ETV Bharat / business

कोरोना वायरस का प्रकोप : मूडीज ने 2020 के लिए भारत के वृद्धि अनुमानों को घटाया

मूडीज ने मार्च के लिए अपने ग्लोबल मैक्रो आउटलुक में कहा कि वायरस का प्रकोप चीन के बाहर कई प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में तेजी से फैल गया है.

author img

By

Published : Mar 9, 2020, 6:09 PM IST

business news, corona virus, covid 19, moodys, economic growth, कारोबार न्यूज, कोरोना वायरस, कोविड 19, भारत के वृद्धि अनुमान
कोरोना वायरस का प्रकोप : मूडीज ने 2020 के लिए भारत के वृद्धि अनुमानों को घटाया

नई दिल्ली: मूडीज इन्वेस्टर्स सर्विस ने सोमवार को 2020 के लिए भारत के वृद्धि अनुमान को 5.4 प्रतिशत से घटाकर 5.3 प्रतिशत कर दिया. रेटिंग एजेंसी का अनुमान है कि कोरोना वायरस के प्रकोप के चलते दुनिया भर में घरेलू मांग में कमी आएगी.

मूडीज ने मार्च के लिए अपने ग्लोबल मैक्रो आउटलुक में कहा कि वायरस का प्रकोप चीन के बाहर कई प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में तेजी से फैल गया है.

इसमें कहा गया, "अब यह पक्का हो गया है कि अगर वायरस के असर को काबू में कर लिया गया, तो भी इससे इस साल की दूसरी तिमाही में वैश्विक आर्थिक गतिविधियां प्रभावित होंगी."

मूडीज के अनुमानों में कहा गया है कि कोरोना वायरस के मामले दुनिया भर में बढ़ सकते हैं और अप्रैल-जुलाई के दौरान दुनिया भर में यात्रा प्रतिबंध रहेंगे.

ये भी पढ़ें: कच्चे तेल की गिरती कीमतों से भारत को कैसे होगा फायदा?

रिपोर्ट के मुताबिक आपूर्ति श्रृंखला में बाधा के अलावा ऐसा अनुमान है कि खपत और निवेश भी प्रभावित होगा और तेल तथा अन्य जिंसों की कीमत जून के अंत तक मौजूदा निचले स्तर पर ही बनी रहेंगी.

(पीटीआई-भाषा)

नई दिल्ली: मूडीज इन्वेस्टर्स सर्विस ने सोमवार को 2020 के लिए भारत के वृद्धि अनुमान को 5.4 प्रतिशत से घटाकर 5.3 प्रतिशत कर दिया. रेटिंग एजेंसी का अनुमान है कि कोरोना वायरस के प्रकोप के चलते दुनिया भर में घरेलू मांग में कमी आएगी.

मूडीज ने मार्च के लिए अपने ग्लोबल मैक्रो आउटलुक में कहा कि वायरस का प्रकोप चीन के बाहर कई प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में तेजी से फैल गया है.

इसमें कहा गया, "अब यह पक्का हो गया है कि अगर वायरस के असर को काबू में कर लिया गया, तो भी इससे इस साल की दूसरी तिमाही में वैश्विक आर्थिक गतिविधियां प्रभावित होंगी."

मूडीज के अनुमानों में कहा गया है कि कोरोना वायरस के मामले दुनिया भर में बढ़ सकते हैं और अप्रैल-जुलाई के दौरान दुनिया भर में यात्रा प्रतिबंध रहेंगे.

ये भी पढ़ें: कच्चे तेल की गिरती कीमतों से भारत को कैसे होगा फायदा?

रिपोर्ट के मुताबिक आपूर्ति श्रृंखला में बाधा के अलावा ऐसा अनुमान है कि खपत और निवेश भी प्रभावित होगा और तेल तथा अन्य जिंसों की कीमत जून के अंत तक मौजूदा निचले स्तर पर ही बनी रहेंगी.

(पीटीआई-भाषा)

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.