इस दौरान हजारों लोगों ने उन्हें रास्ते में श्रद्धांजलि दी. लगभग छह घंटे की यात्रा के बाद दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का ताबूत शाही परिवार के स्कॉटलैंड स्थित आधिकारिक आवास होलीरूडहाउस पैलेस पहुंचा. इसे सोमवार दोपहर तक होलीरूडहाउस के थ्रॉन रूम में रखा जाएगा, जहां शाही परिवार के सदस्य उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे.

महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का गुरुवार को बाल्मोरल में निधन हो गया था. वह 96 वर्ष की थीं. महारानी के ताबूत की यात्रा के धीरे-धीरे एडिनबर्ग की ओर बढ़ने के दौरान महारानी की बेटी राजकुमारी ऐनी सात कारों के काफिले के साथ मौजूद हैं और रास्ते में लोगों की भीड़ दिवंगत महारानी के काफिले की एक झलक पाने के उमड़ी है. सप्ताह के अंत में महारानी के ताबूत को लंदन ले जाया जाएगा और बकिंघम पैलेस ने राजकीय अंत्येष्टि संबंधी योजनाओं की जानकारी साझा की है. इसके तहत अंतिम संस्कार सोमवार, 19 सितंबर को वेस्टमिंस्टर एबे लंदन में होगा. इस दिन ब्रिटेन में अवकाश घोषित किया गया है.

  • #WATCH | UK: Queen Elizabeth's funeral cortege left Balmoral castle to be moved first to Edinburgh, Scotland & then to London for her funeral on September 19

    (Source: Reuters) pic.twitter.com/nYOtgpGeAW

    — ANI (@ANI) September 11, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

अंतिम संस्कार से पहले, दिवंगत महारानी का पार्थिव शरीर चार दिनों के लिए संसद परिसर के भीतर वेस्टमिंस्टर हॉल में रखा जाएगा, ताकि ब्रिटेन की जनता उन्हें श्रद्धांजलि दे सके. शनिवार को महारानी के विंडसर, बाल्मोरल और लंदन आवासों पर उन्हें पुष्पांजलि अर्पित करने के लिए हजारों लोगों की भीड़ जुटी थी. ब्रिटेन में सभी महलों और सरकारी भवनों के ऊपर लगे झंडों को नये महाराज की ताजपोशी की उद्घोषणा के मद्देनजर फहराया गया था और रविवार को राजकीय शोक के लिए इसे वापस आधा झुका दिया जाएगा.

बकिंघम पैलेस ने नये महाराज चार्ल्स तृतीय के कार्यक्रमों की सूचना जारी की है, जो महारानी के निधन के लिए मनाये जाने वाले राजकीय शोक की प्रथा के मद्देनजर ब्रिटेन के सभी हिस्सों की यात्रा करेंगे और लोगों को संबोधित करेंगे. बकिंघम पैलेस में राष्ट्रमंडल महासचिव पैट्रीशिया स्कॉटलैंड के साथ बैठक के बाद महाराज चार्ल्स तृतीय शाही उच्चायुक्तों की मेजबानी करेंगे.

सोमवार को महाराज चार्ल्स और उनकी पत्नी 'क्वीन कन्सॉर्ट' कैमिला वेस्टमिंस्टर हॉल की यात्रा करेंगे, जहां संसद के दोनों सदन महारानी के निधन पर शोक व्यक्त करने के लिए एकत्रित होंगे. इसके बाद शाही जोड़ा जनता से मुखातिब होने के लिए स्कॉटलैंड की यात्रा करेगा. वे मंगलवार को उत्तरी आयरलैंड और फिर सप्ताहांत में वेल्स की यात्रा करेंगे. बकिंघम पैलेस ने कहा है कि सोमवार को होलीरूडहाउस पैलेस के प्रांगण से महारानी के ताबूत को एडिनबर्ग में सेंट जाइल्स कैथेड्रल ले जाया जाएगा, जहां महाराज चार्ल्स तृतीय और शाही परिवार के सदस्य उपस्थित रहेंगे. इस दौरान स्कॉटलैंड के लोगों को महारानी को श्रद्धांजलि देने का अवसर मिलेगा.

महारानी के ताबूत की स्कॉटलैंड से इंग्लैंड की यात्रा मंगलवार को हवाई मार्ग के जरिये होगी और इस दौरान महारानी की बेटी राजकुमारी ऐनी साथ रहेंगी. ताबूत को महारानी के लंदन स्थित निवास बकिंघम पैलेस लाया जाएगा. बुधवार को ताबूत को वेस्टमिंस्टर पैलेस लाया जाएगा. 19 सितंबर को महारानी के अंत्येष्टि कार्यक्रम के दौरान शाही परिवार के सदस्यों के अलावा कई देशों के नेताओं के शामिल होने की संभावना है.

पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन का खुलासा, चार्ल्स ने महाराज बनने का किया था अभ्यास : उधर, ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने रविवार को खुलासा किया कि महाराज चार्ल्स तृतीय ने महाराज और राष्ट्र प्रमुख बनने का अभ्यास किया था. कैमरन 2010 और 2016 के बीच ब्रिटेन के प्रधानमंत्री थे. उन्होंने खुलासा किया कि 10 डाउनिंग स्ट्रीट में अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने तत्कालीन प्रिंस ऑफ वेल्स (चार्ल्स) के साथ बैठक की थी, ताकि वह अपनी पदोन्नति की तैयारी कर सकें. महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के निधन के बाद नए संप्रभु के रूप में 73 वर्षीय महाराज चार्ल्स तृतीय अपने नियमित कार्यक्रमों के एक महत्वपूर्ण हिस्से के रूप में प्रधानमंत्री के साथ साप्ताहिक बैठकें करेंगे.

कैमरन ने बीबीसी को दिए एक साक्षात्कार में कहा, 'जब महारानी एलिजाबेथ द्वितीय सिंहासन पर काबिज थीं, तब प्रिंस चार्ल्स के साथ मैंने बैठकें कीं, क्योंकि वह इस बारे में सोचना शुरू करना चाहते थे कि उन बैठकों को कैसे संचालित किया जाए.' कंजर्वेटिव पार्टी के पूर्व नेता ने नए महाराज को दिवंगत महारानी की तरह एक 'शानदार राजनयिक' के रूप में वर्णित किया. उन्होंने कहा कि वह नए राष्ट्र प्रमुख के रूप में ब्रिटिश सरकार को समर्थन देने के मामले में 'अत्यंत योग्य उत्तराधिकारी' साबित होंगे. कैमरन ने कहा, 'मैंने उन्हें राष्ट्रमंडल शासनाध्यक्षों की बैठकों में कार्रवाई करते हुए देखा है. वह सभी को व्यक्तिगत रूप से जानते हैं. वह उनके साथ शानदार ढंग से बातचीत करते हैं.'

पढ़ें- ताजपोशी : चार्ल्स तृतीय बने ब्रिटेन के महाराज, मां के 'प्रेरक उदाहरण' का अनुसरण करने का लिया संकल्प

(एजेंसियां)

लंदन : दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय (Queen Elizabeth II) के ताबूत को रविवार को एबर्डीनशायर के बाल्मोरल कैसल से दिवंगत महारानी के स्कॉटलैंड स्थित आधिकारिक आवास होलीरूडहाउस पैलेस ले जाने के लिए यात्रा शुरू हो गई और इस दौरान हजारों लोगों ने उन्हें रास्ते में श्रद्धांजलि दी. लगभग छह घंटे की यात्रा के बाद दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का ताबूत शाही परिवार के स्कॉटलैंड स्थित आधिकारिक आवास होलीरूडहाउस पैलेस पहुंचा. इसे सोमवार दोपहर तक होलीरूडहाउस के थ्रॉन रूम में रखा जाएगा, जहां शाही परिवार के सदस्य उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे.

महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का गुरुवार को बाल्मोरल में निधन हो गया था. वह 96 वर्ष की थीं. महारानी के ताबूत की यात्रा के धीरे-धीरे एडिनबर्ग की ओर बढ़ने के दौरान महारानी की बेटी राजकुमारी ऐनी सात कारों के काफिले के साथ मौजूद हैं और रास्ते में लोगों की भीड़ दिवंगत महारानी के काफिले की एक झलक पाने के उमड़ी है. सप्ताह के अंत में महारानी के ताबूत को लंदन ले जाया जाएगा और बकिंघम पैलेस ने राजकीय अंत्येष्टि संबंधी योजनाओं की जानकारी साझा की है. इसके तहत अंतिम संस्कार सोमवार, 19 सितंबर को वेस्टमिंस्टर एबे लंदन में होगा. इस दिन ब्रिटेन में अवकाश घोषित किया गया है.

  • #WATCH | UK: Queen Elizabeth's funeral cortege left Balmoral castle to be moved first to Edinburgh, Scotland & then to London for her funeral on September 19

    (Source: Reuters) pic.twitter.com/nYOtgpGeAW

    — ANI (@ANI) September 11, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

अंतिम संस्कार से पहले, दिवंगत महारानी का पार्थिव शरीर चार दिनों के लिए संसद परिसर के भीतर वेस्टमिंस्टर हॉल में रखा जाएगा, ताकि ब्रिटेन की जनता उन्हें श्रद्धांजलि दे सके. शनिवार को महारानी के विंडसर, बाल्मोरल और लंदन आवासों पर उन्हें पुष्पांजलि अर्पित करने के लिए हजारों लोगों की भीड़ जुटी थी. ब्रिटेन में सभी महलों और सरकारी भवनों के ऊपर लगे झंडों को नये महाराज की ताजपोशी की उद्घोषणा के मद्देनजर फहराया गया था और रविवार को राजकीय शोक के लिए इसे वापस आधा झुका दिया जाएगा.

बकिंघम पैलेस ने नये महाराज चार्ल्स तृतीय के कार्यक्रमों की सूचना जारी की है, जो महारानी के निधन के लिए मनाये जाने वाले राजकीय शोक की प्रथा के मद्देनजर ब्रिटेन के सभी हिस्सों की यात्रा करेंगे और लोगों को संबोधित करेंगे. बकिंघम पैलेस में राष्ट्रमंडल महासचिव पैट्रीशिया स्कॉटलैंड के साथ बैठक के बाद महाराज चार्ल्स तृतीय शाही उच्चायुक्तों की मेजबानी करेंगे.

सोमवार को महाराज चार्ल्स और उनकी पत्नी 'क्वीन कन्सॉर्ट' कैमिला वेस्टमिंस्टर हॉल की यात्रा करेंगे, जहां संसद के दोनों सदन महारानी के निधन पर शोक व्यक्त करने के लिए एकत्रित होंगे. इसके बाद शाही जोड़ा जनता से मुखातिब होने के लिए स्कॉटलैंड की यात्रा करेगा. वे मंगलवार को उत्तरी आयरलैंड और फिर सप्ताहांत में वेल्स की यात्रा करेंगे. बकिंघम पैलेस ने कहा है कि सोमवार को होलीरूडहाउस पैलेस के प्रांगण से महारानी के ताबूत को एडिनबर्ग में सेंट जाइल्स कैथेड्रल ले जाया जाएगा, जहां महाराज चार्ल्स तृतीय और शाही परिवार के सदस्य उपस्थित रहेंगे. इस दौरान स्कॉटलैंड के लोगों को महारानी को श्रद्धांजलि देने का अवसर मिलेगा.

महारानी के ताबूत की स्कॉटलैंड से इंग्लैंड की यात्रा मंगलवार को हवाई मार्ग के जरिये होगी और इस दौरान महारानी की बेटी राजकुमारी ऐनी साथ रहेंगी. ताबूत को महारानी के लंदन स्थित निवास बकिंघम पैलेस लाया जाएगा. बुधवार को ताबूत को वेस्टमिंस्टर पैलेस लाया जाएगा. 19 सितंबर को महारानी के अंत्येष्टि कार्यक्रम के दौरान शाही परिवार के सदस्यों के अलावा कई देशों के नेताओं के शामिल होने की संभावना है.

पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन का खुलासा, चार्ल्स ने महाराज बनने का किया था अभ्यास : उधर, ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने रविवार को खुलासा किया कि महाराज चार्ल्स तृतीय ने महाराज और राष्ट्र प्रमुख बनने का अभ्यास किया था. कैमरन 2010 और 2016 के बीच ब्रिटेन के प्रधानमंत्री थे. उन्होंने खुलासा किया कि 10 डाउनिंग स्ट्रीट में अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने तत्कालीन प्रिंस ऑफ वेल्स (चार्ल्स) के साथ बैठक की थी, ताकि वह अपनी पदोन्नति की तैयारी कर सकें. महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के निधन के बाद नए संप्रभु के रूप में 73 वर्षीय महाराज चार्ल्स तृतीय अपने नियमित कार्यक्रमों के एक महत्वपूर्ण हिस्से के रूप में प्रधानमंत्री के साथ साप्ताहिक बैठकें करेंगे.

कैमरन ने बीबीसी को दिए एक साक्षात्कार में कहा, 'जब महारानी एलिजाबेथ द्वितीय सिंहासन पर काबिज थीं, तब प्रिंस चार्ल्स के साथ मैंने बैठकें कीं, क्योंकि वह इस बारे में सोचना शुरू करना चाहते थे कि उन बैठकों को कैसे संचालित किया जाए.' कंजर्वेटिव पार्टी के पूर्व नेता ने नए महाराज को दिवंगत महारानी की तरह एक 'शानदार राजनयिक' के रूप में वर्णित किया. उन्होंने कहा कि वह नए राष्ट्र प्रमुख के रूप में ब्रिटिश सरकार को समर्थन देने के मामले में 'अत्यंत योग्य उत्तराधिकारी' साबित होंगे. कैमरन ने कहा, 'मैंने उन्हें राष्ट्रमंडल शासनाध्यक्षों की बैठकों में कार्रवाई करते हुए देखा है. वह सभी को व्यक्तिगत रूप से जानते हैं. वह उनके साथ शानदार ढंग से बातचीत करते हैं.'

पढ़ें- ताजपोशी : चार्ल्स तृतीय बने ब्रिटेन के महाराज, मां के 'प्रेरक उदाहरण' का अनुसरण करने का लिया संकल्प

(एजेंसियां)

Last Updated : Sep 11, 2022, 10:50 PM IST
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