नई दिल्ली : कोविड-19 महामारी में जहां बीमारी के चलते लोगों ने अपनी जान गवाई, वहीं गौतमबुद्ध नगर जिले में जिला प्रशासन की रिपोर्ट के अनुसार, 467 लोगों ने कोरोना महामारी के चलते अपनी जान से हाथ धो बैठे. देखा जाए तो बहुत से लोगों की नौकरियां चली गई और लोग डिप्रेशन में रहने लगे, जिसके चलते लोगों ने आत्महत्या करना शुरू कर दिया. पुलिस विभाग द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, 100 से अधिक लोगों ने कोरोना के चलते आत्महत्या करने का काम किया है, जिसमें ज्यादातर लोग हाई राइज इमारतों से छलांग लगाकर आत्महत्या की है. जिसमें देखा जाए तो सभी उम्र के लोग शामिल हैं. सभी आत्महत्या के पीछे पुलिस विभाग डिप्रेशन और सामाजिक और पारिवारिक क्लेश को कारण मान रहा है.
नोएडा में 111 लोग आत्महत्या कोविड-19 महामारी के चलते 10 महीनों के अंदर किए हैं. आत्महत्या करने वाले क्षेत्र में नोएडा का थाना सेक्टर 20, थाना सेक्टर 39, थाना सेक्टर 49, थाना सेक्टर 24, थाना सेक्टर 58 और थाना एक्सप्रेसवे शामिल है. 14 लोग सिर्फ थाना सेक्टर 20 क्षेत्र में आत्महत्या किए हैं. सभी आत्महत्या के पीछे पुलिस का मानना है कि डिप्रेशन के चलते लोगों द्वारा इस तरह का कदम उठाया गया है. इस आत्महत्या में सभी उम्र वर्ग के लोग शामिल हैं. इसमें महिला और पुरुष दोनों हैं.
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एडिशनल डीसीपी नोएडा रणविजय सिंह ने बताया कि कोरोना महामारी के चलती नोएडा में नंबर ऑफ सुसाइट का ग्राफ काफी बड़ा है. जिसमें सामाजिक और आर्थिक कारण शामिल है, जिसमें महामारी के चलते लोगों की नौकरियां छूट गई और लोगों को घरों पर लंबे समय तक रहना पड़ा, जिसके चलते लोगों के बीच घरों में झगड़े हुए. जिसके चलते लोगों ने डिप्रेशन में आकर आत्महत्या जैसा कदम उठाया. उन्होंने ईटीवी भारत से खास बातचीत में यह भी बताया कि नोएडा का लाइफ स्टाइल इस तरह कहा है कि लोग जब नकारात्मक सोच रख लेते हैं, तो इस तरह के कदम उठाते हैं.
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