श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर के निवर्तमान पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह, जो अक्टूबर में सेवानिवृत्त हो रहे हैं, उन्होंने पुलिस कर्मियों को चेतावनी दी है कि केंद्र शासित प्रदेश में आतंकवादी हमलों के खतरे को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है और पुलिस कर्मियों को सतर्क रहने के लिए कहा है. डीजीपी की यह टिप्पणी श्रीनगर के ईदगढ़ इलाके में जम्मू-कश्मीर पुलिस के एक इंस्पेक्टर को अज्ञात आतंकवादियों द्वारा गोली मारने के एक दिन बाद आई है.
हमले में पुलिस इंस्पेक्टर गंभीर रूप से घायल हो गए थे. डीजीपी दिलबाग सिंह सोमवार को ऑपरेशन कैपेसिटी बिल्डिंग (ऑप कैप) के तहत 43 पुलिस स्टेशनों के लिए 160 अत्याधुनिक वाहनों को लॉन्च करने के बाद श्रीनगर के बाहरी इलाके ज़ेवान इलाके में एक कार्यक्रम के मौके पर मीडिया से बात कर रहे थे. दिलबाग सिंह ने कहा कि पुलिस कर्मियों को अपनी जान की रक्षा करनी चाहिए और कोई लापरवाही नहीं करनी चाहिए.
पुलिस इंस्पेक्टर मसरूर अली वानी रविवार को ईदगाह में हुए आतंकवादी हमले में उस समय गंभीर रूप से घायल हो गए, जब वह इलाके में क्रिकेट खेल रहे थे. डीजीपी दिलबाग सिंह ने कहा कि उक्त पुलिस अधिकारी इलाके का स्थानीय निवासी है और जब उसे गोली मारी गई तो वह स्थानीय युवाओं के साथ क्रिकेट खेल रहा था. उन्होंने कहा कि घायल पुलिस अधिकारी का इलाज चल रहा है और उनके ठीक होने की प्रार्थना की गयी है.
भारत-पाकिस्तान सीमा पर हाल की घुसपैठ की कोशिशों पर दिलबाग सिंह ने कहा कि नियंत्रण रेखा और सीमा पर आतंकवादियों की घुसपैठ की कोशिशें जारी हैं, लेकिन एलओसी और सीमा पर सुरक्षा बल उनकी कोशिशों को नाकाम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि एलओसी और आईबी पर सुरक्षा बलों की मजबूत व्यवस्था है, जिसके जरिए जवान हर पल पर नजर रख रहे हैं और घुसपैठ की किसी भी कोशिश का मुंहतोड़ जवाब दे रहे हैं.
37 साल बाद पुलिस से रिटायर हुए दिलबाग सिंह ने कहा कि 'पुलिसवाला हमेशा पुलिसवाला ही रहेगा.' उन्होंने कहा कि वह संतुष्ट हैं कि वह 37 साल की सेवा के बाद सेवानिवृत्त हो रहे हैं और इन वर्षों के दौरान पुलिस ने देश की शांति के लिए कड़ी मेहनत की है और शांति की बहाली के लिए हमेशा बलिदान दिया है. सिंह की जगह जेके सीआईडी के प्रमुख आरआर स्वैन लेंगे.