नई दिल्ली/फरीदाबाद: लॉकडाउन के चलते पैदा हुई बेरोजगारी ने एक और जान ले ली. कोरोना के कारण लगे लॉकडाउन के चलते पिछले तीन महीने से बेरोजगार होने के कारण एक शख्स ने नहर में कूदकर आत्महत्या कर ली. मृतक 28 वर्षीय रुपेश तिवारी मूल रूप से बिहार के बेगूसराय का रहने वाला था और फिलहाल दिल्ली के मीठापुर में अपने परिवार के साथ रहता था. मृतक की डेढ़ साल और तीन साल की दो बच्चियां हैं.
नहर में कूदकर जान दे दी
परिजनों ने बताया कि रुपेश दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल के पास कपड़े और खाने की रेहड़ी लगाता था, लेकिन लॉकडाउन होने के बाद से उसका काम चौपट हो गया. उसके सिर पर कई लाख रुपये का कर्जा भी था, जिसके चलते वह कर्ज लौटाने में और घर चलाने में असफल रहा, जिससे परेशान होकर उसने नहर में कूदकर जान दे दी.
मृतक के परिजनों के मुताबिक रुपेश ने मरने से पहले पड़ोसी को फोन कर नहर में कूदने की बात कही थी, जिसकी जानकारी पड़ोसी ने परिवार वालों को दी, लेकिन जब तक परिवार वाले मौके पर पहुंचते तब तक वह नहर में कूद चुका था.
मृतक का शव रविवार को फरीदाबाद में नहर से निकाला गया. जांच अधिकारी कमल सिंह ने बताया कि बेरोजगारी से परेशान आकर शख्स ने नहर में कूदकर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली. पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराने के बाद शव को परिजनों को सौंप दिया है. ये आत्महत्या का मामला है. इसमें धारा 174 के मुताबिक कार्रवाई की जा रही है.