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एनडीए में महिला कैंडिडेट की सीट 19 ही क्यों? सुप्रीम कोर्ट ने केन्द्र सरकार से मांगा जवाब

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Published : Jan 19, 2022, 8:53 AM IST

सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से राष्ट्रीय इंडियन मिलिट्री कॉलेज (आरआईएमसी, राष्ट्रीय मिलिट्री स्कूल (आरएमएस), राष्ट्रीय सैन्य स्कूलों और सैनिक स्कूलों में 2022 प्रवेश के लिए महिला कैंडिडेट के प्रवेश के संबंध में केंद्र सरकार से जवाब मांगा है. सुप्रीम अदालत ने पूछा है कि एनडीए में महिलाओं के लिए 19 सीट ही क्यों रखी गई है.

Supreme court NDA exam
Supreme court NDA exam

नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से स्पष्ट करने को कहा है कि उसके आदेशों के बावजूद, वर्ष 2022 के लिए राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए) में महिलाओं के लिए तय सीटों की संख्या 19 क्यों सीमित की गई है? सुप्रीम अदालत ने केंद्र से राष्ट्रीय इंडियन मिलिट्री कॉलेज (आरआईएमसी) और राष्ट्रीय मिलिट्री स्कूल (आरएमएस) में प्रवेश के लिए आयोजित होने वाली एनडीए परीक्षा, 2021 में शामिल होने वाली महिलाओं सहित कुल उम्मीदवारों के आंकड़े भी न्यायालय में पेश करने के लिए कहा है.

न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति एमएम सुंदरेश की पीठ ने केंद्र की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ऐश्वर्या भाटी से कहा कि सरकार को बताना होगा कि यूपीएससी की अधिसूचना के मुताबिक आखिर क्यों वर्ष 2022 के लिए महिलाओं की संख्या 19 तय की गई? यह साल 2021 के आंकड़ों के बराबर हैं. कोर्ट ने पिछली हुई सुनवाइयों में दी गई दलील को याद दिलाते हुए कहा, पिछले साल सरकार ने कहा था कि व्यवस्था में कमी की वजह से महिलाओं का कम प्रवेश लिया जा रहा है. अब वर्ष-2022 के लिए भी आपने इतनी ही संख्या में महिलाओं को चुनने का प्रस्ताव रखा है. आपने ये आंकड़े क्यों तय किए? यह स्पष्ट करना होगा. 19 सीट हमेशा के लिए नहीं होनी चाहिए, यह केवल एक तदर्थ उपाय है.

शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकार को मामले में हलफनामा दाखिल करने के लिए तीन सप्ताह का समय दिया और बाकी पक्षकारों को उसके बाद दो सप्ताह में अपना जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. अब इस मामले की सुनवाई छह मार्च को होगी. सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल 22 सितंबर को एक आदेश देकर महिलाओं के लिए नवंबर की एनडीए प्रवेश परीक्षा में शामिल होने के दरवाजे खोले थे.

इससे पहले, याचिकाकर्ता कुश कालरा के वकील चिन्मॉय प्रदीप शर्मा ने बताया कि उन्होंने अतिरिक्त हलफनामा दाखिल किया है. हलफनामे में उल्लेख है कि 14 नवंबर 2021 को हुई एनडीए की परीक्षा में 8,009 प्रत्याशी ने सेवा चयन बोर्ड परीक्षा और चिकित्सा जांच के लिए पास हुए, जिनमें से 1,002 उम्मीदवार महिलाएं हैं जबकि 7,007 प्रत्याशी पुरुष हैं. संघ लोकसेवा आयोग (यूपीएससी) के विज्ञापन और सरकार की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक वर्ष 2021 के एनडीए-ll में राष्ट्रीय रक्षा अकादमी 400 कैडेट को लेगी. इनमें से 10 महिलाओं सहित 208 उम्मीदवार सेना में लिए जाएंगे. नौसेना तीन महिलाओं के साथ 42 उम्मीदवारों को लेगी. भारतीय वायुसेना भी छह महिलाओं के साथ 120 उम्मीदवारों को प्रवेश देगी. इस प्रकार जून 2022 में एनडीए में प्रवेश लेने वाली महिलाओं की संख्या 19 ही रहेगी.

उन्होंने कहा कि आश्चर्य की बात है कि 22 दिसंबर 2021 को यूपीएससी की ओर से एनडीए-l 2022 परीक्षा के लिए जारी नोटिस में भी 400 कैंडिडेट को प्रवेश देने की बात कही गई है. एनडीए-1 की परीक्षा 10 अप्रैल 2022 को होनी है. नोटिस के अनुसार, 400 सफल कैंडिडेट में 208 (10 महिलाएं सहित) को सेना में भर्ती किया जाएगा. नौसेना में 42 (तीन महिलाएं सहित) और वायुसेना के लिए फ्लाइंग में दो महिला उम्मीदवार सहित 92 सफल कैंडिडेट को एंट्री मिलेगी. इसके अलावा ग्रांउड ड्यूटी (तकनीकी) में दो महिला उम्मीदवार सहित 18 कैंडिडेट और ग्राउंड ड्यूटी (गैर तकनीकी) दो महिला उम्मीदवार सहित 10 लोगों को एंट्री दी जाएगी. इन्हें जनवरी 2023 में एंट्री मिलेगी. चिन्मॉय प्रदीप शर्मा ने कहा कि 22 दिसंबर 2021 को जारी नोटिस को पढ़कर लगता है कि जनवरी 2023 में भी महिलाओं की सीट 19 से अधिक नहीं होगी. हालांकि नोटिस में पहली बार उल्लेख किया गया है कि नौसेना अकादमी में केवल 30 पुरुष उम्मीदवारों को ही प्रवेश दिया जाएगा. यह पाबंदी मनमाना है.

पढ़ें : Corona In India : भारत में यात्रा प्रतिबंध को लेकर WHO ने कही यह बड़ी बात

नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से स्पष्ट करने को कहा है कि उसके आदेशों के बावजूद, वर्ष 2022 के लिए राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए) में महिलाओं के लिए तय सीटों की संख्या 19 क्यों सीमित की गई है? सुप्रीम अदालत ने केंद्र से राष्ट्रीय इंडियन मिलिट्री कॉलेज (आरआईएमसी) और राष्ट्रीय मिलिट्री स्कूल (आरएमएस) में प्रवेश के लिए आयोजित होने वाली एनडीए परीक्षा, 2021 में शामिल होने वाली महिलाओं सहित कुल उम्मीदवारों के आंकड़े भी न्यायालय में पेश करने के लिए कहा है.

न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति एमएम सुंदरेश की पीठ ने केंद्र की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ऐश्वर्या भाटी से कहा कि सरकार को बताना होगा कि यूपीएससी की अधिसूचना के मुताबिक आखिर क्यों वर्ष 2022 के लिए महिलाओं की संख्या 19 तय की गई? यह साल 2021 के आंकड़ों के बराबर हैं. कोर्ट ने पिछली हुई सुनवाइयों में दी गई दलील को याद दिलाते हुए कहा, पिछले साल सरकार ने कहा था कि व्यवस्था में कमी की वजह से महिलाओं का कम प्रवेश लिया जा रहा है. अब वर्ष-2022 के लिए भी आपने इतनी ही संख्या में महिलाओं को चुनने का प्रस्ताव रखा है. आपने ये आंकड़े क्यों तय किए? यह स्पष्ट करना होगा. 19 सीट हमेशा के लिए नहीं होनी चाहिए, यह केवल एक तदर्थ उपाय है.

शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकार को मामले में हलफनामा दाखिल करने के लिए तीन सप्ताह का समय दिया और बाकी पक्षकारों को उसके बाद दो सप्ताह में अपना जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. अब इस मामले की सुनवाई छह मार्च को होगी. सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल 22 सितंबर को एक आदेश देकर महिलाओं के लिए नवंबर की एनडीए प्रवेश परीक्षा में शामिल होने के दरवाजे खोले थे.

इससे पहले, याचिकाकर्ता कुश कालरा के वकील चिन्मॉय प्रदीप शर्मा ने बताया कि उन्होंने अतिरिक्त हलफनामा दाखिल किया है. हलफनामे में उल्लेख है कि 14 नवंबर 2021 को हुई एनडीए की परीक्षा में 8,009 प्रत्याशी ने सेवा चयन बोर्ड परीक्षा और चिकित्सा जांच के लिए पास हुए, जिनमें से 1,002 उम्मीदवार महिलाएं हैं जबकि 7,007 प्रत्याशी पुरुष हैं. संघ लोकसेवा आयोग (यूपीएससी) के विज्ञापन और सरकार की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक वर्ष 2021 के एनडीए-ll में राष्ट्रीय रक्षा अकादमी 400 कैडेट को लेगी. इनमें से 10 महिलाओं सहित 208 उम्मीदवार सेना में लिए जाएंगे. नौसेना तीन महिलाओं के साथ 42 उम्मीदवारों को लेगी. भारतीय वायुसेना भी छह महिलाओं के साथ 120 उम्मीदवारों को प्रवेश देगी. इस प्रकार जून 2022 में एनडीए में प्रवेश लेने वाली महिलाओं की संख्या 19 ही रहेगी.

उन्होंने कहा कि आश्चर्य की बात है कि 22 दिसंबर 2021 को यूपीएससी की ओर से एनडीए-l 2022 परीक्षा के लिए जारी नोटिस में भी 400 कैंडिडेट को प्रवेश देने की बात कही गई है. एनडीए-1 की परीक्षा 10 अप्रैल 2022 को होनी है. नोटिस के अनुसार, 400 सफल कैंडिडेट में 208 (10 महिलाएं सहित) को सेना में भर्ती किया जाएगा. नौसेना में 42 (तीन महिलाएं सहित) और वायुसेना के लिए फ्लाइंग में दो महिला उम्मीदवार सहित 92 सफल कैंडिडेट को एंट्री मिलेगी. इसके अलावा ग्रांउड ड्यूटी (तकनीकी) में दो महिला उम्मीदवार सहित 18 कैंडिडेट और ग्राउंड ड्यूटी (गैर तकनीकी) दो महिला उम्मीदवार सहित 10 लोगों को एंट्री दी जाएगी. इन्हें जनवरी 2023 में एंट्री मिलेगी. चिन्मॉय प्रदीप शर्मा ने कहा कि 22 दिसंबर 2021 को जारी नोटिस को पढ़कर लगता है कि जनवरी 2023 में भी महिलाओं की सीट 19 से अधिक नहीं होगी. हालांकि नोटिस में पहली बार उल्लेख किया गया है कि नौसेना अकादमी में केवल 30 पुरुष उम्मीदवारों को ही प्रवेश दिया जाएगा. यह पाबंदी मनमाना है.

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