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थोड़ी देर में पंजाब के पहले दलित CM बनेंगे चरणजीत सिंह चन्नी, डिप्टी सीएम पर सस्पेंस

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Published : Sep 20, 2021, 7:09 AM IST

Updated : Sep 20, 2021, 11:02 AM IST

चरणजीत सिंह चन्नी को कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी बधाई दी और कहा कि हमें पंजाब के लोगों से किए गए वादों को पूरा करना जारी रखना है. जानकारी के मुताबिक सुखजिंदर रंधावा और ब्रह्म मोहिंद्रा को डिप्टी सीएम बनाया जाएगा. कांग्रेस नेता पवन बंसल ने ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी है. सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस नेता राहुल गांधी शपथ ग्रहण कार्यक्रम में शामिल हो सकते हैं. वहीं, जानकारी के मुताबिक कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी समारोह में हिस्सा नहीं लेंगी.

चरणजीत सिंह चन्नी सुबह 11 बजे लेंगे शपथ
चरणजीत सिंह चन्नी सुबह 11 बजे लेंगे शपथ

चंडीगढ़/नई दिल्ली: कैप्टन अमरिंदर सिंह (Captain Amarinder Singh) के इस्तीफे के बाद पंजाब को अगला मुख्यमंत्री (Punjab new Chief Minister) मिल गया है. कांग्रेस आलाकमान ने कैबिनेट मंत्री और तीन बार के विधायक चरणजीत सिंह चन्नी (Charanjit Singh Channi) को यह जिम्मेदारी सौंपी है. चन्नी आज राज्य के अगले मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेंगे. सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस नेता राहुल गांधी शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हो सकते हैं. कांग्रेस नेता पवन बंसल ने ट्वीट कर बताया कि सुखजिंदर सिंह रंधावा और ब्रह्म मोहिंद्रा भी शपथ लेंगे जो पंजाब सरकार में उप मुख्यमंत्री होंगे. हालांकि अभी तक इस पर सस्पेंस बरकरार है.

चन्नी पंजाब में मुख्यमंत्री बनने वाले दलित समुदाय के पहले व्यक्ति होंगे. उप मुख्यमंत्री बनने जा रहे रंधावा जट सिख और मोहिंद्रा हिंदू समुदाय से ताल्लुक रखते हैं. कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि चन्नी मुख्यमंत्री पद के लिए राहुल गांधी की पसंद हैं.

जानकारी के मुताबिक कोविड प्रोटोकॉल के कारण, केवल 40 लोगों को शपथ ग्रहण समारोह में भाग लेने की अनुमति है, जिसमें 20 नेता और उनके परिवार के 20 सदस्य शामिल होंगे. वहीं, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी चंडीगढ़ गई हैं लेकिन वे सीधे शिमला के लिए रवाना होंगी और शपथ ग्रहण समारोह में हिस्सा नहीं लेंगी.

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पवन कुमार बंसल

इधर सीएम पद की शपथ लेने से पूर्व चरणजीत सिंह चन्नी ने रूपनगर स्थित गुरुद्वारे पहुंचकर मत्था टेका.

बता दें, वह पंजाब के पहले दलित नेता हैं, जो राज्य के मुख्यमंत्री बनेंगे. 58 वर्षीय चन्नी सुबह 11 बजे मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे. कांग्रेस के पंजाब प्रभारी हरीश रावत ने चन्नी के कांग्रेस विधायक दल का नेता चुने जाने की जानकारी दी.

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चरणजीत सिंह चन्नी गुरुद्वारे पहुंचे

रावत ने ट्वीट किया कि यह घोषणा करते हुए मुझे बहुत खुशी हो रही है कि चरणजीत सिंह चन्नी को सर्वसम्मति से कांग्रेस विधायक दल का नेता चुना गया. विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद चन्नी, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू और प्रदेश प्रभारी हरीश रावत ने राजभवन पहुंचकर राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित से मुलाकात की और सरकार बनाने का दावा पेश किया. राज्यपाल से मिलने के बाद चन्नी ने संवाददाताओं को बताया कि राज्यपाल ने शपथ ग्रहण के लिए सोमवार सुबह 11 बजे बुलाया है.

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गुरुद्वारे में मत्था टेका

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, वरिष्ठ नेता अमरिंदर सिंह, मनीष तिवारी तथा कई अन्य पार्टी नेताओं ने चन्नी को बधाई दी. अमरिंदर सिंह ने उम्मीद जताई कि वह सीमान्त राज्य पंजाब और लोगों की सुरक्षा कर सकेंगे. राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि चरणजीत सिंह चन्नी जी को नयी जिम्मेदारी को लेकर बधाई. हमें पंजाब के लोगों से किये गए वादों को लगातार पूरा करना जारी रखना है. विश्वास ही सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण है. इससे पहले, राज्य के कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुखजिंदर सिंह रंधावा का नाम मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे चलने की चर्चा थी, हालांकि ऐन मौके पर कांग्रेस आलाकमान ने चन्नी के नाम पर मुहर लगाई.

सूत्रों का कहना है कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने चन्नी के नाम की जोरदार पैरवी की और फिर राहुल गांधी ने दिल्ली में सोनिया गांधी और वरिष्ठ नेताओं के साथ लंबी मंत्रणा के बाद चन्नी के नाम को मंजूरी दी. कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि चन्नी की अगुवाई वाली सरकार में दो उप मुख्यमंत्री भी हो सकते हैं. एक उप मुख्यमंत्री हिंदू और दूसरा उप मुख्यमंत्री जट सिख समुदाय से होगा. चन्नी दलित सिख (रामदसिया सिख) समुदाय से आते हैं और अमरिंदर सरकार में तकनीकी शिक्षा मंत्री थे. वह रूपनगर जिले के चमकौर साहिब विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं. वह इस क्षेत्र से साल 2007 में पहली बार विधायक बने और इसके बाद लगातार जीत दर्ज की.

वह शिरोमणि अकाली दल-भाजपा गठबंधन के शासनकाल के दौरान साल 2015-16 में विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष भी थे. विधानसभा चुनाव से कुछ महीने पहले चन्नी को मुख्यमंत्री बनाकर कांग्रेस सामाजिक समीकरण साधने की कोशिश में है। प्रदेश में 30 प्रतिशत से अधिक दलित आबादी है. कांग्रेस का यह कदम इस मायने में महत्वपूर्ण है कि भाजपा ने पहले कहा था कि पंजाब में उसकी सरकार बनने पर दलित को मुख्यमंत्री बनाया जाएगा. बसपा के साथ गठबंधन करने वाले शिरोमणि अकाली दल ने दलित उप मुख्यमंत्री बनाने का वादा किया है. आम आदमी पार्टी भी दलित समुदाय को लुभाने के लिए लगातार प्रयासरत है.

पढ़ें: पंजाब की राजनीति में बदलाव की बयार, क्या चन्नी के चयन से बदलेंगे समीकरण?

अमरिंदर सिंह ने शनिवार को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था और कहा था कि विधायकों की बार-बार बैठक बुलाए जाने से उन्होंने अपमानित महसूस किया, जिसके बाद उन्होंने यह कदम उठाया. इस्तीफा देने से पहले अमरिंदर सिंह ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर हालिया राजनीतिक घटनाक्रमों को लेकर पीड़ा व्यक्त की और इस बात को लेकर चिंता जताई कि इन घटनाक्रमों से राज्य में अस्थिरता आ सकती है.

चंडीगढ़/नई दिल्ली: कैप्टन अमरिंदर सिंह (Captain Amarinder Singh) के इस्तीफे के बाद पंजाब को अगला मुख्यमंत्री (Punjab new Chief Minister) मिल गया है. कांग्रेस आलाकमान ने कैबिनेट मंत्री और तीन बार के विधायक चरणजीत सिंह चन्नी (Charanjit Singh Channi) को यह जिम्मेदारी सौंपी है. चन्नी आज राज्य के अगले मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेंगे. सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस नेता राहुल गांधी शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हो सकते हैं. कांग्रेस नेता पवन बंसल ने ट्वीट कर बताया कि सुखजिंदर सिंह रंधावा और ब्रह्म मोहिंद्रा भी शपथ लेंगे जो पंजाब सरकार में उप मुख्यमंत्री होंगे. हालांकि अभी तक इस पर सस्पेंस बरकरार है.

चन्नी पंजाब में मुख्यमंत्री बनने वाले दलित समुदाय के पहले व्यक्ति होंगे. उप मुख्यमंत्री बनने जा रहे रंधावा जट सिख और मोहिंद्रा हिंदू समुदाय से ताल्लुक रखते हैं. कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि चन्नी मुख्यमंत्री पद के लिए राहुल गांधी की पसंद हैं.

जानकारी के मुताबिक कोविड प्रोटोकॉल के कारण, केवल 40 लोगों को शपथ ग्रहण समारोह में भाग लेने की अनुमति है, जिसमें 20 नेता और उनके परिवार के 20 सदस्य शामिल होंगे. वहीं, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी चंडीगढ़ गई हैं लेकिन वे सीधे शिमला के लिए रवाना होंगी और शपथ ग्रहण समारोह में हिस्सा नहीं लेंगी.

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पवन कुमार बंसल

इधर सीएम पद की शपथ लेने से पूर्व चरणजीत सिंह चन्नी ने रूपनगर स्थित गुरुद्वारे पहुंचकर मत्था टेका.

बता दें, वह पंजाब के पहले दलित नेता हैं, जो राज्य के मुख्यमंत्री बनेंगे. 58 वर्षीय चन्नी सुबह 11 बजे मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे. कांग्रेस के पंजाब प्रभारी हरीश रावत ने चन्नी के कांग्रेस विधायक दल का नेता चुने जाने की जानकारी दी.

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चरणजीत सिंह चन्नी गुरुद्वारे पहुंचे

रावत ने ट्वीट किया कि यह घोषणा करते हुए मुझे बहुत खुशी हो रही है कि चरणजीत सिंह चन्नी को सर्वसम्मति से कांग्रेस विधायक दल का नेता चुना गया. विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद चन्नी, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू और प्रदेश प्रभारी हरीश रावत ने राजभवन पहुंचकर राज्यपाल बनवारीलाल पुरोहित से मुलाकात की और सरकार बनाने का दावा पेश किया. राज्यपाल से मिलने के बाद चन्नी ने संवाददाताओं को बताया कि राज्यपाल ने शपथ ग्रहण के लिए सोमवार सुबह 11 बजे बुलाया है.

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गुरुद्वारे में मत्था टेका

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, वरिष्ठ नेता अमरिंदर सिंह, मनीष तिवारी तथा कई अन्य पार्टी नेताओं ने चन्नी को बधाई दी. अमरिंदर सिंह ने उम्मीद जताई कि वह सीमान्त राज्य पंजाब और लोगों की सुरक्षा कर सकेंगे. राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि चरणजीत सिंह चन्नी जी को नयी जिम्मेदारी को लेकर बधाई. हमें पंजाब के लोगों से किये गए वादों को लगातार पूरा करना जारी रखना है. विश्वास ही सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण है. इससे पहले, राज्य के कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुखजिंदर सिंह रंधावा का नाम मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे चलने की चर्चा थी, हालांकि ऐन मौके पर कांग्रेस आलाकमान ने चन्नी के नाम पर मुहर लगाई.

सूत्रों का कहना है कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने चन्नी के नाम की जोरदार पैरवी की और फिर राहुल गांधी ने दिल्ली में सोनिया गांधी और वरिष्ठ नेताओं के साथ लंबी मंत्रणा के बाद चन्नी के नाम को मंजूरी दी. कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि चन्नी की अगुवाई वाली सरकार में दो उप मुख्यमंत्री भी हो सकते हैं. एक उप मुख्यमंत्री हिंदू और दूसरा उप मुख्यमंत्री जट सिख समुदाय से होगा. चन्नी दलित सिख (रामदसिया सिख) समुदाय से आते हैं और अमरिंदर सरकार में तकनीकी शिक्षा मंत्री थे. वह रूपनगर जिले के चमकौर साहिब विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं. वह इस क्षेत्र से साल 2007 में पहली बार विधायक बने और इसके बाद लगातार जीत दर्ज की.

वह शिरोमणि अकाली दल-भाजपा गठबंधन के शासनकाल के दौरान साल 2015-16 में विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष भी थे. विधानसभा चुनाव से कुछ महीने पहले चन्नी को मुख्यमंत्री बनाकर कांग्रेस सामाजिक समीकरण साधने की कोशिश में है। प्रदेश में 30 प्रतिशत से अधिक दलित आबादी है. कांग्रेस का यह कदम इस मायने में महत्वपूर्ण है कि भाजपा ने पहले कहा था कि पंजाब में उसकी सरकार बनने पर दलित को मुख्यमंत्री बनाया जाएगा. बसपा के साथ गठबंधन करने वाले शिरोमणि अकाली दल ने दलित उप मुख्यमंत्री बनाने का वादा किया है. आम आदमी पार्टी भी दलित समुदाय को लुभाने के लिए लगातार प्रयासरत है.

पढ़ें: पंजाब की राजनीति में बदलाव की बयार, क्या चन्नी के चयन से बदलेंगे समीकरण?

अमरिंदर सिंह ने शनिवार को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था और कहा था कि विधायकों की बार-बार बैठक बुलाए जाने से उन्होंने अपमानित महसूस किया, जिसके बाद उन्होंने यह कदम उठाया. इस्तीफा देने से पहले अमरिंदर सिंह ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर हालिया राजनीतिक घटनाक्रमों को लेकर पीड़ा व्यक्त की और इस बात को लेकर चिंता जताई कि इन घटनाक्रमों से राज्य में अस्थिरता आ सकती है.

Last Updated : Sep 20, 2021, 11:02 AM IST
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