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असम में 1.2 लाख मतदाता ‘संदिग्ध’, वोटिंग के लिए करनी होगी मशक्कत

लोकसभा चुनाव में मतदान से वंचित हो सकते हैं करीब 1.2 लाख मतदाता. जानें आयोग ने क्यों पाया संदिग्ध

कॉन्सेप्ट.
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Published : Mar 19, 2019, 11:31 PM IST

गुवाहाटी : असम में कुल 1.2 लाख मतदाता आने वाले लोकसभा चुनाव में अपने मताधिकार का इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे क्योंकि उन्हें ‘डी (संदिग्ध)’ के रूप में चिह्नित किया गया है.

सोमवार को चुनाव आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी. असम के मुख्य निर्वाचन अधिकारी मुकेश चंद्र साहू ने कहा कि राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (एनआरसी) के पूर्ण मसौदे में जिन लोगों के नाम नहीं हैं, लेकिन उनके नाम मतपत्र में हैं तो वह मतदान कर सकते हैं.

असम में कुल 40.08 लाख लोग ऐसे हैं जिनके नाम नागरिक पंजी के पूर्ण मसौदे में नहीं है. कुल 3.3 करोड़ लोगों ने इस एनआरसी सूची में अपना नाम दर्ज कराने के लिए आवेदन किया था लेकिन इनमें से 2.9 करोड़ लोगों के नाम ही इस सूची में हैं.

भारत निर्वाचन आयोग ने 1997 में ‘संदिग्ध मतदाता’ प्रणाली पेश की थी. यह ऐसे लोगों की सूची होती है जो अपनी भारतीय नागरिकता के पक्ष में सबूत नहीं पेश कर पाते.

असम के अलावा यह सूची देश के किसी भी हिस्से में नहीं है. असम में ऐसे मतदाताओं को 2014 के आम चुनाव में भी मतदान नहीं करने दिया गया था.

निर्वाचन आयोग के सूत्रों ने बताया कि असम में तीन चरणों में 11 अप्रैल, 18 अप्रैल और 23 अप्रैल को 28,143 पोलिंग स्टेशनों पर चुनाव आयोजित होंगे.

गुवाहाटी : असम में कुल 1.2 लाख मतदाता आने वाले लोकसभा चुनाव में अपने मताधिकार का इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे क्योंकि उन्हें ‘डी (संदिग्ध)’ के रूप में चिह्नित किया गया है.

सोमवार को चुनाव आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी. असम के मुख्य निर्वाचन अधिकारी मुकेश चंद्र साहू ने कहा कि राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (एनआरसी) के पूर्ण मसौदे में जिन लोगों के नाम नहीं हैं, लेकिन उनके नाम मतपत्र में हैं तो वह मतदान कर सकते हैं.

असम में कुल 40.08 लाख लोग ऐसे हैं जिनके नाम नागरिक पंजी के पूर्ण मसौदे में नहीं है. कुल 3.3 करोड़ लोगों ने इस एनआरसी सूची में अपना नाम दर्ज कराने के लिए आवेदन किया था लेकिन इनमें से 2.9 करोड़ लोगों के नाम ही इस सूची में हैं.

भारत निर्वाचन आयोग ने 1997 में ‘संदिग्ध मतदाता’ प्रणाली पेश की थी. यह ऐसे लोगों की सूची होती है जो अपनी भारतीय नागरिकता के पक्ष में सबूत नहीं पेश कर पाते.

असम के अलावा यह सूची देश के किसी भी हिस्से में नहीं है. असम में ऐसे मतदाताओं को 2014 के आम चुनाव में भी मतदान नहीं करने दिया गया था.

निर्वाचन आयोग के सूत्रों ने बताया कि असम में तीन चरणों में 11 अप्रैल, 18 अप्रैल और 23 अप्रैल को 28,143 पोलिंग स्टेशनों पर चुनाव आयोजित होंगे.

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AS-POLL-D VOTERS
Marked as 'doubtful', 1.2 lk voters in Assam not to exercise franchise
         Guwahati, Mar 18 (PTI) A total of 1.2 lakh people in Assam will not be able to exercise their franchise in the upcoming Lok Sabha polls as they have been marked as 'D' (Doubtful) voters, a senior Election Commission official said Monday.
          However, the people who have been left out of the complete draft of the National Register of Citizens (NRC) will be able to vote if their names figure in the electoral rolls, Assam Chief Electoral Officer Mukesh Chandra Sahu also said.
          There are 40.08 lakh people whose names have been left out of the complete draft of the citizens' register after including the names of 2.9 crore people out of a total 3.3 crore applicants, he said.
          The system of 'D' (dubious or doubtful) voters was introduced in 1997 by the Election Commission of India, which prepared a list by incorporating names of those who could not provide evidence in favour of their Indian nationality. It does not exist anywhere else in the country.
          'D' voters were not allowed to vote in the 2014 general elections too.
          "Currently, we have 1.2 lakh 'D' voters in the electoral rolls as per the last revision. The rolls are being updated continuously and the list will be finalised on the last date of nomination. Therefore, it will be separate for all the different phases," Sahu said.
          The existing draft roll was published on September 15, 2018 and the final roll was released on February 6.
          "There has been a slight fall in the current number of 'D' voters from the last revision due to disposing of court cases. The current figure is likely to change at the time of election," Sahu said.
          On security arrangements, Sahu said that 33 companies of central forces have already reached Assam and have been deployed at various places as a confidence building measure.
          "More central forces will come to the state during the election. We have made a detailed security arrangement considering the sensibilities of different polling stations. Our state nodal police officer has already held meetings with the Ministry of Home Affairs on this," he added.
          As per the last summary revision, over 2.17 crore voters, including at least 7.06 lakh first timers, will exercise their franchise in the three-phase elections in 14 Lok Sabha constituencies in Assam.
          The voting in Assam will take place in 28,143 polling stations on April 11, 18 and 23, EC sources said.
          In the first phase, voting will be held for Tezpur, Kaliabor, Jorhat, Dibrugarh and Lakhimpur constituencies at 9,574 polling stations where 75.16 lakh electorate will exercise their franchise.
          In the second phase on April 18, polling will be held in Karimganj (SC), Silchar, Autonomous District (ST), Mangaldoi and Nawgong constituencies where a total 68.36 lakh electorate will vote in 8,992 booths.
          Dhubri, Kokrajhar (ST), Barpeta and Gauhati seats will see elections in the last phase on April 23 in 9,577 polling stations where 74.08 lakh people will vote.
          There are also about 60,000 service voters, who are staying outside the state and will vote through postal ballot, the EC sources said. PTI TR KK
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