हैदराबाद : तेलंगाना विधानसभा चुनाव 2023 में कई सीटों पर कड़े मुकाबले हैं. इस चुनाव में हर वोट अहम होता जा रहा है. कई विधानसभा क्षेत्रों में सभी पार्टियों के उम्मीदवार जनता को खुश करने की कोशिश कर रहे हैं क्योंकि उन्हें जनता का मूड समझ में नहीं आ रहा है. वे अपना अभियान तेज कर रहे हैं. ऐसे समय में बस्तियों, कस्बों में मंडल, गांवों में वार्ड, गांव, मंडल और विधानसभा क्षेत्रों के नेताओं की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण हो गई है.
उनमें से कुछ सक्रिय हैं, लेकिन वे अपनी पहचान और आर्थिक हितों की तलाश में प्रतिद्वंद्वियों के प्रस्तावों के आगे समर्पण कर रहे हैं. कई पार्टियों में ऐसी ही हालात हैं. नतीजतन पिछले चुनाव की तुलना में इस बार पार्टियों में जबरदस्त खींचतान देखने को मिल रही है. कैंडिडेट की शिकायत है कि उन्हें नहीं पता कि नए लोगों में किस पर भरोसा किया जाए. कुछ समर्थक अपनी पार्टी के उम्मीदवारों के साथ दिखते हैं लेकिन परोक्ष रूप से उनकी बुराई करते हैं.
संयुक्त मेडक और संयुक्त महबूबनगर जिले में भी कुछ ऐसा ही देखने के मिल रहा है. नेता ऐसा कहते सुने गए कि 'उस पार्टी में रहो और मुझे वोट दिलाओ, मैं तुम्हारा ख्याल रखूंगा'. कुछ नेता एक पार्टी के उम्मीदवारों के साथ हैं और विपक्षी पार्टी के नेताओं के लिए प्रचार कर रहे हैं.प्रत्याशी के साथ प्रचार कर रहे एक पार्टी के जिला अध्यक्ष बिना किसी की जानकारी के कुछ व्यवसायियों से मिल रहे हैं. कई नेता उम्मीदवार से आवश्यक संसाधन लेने के बाद, वह दूसरी पार्टी में चले गए. उम्मीदवार को अपने भविष्य का डर है.