मुंबई: कोविड-19 महामारी से पैदा हुई अनिश्चिता के चलते बैंकों के ऋण कारोबार की वृद्धि दर निकट अवधि में नरम रहने का अनुमान है.
केयर रेटिंग्स की रिपोर्ट के मुताबिक इसकी वजह बैंकों का जोखिम को लेकर बचावपूर्ण रवैया रखना है. अक्टूबर 2020 में बैंकों के ऋण कारोबार की वृद्धि दर घटकर 5.6 प्रतिशत रही.
केयर रेटिंग्स ने रिपोर्ट में कहा, "निकट अवधि में ऋण कारोबार की कुल वृद्धि दर नरम रहने का अनुमान है. बैंक परिसंपत्ति गुणवत्ता और जोखिम के चलते चुनिंदा नए ऋण ही जारी कर रहे हैं."
रिपोर्ट में कहा गया है कि वाणिज्यिक बैंकों की ऋण ब्याज दर में सालाना आधार पर अक्टूबर 2020 में 1.15 प्रतिशत तक की कमी आयी है. लेकिन इसके अनुरूप ऋण उठाव में वृद्धि दर्ज नहीं की गयी. अक्टूबर में सेवा, खुदरा, कृषि और संबद्ध क्षेत्र में क्रमश: 9.5 प्रतिशत, 9.3 प्रतिशत और 7.4 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गयी.
ये भी पढ़ें: एसएंडपी ने अनुमान, चालू वित्त वर्ष में भारत की अर्थव्यवस्था में आएगी नौ प्रतिशत की गिरावट
वहीं औद्योगिक श्रेणी में 1.7 प्रतिशत की गिरावट रही. आवास ऋण श्रेणी में भी अक्टूबर के दौरान 8.2 प्रतिशत की वृद्धि दर दर्ज की गयी. यह पिछले पांच साल का निम्न स्तर है.
(पीटीआई-भाषा)