रुड़की (उत्तराखंड): कांवड़ मेले के आखिर दिन हरिद्वार हरकी पैड़ी से डाक कांवड़ लेकर जा रहे यूपी और हरियाणा के कांवड़ियों के बीच विवाद हो गया था. इस दौरान दोनों के बीच हाथापाई और जबरदस्त मारपीट हुई थी. इस विवाद में यूपी के मुजफ्फरनगर जिले के एक कांवड़िए कार्तिक की मौत हो गई थी. मृतक जाट रेजिमेंट का जवान था. इस मामले में मृतक कार्तिक के ताऊ राजेंद्र ने कोतवाली रुड़की में तहरीर दी थी. अब इस पूरी घटना का वीडियो भी सामने आया है.
राजेंद्र ने पुलिस को बताया था कि रुड़की में झिलमिल गुफा के पास कैंटर नंबर HR67C6088 और HR67A947 पर सवार 15 से 20 अज्ञात व्यक्तियों ने एक साथ हरिद्वार जल लेने आए कांवड़िए कार्तिक के साथ मारपीट की थी, जिसके वो गंभीर रूप से घायल हो गया था. कार्तिक को गंभीर हालात में रुड़की के सिविल अस्पताल भर्ती कराया गया था, जहां उपचार के दौरान उनसे दम तोड़ दिया था.
तहरीर के आधार पर पुलिस ने संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज किया और मामले की विवेचना वरिष्ठ उपनिरीक्षक केदार सिंह चौहान को दी. वहीं, घटना की गंभीरता को देखते हुए पुलिस अधीक्षक ग्रामीण व क्षेत्राधिकारी रुड़की के निर्देशन में अलग-अलग पुलिस टीमों का गठन किया गया. पुलिस टीम को मृतक कार्तिक के साथी मुजफ्फरनगर निवासी हरेंद्र व ओमेंद्र ने सूचना दी कि जिन व्यक्तियों ने उनके साथ मारपीट की थी, उनमें से कुछ लोगों को मुजफ्फरनगर जिले की पुरकाजी थाना पुलिस ने पकड़ा है.
ये सूचना मिलते ही उपनिरीक्षक महेंद्र सिंह पुंडीर पुलिस फोर्स के साथ पुरकाजी थाने पहुंचे और पूरे मामले की जानकारी ली. पुरकाजी पुलिस ने बताया कि हरियाणा के पानीपत जिले के रहने वाले कुछ लोग पुरकाजी में झगड़ा कर रहे थे, जिन्हें स्थानीय लोग पीट रहे थे. उनमें से कुछ लोग अपने वाहन छोड़कर भाग गए थे. वहीं, कुछ अपनी जान बचाने के लिए पुरकाजी थाने में आ गए थे.
मृतक कार्तिक के साथी हरेंद्र और ओमेंद्र से जब उनकी पहचान कराई गई तो उन्होंने बताया कि ये उसी ग्रुप के कांवड़िए हैं, जिन्होंने रुड़की में उनकी और कार्तिक के साथ मारपीट की थी. इसके बाद उपनिरीक्षक महेंद्र सिंह पुंडीर ने पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ की.
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पूछताछ ने आरोपियों ने अपना नाम सुंदर (पुत्र रामभज उम्र 38 वर्ष), राहुल (पुत्र पहल सिंह उम्र 20 वर्ष), सचिन (पुत्र महिपाल उम्र 25 वर्ष), आकाश (पुत्र विजेंद्र उम्र 21 वर्ष), पंकज (पुत्र मेनपाल उम्र 22 वर्ष) व रिंकू (पुत्र रमेश उम्र 24 वर्ष निवासीगण चुलकाना थाना सभालखा, जिला पानीपत, हरियाणा) बताया.
पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि हरिद्वार से जल लाते समय रुड़की के आसपास मुजफ्फरनगर के कांवड़ियों के साथ जल जल्दी ले जाने की होड़ में कहासुनी हो गई थी, जिस कारण दोनों पक्षों में लड़ाई हो गई और वो लोग वहां से भाग निकले. इसके बाद जैसे ही वो मुजफ्फरनगर जिले के पुरकाजी थाना क्षेत्र में पहुंचे तो स्थानीय लोगों ने उनके ट्रक व मोटर साइकिल को रोका और उनके साथ मारपीट शुरू कर दी. स्थानीय लोगों ने पुरकाजी पुलिस से उन्हें जैसे-तैसे बचाया.
उत्तराखंड पुलिस सभी आरोपियों को रुड़की लेकर आई और नियमनुसार उनकी गिरफ्तार की. इसके साथ ही आरोपियों के वाहनों को भी पुलिस ने कब्जे में ले लिया है. वहीं, सिविल लाइन कोतवाली प्रभारी देवेंद्र चौहान ने बताया कि इस मामले में करीब 20 से 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है, शेष आरोपियों की पहचान कर गिरफ्तारी के लिए पुलिस टीमों को रवाना किया गया है.
पूरा घटनाक्रम: दरअसल, सावन की शिवरात्रि पर मंगलवार (26 जुलाई) को हरिद्वार से गंगाजल लेकर मुजफ्फरनगर और हरियाणा के डाक कांवड़ यात्री अपने गंतव्य की ओर बढ़ रहे थे. दोनों ही गुटों में आगे निकलने की होड़ लगी हुई थी. इसी बीच दिल्ली-हरिद्वार हाईवे पर नगला इमरती के पास उत्तर प्रदेश के यात्रियों की डाक कांवड़ आगे निकल गई. इसी बात को लेकर हरियाणा के कांवड़ियों ने हंगामा कर दिया. कहासुनी के बाद गाली गलौज और फिर दोनों तरफ से लाठी-डंडे व हॉकी चल पड़े. मारपीट में कई कांवड़िए घायल हुए.
घायलों को इलाज के लिए रुड़की सिविल अस्पताल ले जाया गया, जहां पर कार्तिक (पुत्र योगेंद्र निवासी ग्राम सिसौली जिला मुजफ्फरनगर उत्तर प्रदेश) को डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया. कार्तिक के साथियों ने बताया कि हरियाणा के कांवड़ियों ने कार्तिक को घेरकर उसकी पिटाई कर दी थी. सिर पर चोट लगने और ज्यादा खून बह जाने के कारण उसकी मौत हुई.