ETV Bharat / bharat

Naqvi On Soros Controversy : मुख्तार अब्बास नकवी बोले-शॉर्ट टर्म सेलर्स खुद एक्सपोज हो रहे

विदेशी रिपोर्ट और विदेशी नागरिक की टिप्पणी को लेकर विपक्ष भाजपा पर निशाना साध रहा है. वहीं, सत्ताधारी भाजपा का कहना है कि चुनाव के पहले ही ऐसी रिपोर्ट या बयान क्यों सामने आते हैं. भाजपा के वरिष्ठ नेता मुख्तार अब्बास नकवी (Mukhtar Abbas Naqvi) ने ईटीवी भारत की वरिष्ठ संवाददाता अनामिका रत्ना से कहा कि शॉर्ट टर्म सेलर्स खुद एक्सपोज हो रहे हैं.

Naqvi On Soros Controversy
मुख्तार अब्बास नकवी
author img

By

Published : Feb 18, 2023, 7:56 PM IST

सुनिए नकवी ने क्या कहा

नई दिल्ली : कभी पेगासस, कभी हिंडनबर्ग तो कभी सोरोस की टिप्पणी, लगातार भारतीय राजनीतिक सियासत में उथल-पुथल लाते रहे हैं. यदि देखा जाए तो 2014 में जब से केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार आई है विदेशी एजेंसियों की रिपोर्ट या फिर रिसर्च, भारतीय सियासत में हलचल मचा रही है. विदेशी एजेंसियों की आड़ में विपक्ष भी सरकार पर हमला बोलता रहा है, लेकिन यहां ध्यान देने की बात यह है कि आखिर चुनाव से पहले ही इन विदेशी एजेंसियों के द्वारा ऐसे मामले क्यों उठाए जा रहे हैं. देश की सत्ताधारी पार्टी भारतीय जनता पार्टी इसी मुद्दे पर सवाल खड़ी कर रही है.

अमेरिका के बुजुर्ग अरबपति जॉर्ज सोरोस ने एलान किया कि वह भारत की चुनी हुई सरकार को लोकतांत्रिक तरीके से ध्वस्त कर देंगे. कहीं ना कहीं यह बयान किसी भी देश की सरकार के लिए अत्यधिक आपत्तिजनक टिप्पणी है जो एक विदेशी कारोबारी के द्वारा की गई है. सत्ताधारी पार्टी भारतीय जनता पार्टी इस पर कड़ा रोष जताते हुए इसे भारत के लोकतांत्रिक व्यवस्था में सीधे-सीधे हस्तक्षेप बता रही है.

हालांकि सोरोस का बयान जो उन्होंने म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में भारत, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भारतीय कारोबारी गौतम अडाणी के संबंध में दिया था इसपर केंद्र सरकार और भाजपा समेत विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने भी आलोचना की थी. सत्ताधारी पार्टी ये सवाल जरूर उठा रही है कि आखिर विदेशी एजेंसियों को इतना बल कहां से मिल रहा है, क्या इसके पीछे नरेंद्र मोदी के विरोधियों का भी हाथ है, क्योंकि इससे पहले पेगासस और हिंडेनबर्ग के मुद्दे पर कांग्रेस और विपक्षी पार्टियां पहले ही संसद में ऐतिहासिक हंगामा कर चुकी हैं.

सूत्रों की मानें तो बीजेपी इस मुद्दे को जोर शोर से उठाने वाली है कि आखिर 2014 के बाद एक चुनी हुई लोकतांत्रिक और पॉपुलर सरकार पर विदेशी एजेंसियां गाहे बगाहे कैसे उंगलियां उठाती रही हैं.

बीजेपी इसे मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस से भी जोड़ रही है और बगैर नाम लिए हमले कर विपक्ष को विदेशियों के साथ बताने की रणनीति बना रही है. सूत्रों की मानें तो इन मुद्दों पर बीजेपी को उम्मीद है कि सरकार के खिलाफ नकारात्मक इमेज बनने की बजाय इसपर सरकार और प्रधानमंत्री के लिए जनता की सहानुभूति ज्यादा और विपक्ष पर गुस्सा ज्यादा फूटने वाला है. यही नहीं पार्टी विपक्ष पर विदेशी एजेंसियों के साथ प्रधानमंत्री के खिलाफ साठगांठ करने के भी आरोप लगा रही है.

इस मुद्दे पर पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता मुख्तार अब्बास नकवी (Mukhtar Abbas Naqvi) का कहना है कि दुनिया में भारत की बढ़ती धाक और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की साख को लेकर भारत बैशिंग ब्रिगेड बदहवास है. उन्होंने कहा कि ये विदेशी ताकतें भारत के खिलाफ तानाबाना बुनती रही हैं और अफसोस की बात है कि इनके साथ कुछ पॉलिटिकल ब्रिगेड के लोग भी शामिल होते रहे हैं.

नकवी ने कहा कि इनके साथ हमारे यहां कुछ पिटे पॉलिटिकल प्लेयर भी खड़े हो जाते हैं लेकिन, झूठ का पहाड़, सच के नीचे परास्त हो रहा है. उन्होंने कहा कि इसबार भी झूठ का पहाड़ सच के नीचे परस्त हो चुका है.

मुख्तार अब्बास नकवी का कहना है कि भारत का विकास हो रहा, आर्थिक सामाजिक और शैक्षणिक सभी दिशा में देश की तरक्की हो रही है और ऐसे में शॉर्ट टर्म सेलर्स खुद अपनी बीमार मानसिकता की वजह से परास्त हो रहे हैं.

पढ़ें- Smriti Irani On George Soros : अमेरिकी बिजनेसमैन के बयान से मची खलबली, स्मृति ईरानी ने कहा- यह युद्ध छेड़ने जैसी टिप्पणी

सुनिए नकवी ने क्या कहा

नई दिल्ली : कभी पेगासस, कभी हिंडनबर्ग तो कभी सोरोस की टिप्पणी, लगातार भारतीय राजनीतिक सियासत में उथल-पुथल लाते रहे हैं. यदि देखा जाए तो 2014 में जब से केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार आई है विदेशी एजेंसियों की रिपोर्ट या फिर रिसर्च, भारतीय सियासत में हलचल मचा रही है. विदेशी एजेंसियों की आड़ में विपक्ष भी सरकार पर हमला बोलता रहा है, लेकिन यहां ध्यान देने की बात यह है कि आखिर चुनाव से पहले ही इन विदेशी एजेंसियों के द्वारा ऐसे मामले क्यों उठाए जा रहे हैं. देश की सत्ताधारी पार्टी भारतीय जनता पार्टी इसी मुद्दे पर सवाल खड़ी कर रही है.

अमेरिका के बुजुर्ग अरबपति जॉर्ज सोरोस ने एलान किया कि वह भारत की चुनी हुई सरकार को लोकतांत्रिक तरीके से ध्वस्त कर देंगे. कहीं ना कहीं यह बयान किसी भी देश की सरकार के लिए अत्यधिक आपत्तिजनक टिप्पणी है जो एक विदेशी कारोबारी के द्वारा की गई है. सत्ताधारी पार्टी भारतीय जनता पार्टी इस पर कड़ा रोष जताते हुए इसे भारत के लोकतांत्रिक व्यवस्था में सीधे-सीधे हस्तक्षेप बता रही है.

हालांकि सोरोस का बयान जो उन्होंने म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में भारत, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भारतीय कारोबारी गौतम अडाणी के संबंध में दिया था इसपर केंद्र सरकार और भाजपा समेत विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने भी आलोचना की थी. सत्ताधारी पार्टी ये सवाल जरूर उठा रही है कि आखिर विदेशी एजेंसियों को इतना बल कहां से मिल रहा है, क्या इसके पीछे नरेंद्र मोदी के विरोधियों का भी हाथ है, क्योंकि इससे पहले पेगासस और हिंडेनबर्ग के मुद्दे पर कांग्रेस और विपक्षी पार्टियां पहले ही संसद में ऐतिहासिक हंगामा कर चुकी हैं.

सूत्रों की मानें तो बीजेपी इस मुद्दे को जोर शोर से उठाने वाली है कि आखिर 2014 के बाद एक चुनी हुई लोकतांत्रिक और पॉपुलर सरकार पर विदेशी एजेंसियां गाहे बगाहे कैसे उंगलियां उठाती रही हैं.

बीजेपी इसे मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस से भी जोड़ रही है और बगैर नाम लिए हमले कर विपक्ष को विदेशियों के साथ बताने की रणनीति बना रही है. सूत्रों की मानें तो इन मुद्दों पर बीजेपी को उम्मीद है कि सरकार के खिलाफ नकारात्मक इमेज बनने की बजाय इसपर सरकार और प्रधानमंत्री के लिए जनता की सहानुभूति ज्यादा और विपक्ष पर गुस्सा ज्यादा फूटने वाला है. यही नहीं पार्टी विपक्ष पर विदेशी एजेंसियों के साथ प्रधानमंत्री के खिलाफ साठगांठ करने के भी आरोप लगा रही है.

इस मुद्दे पर पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता मुख्तार अब्बास नकवी (Mukhtar Abbas Naqvi) का कहना है कि दुनिया में भारत की बढ़ती धाक और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की साख को लेकर भारत बैशिंग ब्रिगेड बदहवास है. उन्होंने कहा कि ये विदेशी ताकतें भारत के खिलाफ तानाबाना बुनती रही हैं और अफसोस की बात है कि इनके साथ कुछ पॉलिटिकल ब्रिगेड के लोग भी शामिल होते रहे हैं.

नकवी ने कहा कि इनके साथ हमारे यहां कुछ पिटे पॉलिटिकल प्लेयर भी खड़े हो जाते हैं लेकिन, झूठ का पहाड़, सच के नीचे परास्त हो रहा है. उन्होंने कहा कि इसबार भी झूठ का पहाड़ सच के नीचे परस्त हो चुका है.

मुख्तार अब्बास नकवी का कहना है कि भारत का विकास हो रहा, आर्थिक सामाजिक और शैक्षणिक सभी दिशा में देश की तरक्की हो रही है और ऐसे में शॉर्ट टर्म सेलर्स खुद अपनी बीमार मानसिकता की वजह से परास्त हो रहे हैं.

पढ़ें- Smriti Irani On George Soros : अमेरिकी बिजनेसमैन के बयान से मची खलबली, स्मृति ईरानी ने कहा- यह युद्ध छेड़ने जैसी टिप्पणी

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.