तेहरान : फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) ने ईरान को ब्लैक लिस्ट की सूची में डाल दिया है. इस फैसले पर ईरान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अब्बास मौसवी ने आलोचना की है.
मौसवी ने कहा कि ईरान को फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) द्वारा ब्लैक लिस्ट में रखने का नया कदम एक 'राजनीतिक रूप से प्रेरित' निर्णय है.
बता दें कि फ्रांस की राजधानी पेरिस में शुक्रवार को एफएटीएफ के बैठक में ईरान को ब्लैक सूची में डाल दिया गया था.
गौरतलब है कि अमेरिकी प्रतिबंधों के चलते ईरान पहले से ही अंतरराष्ट्रीय बाजार से दूर हो चुका है. एफएटीएफ की ब्लैक सूची में डाले जाने से उसकी आर्थिक मुश्किलें और बढ़ेंगी.
फ्रांस की राजधानी पेरिस में शुक्रवार को एफएटीएफ के पूर्ण सत्र की बैठक हुई. इसमें पाकिस्तान को लेकर बड़ा फैसला सुनाया गया था, जिसमें एफएटीएफ ने पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में बरकरार रखा है.
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एफएटीएफ क्या है?
एफएटीएफ पेरिस स्थित अंतर-सरकारी संस्था है. इसका काम गैर-कानूनी आर्थिक मदद को रोकने के लिए नियम बनाना है. इसका गठन 1989 में किया गया था. एफएटीएफ की ग्रे या ब्लैकलिस्ट में डाले जाने पर देश को अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं से कर्ज मिलने में काफी कठिनाई आती है.