नई दिल्ली/गाजियाबाद: दौड़ती भागती जिंदगी के बीच अगर आपको अपने ही शहर में आईलैंड पर डिनर या लंच करने का मौका मिले तो इससे ज़्यादा खुशी की बात आखिर क्या हो सकती है. चारों तरफ पानी के बीचे बीच बने आइलैंड पर आपके चेहरे को छूती ठंडी हवा के झोंके अलग ही सुकून दे सकते हैं. जी हां गाजियाबाद के मसूरी में सरकारी जमीन पर एक्वा पार्क तैयार किया जा रहै है जहां आप अपना कुछ वक्त सुकून से गुजार सकते हैं.
ये मसूरी उत्तारखंड का नहीं बल्कि गाजियाबाद का एक गांव है, जिसकी झील के साफ पानी में आप बोटिंग का लुत्फ तो उठा ही सकेंगे साथ ही फिशिंग का मजा भी ले पाएंगे. साथ ही पानी के बीच टापू पर आप अपने परिवार के साथ वीकेंड प्लान में कर सकते हैं. जी हां हम बात कर रहे हैं गाजियाबाद के मसूरी में सरकारी जमीन पर तैयार हो रहे एक्वा पार्क की. जहां आप अपना कुछ पल सुकून से गुजार सकते हैं.
गाजियाबाद के मोदीनगर के रहने वाले रजनीश कुमार चौधरी जो एक इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियर भी है. 14 साल निजी कंपनी में बतौर इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियर नौकरी करने के बाद 2018 में 12 एकड़ से मछली पालन की शुरुआत की थी. मौजूदा समय में रजनीश करीब 100 एकड़ में मछली पालन कर रहे हैं. मसूरी झील के पास 50 एकड़ जमीन प्रदेश सरकार से लीज पर ली है. लीज पर ली ज़मीन को वाटर बॉडी के रूप में डेवलप किया है. वाटर बॉडी में मुख्य तौर पर मछली पालन होता है. मछली पालन के साथ-साथ यहां पर रीक्रिएशनल एक्टिविटीज की शुरुआत की गई है.
रजनीश बताते हैं कि मसूरी झील के पास लीज पर ली गई सरकारी जमीन पर एक्वा पार्क तैयार किया जा रहा है, जो अपने आप में बेहद अलग कॉन्सेप्ट है. एक्वा पार्क में लोग वाटर एक्टिविटी जैसे फिशिंग, बोटिंग आदि का लुत्फ उठा सकेंगे. एक्वा पार्क में फ्लोटिंग रेस्टोरेंट भी बनाया जा रहा है. साथ ही एक आईलैंड भी तैयार किया जा रहा है. एक्वा पार्क में लोग एक तरफ जहां विभिन्न एक्टिविटीज का लुत्फ उठा सकेंगे तो वहीं दूसरी तरफ जल, तालाबों आदि के महत्व के बारे में भी जागरूक हो सकेंगे.
तकरीबन दो महीने यानी कि जून के अंत तक एक्वा पार्क तैयार हो जाएगा. जिसके बाद लोग यहां पर मौजूद एक्वा टूरिज्म से संबंधित एक्टिविटीज का लुत्फ उठा सकेंगे.
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