वाशिंगटन : अमेरिका में भारत के राजदूत तरणजीत सिंह संधू ने कहा है कि भारत में स्टार्टअप का एक विशिष्ट तंत्र है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने स्टार्टअप इंडिया व डिजिटल इंडिया जैसी पहल के माध्यम से उद्यमिता ( Entrepreneurship ) को विशेष रूप से प्रोत्साहित करने का काम किया है.
उन्होंने कहा कि स्टार्टअप भारत-अमेरिका की भागीदारी को बढ़ाने में अहम भूमिका निभा रहे हैं. संधू भारतीय स्टार्टअप तंत्र में अवसर ( Opportunities in the Indian Startup Ecosystem ) एवं भारत-अमेरिका भागीदारी की प्रगाढ़ता ( Deepening of India-US partnership ) विषय पर आयोजित एक वेबिनार को संबोधित कर रहे थे.
वेबिनार के बाद संधू ने ट्वीट किया, यह एक अरब से अधिक लोगों की सोच की ताकत है. इस वेबिनार में दोनों देशों से एंजेल इनवेस्टर्स, वेंचर केपिटलिस्ट सहित 3000 से अधिक लोगों ने हिस्सा लिया था.
कार्यक्रम को उद्योग संघों, ह्यूस्टन में भारतीय वाणिज्य दूतावास, यूएस इंडिया स्ट्रेटजिक एंड पार्टनरशिप फोरम ( US India Strategic and Partnership Forum - USISPF ) और उद्योग एवं आंतरिक कारोबार को बढ़ावा देने वाले विभाग ( Department for Promotion of Industry and Internal Trade ) की भागीदारी में आयोजित किया गया.
संधू ने कहा, टीकों की खोज कर रही स्वास्थ्य देखभाल कंपनियों से लेकर बिजली लागत कम करने की कोशिश कर रही अक्षय ऊर्जा कंपनियों तक, छात्रों के लिए ऑनलाइन शिक्षा के क्षेत्र में काम कर रहे शिक्षा स्टार्टअप सहित उन लाखों लोगों के लिए ड्रोन, डिजिटल टेक जेसे क्षेत्र में नई तकनीक का उपयोग करने वाले स्टार्टअप तक - आप हर दिन इस दिशा में आगे बढ़ रहे हैं और दोनों देशों में कई आर्थिक अवसर पैदा कर रहे हैं.
उन्होंने कहा कि कुछ स्टार्टअप को कृषि जैसे अर्थव्यवस्था के पारंपरिक क्षेत्र में देखना भी दिलचस्प है. यूएसआईएसपीएफ के अध्यक्ष मुकेश अघी ने प्रौद्योगिकी खंड में भारत-अमेरिका भागीदारी का अवलोकन करते हुए कहा कि भारतीय और अमेरिकी स्टार्टअप अंतरदेशीय प्रतिभाओं को रख रहे हैं.
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संधू ने कहा कि भारत अब दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप तंत्र है और करीब 90 अरब अमेरिकी डॉलर की लागत वाले 100 यूनिकॉर्न ( एक अरब डॉलर की पूंजी तक पहुंचने वाले स्टार्टअप ) का घर है.
(पीटीआई-भाषा)