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महिलाओं को रेशमी साड़ी तो पुरुषों को बकरियां, तेलंगाना चुनाव में करोड़ों खर्च कर रहे प्रत्याशी

तेलंगाना विधानसभा चुनाव बिल्कुल मुहाने पर हैं और प्रत्येक पार्टी के उम्मीदवार जोरशोर से चुनावी प्रचार में लगे हुए हैं. मतदाताओं को लुभाने लिए प्रत्याशियों द्वारा न सिर्फ जनसंपर्क किया जा रहा है, बल्कि महंगे उपहारों के साथ भी मतदाताओं को प्रलोभन दिया जा रहा है. हालांकि कुछ जगहों पर चुनाव आयोग की छापेमारी में उपहार जब्त भी किए गए हैं. Telangana assembly elections, Election campaign in Telangana.

Telangana assembly elections
तेलंगाना विधानसभा चुनाव
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Nov 21, 2023, 7:16 PM IST

हैदराबाद: उत्तरी तेलंगाना में एक निर्वाचन क्षेत्र के उम्मीदवार चुनावी समारोहों में भाग लेने वाली प्रत्येक महिला को एक रेशम साड़ी दे रहे हैं. हर बीस व्यक्ति को बकरियां दी जाती थीं. सरपंचों और एमपीटीसी सदस्यों को सोना वितरित किया गया और कुछ गांवों में घर-घर कुकर वितरित किए गए. मांगने वालों को हर चीज मुहैया करायी जा रही है. जानकारी सामने आ रही है कि एक उम्मीदवार ने अब तक 20 करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च कर दिए हैं.

छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश की सीमा से लगे एक जिले में एक पार्टी प्रत्याशी दिल खोलकर लोगों में उपहार बांट रहे हैं और खर्च का कोई ब्योरा नहीं है. गांवों में सोलर लैंप का वितरण, मंदिरों का निर्माण, शहर में छह व्यायामशालाओं के निर्माण के लिए पांच-पांच लाख रुपये, अपार्टमेंट, कॉलोनियां... और भी बहुत कुछ की पेशकश की गई है. स्थानीय लोगों का दावा है कि वे अब तक 30 करोड़ रुपये तक खर्च कर चुके हैं.

राज्य के कुछ निर्वाचन क्षेत्रों में, कोई मौखिक लड़ाई नहीं है, केवल धन के बंडलों से लड़ाई की जा रही है. प्रमुख निर्वाचन क्षेत्रों में जहां मजबूत उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं और कुछ स्थानों पर जहां रियल एस्टेट व्यापारी और व्यापारिक नेता मैदान में हैं, वहां करोड़ों खर्च किए जा रहे हैं. मतदान में सिर्फ नौ दिन बचे हैं और बताया जा रहा है कि कुछ सीटों पर 20 करोड़ से 30 करोड़ रुपये तक खर्च कर दिए गए हैं.

उम्मीदवार जिस भी गांव में कदम रख रहे हैं, वहां अपनी छाप छोड़ना चाहते हैं. ग्राम देवताओं के मंदिरों और गोपुरमों की मरम्मत और पुनर्निर्माण के लिए धन उपलब्ध कराया जा रहा है. वे मंदिरों के प्रशासकों से भी मिल रहे हैं और उनकी मदद कर रहे हैं. आध्यात्मिक सभाओं के लिए विशेष धनराशि दी जा रही है. कार्तिक माह के उत्सव में स्मारकों और सामूहिक समारोहों की व्यवस्था के लिए न्यूनतम 2 लाख रुपये दिए जा रहे हैं.

इलाकाई लोगों में उम्मीदवारों को लेकर यह चर्चा भी है कि अभी ये जो कर रहे हैं... जीतने के बाद ये और भी काम करेंगे... कुछ उम्मीदवार वरिष्ठ मतदाताओं से दोबारा मौका देने की गुहार लगा रहे हैं. स्थानीय लोगों का कहना है कि बड़ी संख्या में कुकर और लोहे के बक्से निज़ामाबाद, आदिलाबाद, खम्मम और रंगारेड्डी जिलों में वितरित किए गए हैं. कुछ जगहों पर चुनाव अधिकारियों की छापेमारी के दौरान ऐसे उपहार जब्त किए गए.

हैदराबाद: उत्तरी तेलंगाना में एक निर्वाचन क्षेत्र के उम्मीदवार चुनावी समारोहों में भाग लेने वाली प्रत्येक महिला को एक रेशम साड़ी दे रहे हैं. हर बीस व्यक्ति को बकरियां दी जाती थीं. सरपंचों और एमपीटीसी सदस्यों को सोना वितरित किया गया और कुछ गांवों में घर-घर कुकर वितरित किए गए. मांगने वालों को हर चीज मुहैया करायी जा रही है. जानकारी सामने आ रही है कि एक उम्मीदवार ने अब तक 20 करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च कर दिए हैं.

छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश की सीमा से लगे एक जिले में एक पार्टी प्रत्याशी दिल खोलकर लोगों में उपहार बांट रहे हैं और खर्च का कोई ब्योरा नहीं है. गांवों में सोलर लैंप का वितरण, मंदिरों का निर्माण, शहर में छह व्यायामशालाओं के निर्माण के लिए पांच-पांच लाख रुपये, अपार्टमेंट, कॉलोनियां... और भी बहुत कुछ की पेशकश की गई है. स्थानीय लोगों का दावा है कि वे अब तक 30 करोड़ रुपये तक खर्च कर चुके हैं.

राज्य के कुछ निर्वाचन क्षेत्रों में, कोई मौखिक लड़ाई नहीं है, केवल धन के बंडलों से लड़ाई की जा रही है. प्रमुख निर्वाचन क्षेत्रों में जहां मजबूत उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं और कुछ स्थानों पर जहां रियल एस्टेट व्यापारी और व्यापारिक नेता मैदान में हैं, वहां करोड़ों खर्च किए जा रहे हैं. मतदान में सिर्फ नौ दिन बचे हैं और बताया जा रहा है कि कुछ सीटों पर 20 करोड़ से 30 करोड़ रुपये तक खर्च कर दिए गए हैं.

उम्मीदवार जिस भी गांव में कदम रख रहे हैं, वहां अपनी छाप छोड़ना चाहते हैं. ग्राम देवताओं के मंदिरों और गोपुरमों की मरम्मत और पुनर्निर्माण के लिए धन उपलब्ध कराया जा रहा है. वे मंदिरों के प्रशासकों से भी मिल रहे हैं और उनकी मदद कर रहे हैं. आध्यात्मिक सभाओं के लिए विशेष धनराशि दी जा रही है. कार्तिक माह के उत्सव में स्मारकों और सामूहिक समारोहों की व्यवस्था के लिए न्यूनतम 2 लाख रुपये दिए जा रहे हैं.

इलाकाई लोगों में उम्मीदवारों को लेकर यह चर्चा भी है कि अभी ये जो कर रहे हैं... जीतने के बाद ये और भी काम करेंगे... कुछ उम्मीदवार वरिष्ठ मतदाताओं से दोबारा मौका देने की गुहार लगा रहे हैं. स्थानीय लोगों का कहना है कि बड़ी संख्या में कुकर और लोहे के बक्से निज़ामाबाद, आदिलाबाद, खम्मम और रंगारेड्डी जिलों में वितरित किए गए हैं. कुछ जगहों पर चुनाव अधिकारियों की छापेमारी के दौरान ऐसे उपहार जब्त किए गए.

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