नई दिल्ली/गाजियाबाद: लॉकडाउन में अगर किसी को सबसे ज्यादा नुकसान उठाना पड़ा है, वे सब्जी की खेती करने वाले किसान है, कहने को तो उनकी सब्जियां रोज बिक रही है, लेकिन मिल रहे दाम हैरान करने वाले हैं. अब तो किसानों को अपनी सब्जी की फसल की जुताई करने की तक की नौबत आ गई है.
किसानों की माने तो सब्जी मंडी में बड़े व्यापारी भी सब्जी लेने में कतराने लगे हैं, उनका कहना है कि सब्जी की मार्केट में डिमांड ना होने की वजह से वह इनका क्या करेंगे, मजबूरी में उनको सस्ते दाम में सब्जियां बेचनी पड़ती है. जिसकी वजह से उनको लाखों रुपये का नुकसान हो रहा है. सब्जी की खेती करने वाले किसान से ईटीवी भारत ने की खास बातचीत.
किराए पर जमीन लेकर करते हैं फसलों की बुवाई
मुरादनगर कस्बे के नेकपुर गांव में सब्जी और फूलों की खेती करने वाले किसान सलीम ने ईटीवी भारत को बताया कि उन्होंने इस बार मिर्च, लोकी, टमाटर, चुकंदर और गेंदो के फूलों की फसलों की बुवाई की हुई है. लेकिन लाॅकडाउन के चलते हैं इस बार उन पर काफी फर्क पड़ा है. क्योंकि उन्होंने बुवाई करने के लिए जमीन किराए पर ली हुई थी. अब मालिक का कहना है कि आपका नुकसान हो या फायदा लेकिन उनको अपनी जमीन की पूरी कीमत चाहिए.
मजबूरी में ₹5 किलो बेच रहे हैं चुकंदर
किसान ने ईटीवी भारत को यह भी बताया कि चुकंदर की खेती में उनको इस बार 80 हजार रुपये का नुकसान उठाना पड़ेगा, वह अगर चुकंदर को मंडी बेचने जाते हैं तो बड़े व्यापारी भी खरीदने से मना कर देते हैं, पहले मंडी में 15 रुपये किलो बिकने वाला चुकंदर उनको मजबूरी में अब ₹4 से ₹5 किलो में बेच कर आना पड़ रहा है. इसके साथ ही उनको मंडी में पुलिस प्रशासन की ओर से भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है. चुकंदर, टमाटर, हरी मिर्च, और फूलों की खेती को मिलाकर तकरीबन उनको इस बार 6 लाख रुपये का नुकसान उठाना पड़ेगा.