मांडले : म्यांमार में पिछले महीने हुए तख्तापलट के विरुद्ध दूसरे सबसे बड़े शहर मांडले में चिकित्सा पेशेवरों ने मार्च निकाला, जबकि किसी और जगह सुरक्षाकर्मियों की गोलीबारी में एक व्यक्ति की जान चली गयी. इस तरह देश में एक और प्रदर्शन हुआ. करीब 100 डॉक्टर, नर्स, मेडिकल छात्र सोमवार को सफेद कोट में मुख्य मार्ग पर लाइन में खड़े हो गये और उन्होंने एक फरवरी के तख्तापलट के विरूद्ध नारे लगाए.
एक फरवरी को आंग सान सू ची की असैन्य सरकार को अपदस्थ कर दिया गया था. मांडले तख्तापलट के विरुद्ध प्रदर्शन का एक बड़ा केंद्र रहा है. मेडिकल पेशेवरों के बाद दिन में इंजीनियरों ने 'नो ह्यूमन स्ट्राइक' किया. यह प्रदर्शन का लगातार लोकप्रिय होता एक ऐसा तरीका है जहां मानव प्रदर्शनकारी तो नहीं होते हैं और जगह जगह साइनबोर्ड लगा दिये जाते हैं.
ये प्रदर्शन व्यापक नागरिक अवज्ञा आंदोलन का हिस्सा हैं जिसका लक्ष्य असैन्य सरकार की बहाली, म्यामांर का लोकतंत्र के रास्ते पर लौटना है. देश में करीब एक दशक पहले लोकतंत्र बहाल हुआ था, जब सेना ने पांच दशक के शासन के बाद अपनी पकड़ ढीली करनी शुरू की थी. 'द इंडिपेन्डेन्ट असिस्टेंस एसोसिएशन फॉर पॉलिटिकल प्रिजनर्स' ने तख्तापलट विरोधी प्रदर्शन के खिलाफ दमनात्मक कार्रवाई में देश में 247 लोगों की मौत हो जाने की पुष्टि की है.
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वैसे तो मांडले के तड़के के प्रदर्शन पर सुरक्षाबलों की दमनात्मक कार्रवाई नहीं हुई, लेकिन मोनिवा में एक प्रदर्शनकारी की सुरक्षाबलों की गोली लगने से मौत हो गयी. ऑनलाइन न्यूज साइट म्यामांर नाऊ ने यह खबर दी. अन्य जगहों पर भी प्रदर्शन होने की खबर है. 'द इंडिपेन्डेन्ट असिस्टेंस एसोसिएशन फॉर पॉलिटिकल प्रिजनर्स' ने इसकी भी षुष्टि की कि 2,345 लोग गिरफ्तार किये गये हैं या आरोपित किये गये हैं तथा 1,994 लोग अब भी हिरासत में हैं या उन्हें गिरफ्तार करने के प्रयास किये जा रहे हैं.