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द. अफ्रीका : पूर्व राष्ट्रपति जैकब जूमा ने किया गवाही से इनकार

पूर्व राष्ट्रपति जैकब जूमा ने भष्टाचार की जांच कर रहे आयोग के कार्यालय में पेश होने के बाद गवाही नहीं दी. जुमा पहली बार इस सप्ताह आयोग के सामने पेश हुए थे.

पूर्व राष्ट्रपति जैकब जुमा
पूर्व राष्ट्रपति जैकब जुमा
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Published : Nov 19, 2020, 11:10 PM IST

जोहानिसबर्ग : दक्षिण अफ्रीका के पूर्व राष्ट्रपति जैकब जूमा उनके कार्यकाल के दौरान हुए कथित भ्रष्टाचार की जांच कर रहे आयोग के कार्यालय में बृहस्पतिवार को पेश हुए लेकिन उन्होंने गवाही नहीं दी. आयोग के अध्यक्ष के खिलाफ अपनी कानूनी लड़ाई हारने के बाद जुमा को पेश होकर सवालों के जवाब देने थे.

जुमा को आयोग में दाखिल कम से कम 35 हलफनामे में पेश किए गए साक्ष्य के संबंध में सवालों के जवाब के लिए तलब किया गया था लेकिन, उन्होंने दलील दी कि उप मुख्य न्यायाधीश रेमंड जोंडो ने उनके खिलाफ पक्षपात वाला व्यवहार किया है.

जुमा पहली बार इस सप्ताह आयोग के सामने पेश हुए थे. आयोग और उसके अध्यक्ष के खिलाफ जुमा की कानूनी कार्यवाही को 2009 से 2018 के दौरान उनके कार्यकाल में बड़े पैमाने पर हुए कथित भ्रष्टाचार को लेकर सवालों से बचने की कोशिश के तौर पर देखा गया.

पढ़ें- द. अफ्रीका : भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे पूर्व राष्ट्रपति जांच आयोग के सामने पेश हुए

आरोप है कि जुमा ने कुछ कैबिनेट मंत्रियों की नियुक्ति में विवादास्पद गुप्ता परिवार के सदस्यों की संलिप्तता की इजाजत दी. आरोपों के अनुसार, जुमा से नजदीकी का फायदा उठाकर गुप्ता परिवार और जुमा के बेटे डुडुजाने जुमा से जुड़ी कुछ कंपनियों को कई ठेके मिले.

जुमा ने अपनी अफ्रीकन नेशनल कांग्रेस पार्टी से दबाव के बाद 2018 में इस्तीफा दे दिया था. उनके खिलाफ 2021 में भ्रष्टाचार के मामलों की सुनवाई भी आरंभ होने वाली है. उन पर फ्रांस की हथियार कंपनी से रिश्वत लेने के भी आरोप हैं .

जोहानिसबर्ग : दक्षिण अफ्रीका के पूर्व राष्ट्रपति जैकब जूमा उनके कार्यकाल के दौरान हुए कथित भ्रष्टाचार की जांच कर रहे आयोग के कार्यालय में बृहस्पतिवार को पेश हुए लेकिन उन्होंने गवाही नहीं दी. आयोग के अध्यक्ष के खिलाफ अपनी कानूनी लड़ाई हारने के बाद जुमा को पेश होकर सवालों के जवाब देने थे.

जुमा को आयोग में दाखिल कम से कम 35 हलफनामे में पेश किए गए साक्ष्य के संबंध में सवालों के जवाब के लिए तलब किया गया था लेकिन, उन्होंने दलील दी कि उप मुख्य न्यायाधीश रेमंड जोंडो ने उनके खिलाफ पक्षपात वाला व्यवहार किया है.

जुमा पहली बार इस सप्ताह आयोग के सामने पेश हुए थे. आयोग और उसके अध्यक्ष के खिलाफ जुमा की कानूनी कार्यवाही को 2009 से 2018 के दौरान उनके कार्यकाल में बड़े पैमाने पर हुए कथित भ्रष्टाचार को लेकर सवालों से बचने की कोशिश के तौर पर देखा गया.

पढ़ें- द. अफ्रीका : भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे पूर्व राष्ट्रपति जांच आयोग के सामने पेश हुए

आरोप है कि जुमा ने कुछ कैबिनेट मंत्रियों की नियुक्ति में विवादास्पद गुप्ता परिवार के सदस्यों की संलिप्तता की इजाजत दी. आरोपों के अनुसार, जुमा से नजदीकी का फायदा उठाकर गुप्ता परिवार और जुमा के बेटे डुडुजाने जुमा से जुड़ी कुछ कंपनियों को कई ठेके मिले.

जुमा ने अपनी अफ्रीकन नेशनल कांग्रेस पार्टी से दबाव के बाद 2018 में इस्तीफा दे दिया था. उनके खिलाफ 2021 में भ्रष्टाचार के मामलों की सुनवाई भी आरंभ होने वाली है. उन पर फ्रांस की हथियार कंपनी से रिश्वत लेने के भी आरोप हैं .

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